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उत्तराखंड में बल्क SMS करने वालों की अब खैर नहीं, प्री एक्टिवेटेड सिम बेचने वालों पर भी होगी कार्रवाई

उत्तराखंड में पिछले दिनों विदेशी नागरिकों के आधार और वोटर आईडी कार्ड बनाने का मामला सामने आया था. इसके बाद से पुलिस और एसटीएफ चौकन्ने हो गए हैं. अब बल्क में एसएमएस करने वालों पर विशेष निगरानी रखी जा रही है. प्री एक्टिवेटेड सिम को लेकर भी पुलिस सतर्क है.

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उत्तराखंड एसटीएफ समाचार
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Published : Dec 31, 2022, 7:23 AM IST

Updated : Dec 31, 2022, 11:00 AM IST

देहरादून: उत्तराखंड में प्री एक्टिव सिम बेचने वालों के खिलाफ कार्रवाई के लिए अभियान शुरू किया जाएगा. एसटीएफ एसएसपी ने यह निर्देश टेलीकॉम विभाग के अफसरों के साथ बैठक करने के बाद अधिकारियों को दिए हैं. एसटीएफ एसएसपी ने बताया कि गोपनीय रणनीति बनाकर राष्ट्रीय स्तर पर अभियान चलाए जा सकते हैं. फर्जी आईडी और आधार कार्ड आदि के माध्यम से सिम बेचने वालों के खिलाफ कार्रवाई के लिए भी रणनीति बनाई गई है.

बल्क एसएमएस करने वालों पर होगी कार्रवाई: बैठक में एसएसपी ने निर्देशित किया कि फर्जी नाम से बल्क में एसएमएस करने वालों के खिलाफ कार्रवाई की जायेगी. बल्क में एसएमएस पर लगाम लगाने का प्रयास किया जायेगा. साथ ही ऐसे सिम विक्रेता जो कि प्री एक्टिवेडिट सिम को बेचते हैं, उनके खिलाफ भी कार्रवाई की जाएगी. दरअसल मुख्यमन्त्री के निर्देश के क्रम में प्रदेश के निवासियों को संगठित अपराधियों द्वारा ठगी करने वालों पर सख्ती से कार्रवाई किये जाने के लिए निर्देशित किया गया था. जिस क्रम में एसएसपी एसटीएफ ने राज्य की डीओटी फील्ड यूनिट (डिपार्टमेन्ट आफ टेलीकम्युनिकेशन) के अधिकारियों के साथ राज्य और राष्ट्रीय सुरक्षा के मद्देनजर फर्जी मोबाइल सिम, आधार कार्ड और विदेशी सिम के सम्बन्ध में बैठक की. जिसमें एक ही आधार नम्बर में कई सिम एक्टिवेट करने वालों के खिलाफ कार्रवाई की जायेगी.

अंतरराष्ट्रीय सीमा क्षेत्रों में विशेष निगरानी: अंतरराष्ट्रीय सीमा के निकटतम क्षेत्रों में विदेशों से सिम का विक्रय और संचालन पर निगरानी और ज्ञात होने पर कार्रवाई की जाएगी. ऐसे सिम विक्रेताओं को चयनित कि जा रहा है, जिनकी अपराधियों से साठगांठ है. ये लोग फर्जी आईडी पर सिम विक्रय करते हैं. फर्जी लोन एप के खिलाफ भी कार्रवाई की जायेगी. साथ ही व्यक्तियों को डीएनडी (DND) के सम्बन्ध में भी जागरूकता किया जाएगा.

एसएसपी एसटीएफ आयुष अग्रवाल ने बताया कि पिछले दिनों विदेशी नागरिकों के बिना किसी दस्तावेज के पैन कार्ड, आधार कार्ड, निर्वाचन आयोग आदि संबंधी फर्जी दस्तावेज बनाने वाले गैंग के लोगों को गिरफ्तार किया गया था. साथ ही साथ पिछले कुछ महीनों में दो मुकदमे फर्जी सिम के प्रकरण में एक मंगलौर हरिद्वार और एक मुकदमा उधमसिंहनगर में पंजीकृृत कराया गया था. साथ ही डीओटी के अधिकारियों के साथ अधिक से अधिक फर्जी नम्बरों और सिम प्रीएक्टिवेटेड करने वाले सिम विक्रताओं पर अंकुश लगाने के लिए कार्रवाई पर सहमति बनी है.

लक्सर में कोर्ट के आदेश पर मुकदमा दर्ज: घर में घुसकर छेड़खानी के मामले में न्यायालय के आदेश पर मुकदमा दर्ज हुआ है. लक्सर कोतवाली क्षेत्र के महाराजपुर खुर्द गांव निवासी चंद्रपाल ने न्यायालय को प्रार्थना पत्र देकर बताया कि 26 अक्टूबर को वह घर पर मौजूद नहीं था. उसकी पत्नी व बेटी घर पर मौजूद थीं. इसी बीच गांव के रमेश, सचिन, नरेश, राहुल, शुभम, बहादुर व सोनित तथा कुड़ी भगवानपुर गांव निवासी रविंदर व सुशील लाठी-डंडे लेकर उनके घर में घुस आए.

घर में मौजूद लोगों के साथ गाली गलौज करते हुए मारपीट शुरू कर दी. आरोप है कि इस दौरान आरोपितों द्वारा उसकी पत्नी व बेटी के साथ अश्लील हरकतें करते हुए छेड़खानी की गई. शोर शराबे की आवाज सुनकर आसपास के लोगों के आ जाने पर उक्त लोग जान से मारने की धमकी देते हुए मौके से भाग निकले. आरोप है कि मामले को लेकर पुलिस को तहरीर दी गई थी. लेकिन पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की. इस पर उसे न्यायालय की शरण लेनी पड़ी. न्यायालय के आदेश पर पुलिस ने आरोपितों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया है. कोतवाल अमरजीत सिंह ने बताया कि मामले की जांच की जा रही है.

देहरादून: उत्तराखंड में प्री एक्टिव सिम बेचने वालों के खिलाफ कार्रवाई के लिए अभियान शुरू किया जाएगा. एसटीएफ एसएसपी ने यह निर्देश टेलीकॉम विभाग के अफसरों के साथ बैठक करने के बाद अधिकारियों को दिए हैं. एसटीएफ एसएसपी ने बताया कि गोपनीय रणनीति बनाकर राष्ट्रीय स्तर पर अभियान चलाए जा सकते हैं. फर्जी आईडी और आधार कार्ड आदि के माध्यम से सिम बेचने वालों के खिलाफ कार्रवाई के लिए भी रणनीति बनाई गई है.

बल्क एसएमएस करने वालों पर होगी कार्रवाई: बैठक में एसएसपी ने निर्देशित किया कि फर्जी नाम से बल्क में एसएमएस करने वालों के खिलाफ कार्रवाई की जायेगी. बल्क में एसएमएस पर लगाम लगाने का प्रयास किया जायेगा. साथ ही ऐसे सिम विक्रेता जो कि प्री एक्टिवेडिट सिम को बेचते हैं, उनके खिलाफ भी कार्रवाई की जाएगी. दरअसल मुख्यमन्त्री के निर्देश के क्रम में प्रदेश के निवासियों को संगठित अपराधियों द्वारा ठगी करने वालों पर सख्ती से कार्रवाई किये जाने के लिए निर्देशित किया गया था. जिस क्रम में एसएसपी एसटीएफ ने राज्य की डीओटी फील्ड यूनिट (डिपार्टमेन्ट आफ टेलीकम्युनिकेशन) के अधिकारियों के साथ राज्य और राष्ट्रीय सुरक्षा के मद्देनजर फर्जी मोबाइल सिम, आधार कार्ड और विदेशी सिम के सम्बन्ध में बैठक की. जिसमें एक ही आधार नम्बर में कई सिम एक्टिवेट करने वालों के खिलाफ कार्रवाई की जायेगी.

अंतरराष्ट्रीय सीमा क्षेत्रों में विशेष निगरानी: अंतरराष्ट्रीय सीमा के निकटतम क्षेत्रों में विदेशों से सिम का विक्रय और संचालन पर निगरानी और ज्ञात होने पर कार्रवाई की जाएगी. ऐसे सिम विक्रेताओं को चयनित कि जा रहा है, जिनकी अपराधियों से साठगांठ है. ये लोग फर्जी आईडी पर सिम विक्रय करते हैं. फर्जी लोन एप के खिलाफ भी कार्रवाई की जायेगी. साथ ही व्यक्तियों को डीएनडी (DND) के सम्बन्ध में भी जागरूकता किया जाएगा.

एसएसपी एसटीएफ आयुष अग्रवाल ने बताया कि पिछले दिनों विदेशी नागरिकों के बिना किसी दस्तावेज के पैन कार्ड, आधार कार्ड, निर्वाचन आयोग आदि संबंधी फर्जी दस्तावेज बनाने वाले गैंग के लोगों को गिरफ्तार किया गया था. साथ ही साथ पिछले कुछ महीनों में दो मुकदमे फर्जी सिम के प्रकरण में एक मंगलौर हरिद्वार और एक मुकदमा उधमसिंहनगर में पंजीकृृत कराया गया था. साथ ही डीओटी के अधिकारियों के साथ अधिक से अधिक फर्जी नम्बरों और सिम प्रीएक्टिवेटेड करने वाले सिम विक्रताओं पर अंकुश लगाने के लिए कार्रवाई पर सहमति बनी है.

लक्सर में कोर्ट के आदेश पर मुकदमा दर्ज: घर में घुसकर छेड़खानी के मामले में न्यायालय के आदेश पर मुकदमा दर्ज हुआ है. लक्सर कोतवाली क्षेत्र के महाराजपुर खुर्द गांव निवासी चंद्रपाल ने न्यायालय को प्रार्थना पत्र देकर बताया कि 26 अक्टूबर को वह घर पर मौजूद नहीं था. उसकी पत्नी व बेटी घर पर मौजूद थीं. इसी बीच गांव के रमेश, सचिन, नरेश, राहुल, शुभम, बहादुर व सोनित तथा कुड़ी भगवानपुर गांव निवासी रविंदर व सुशील लाठी-डंडे लेकर उनके घर में घुस आए.

घर में मौजूद लोगों के साथ गाली गलौज करते हुए मारपीट शुरू कर दी. आरोप है कि इस दौरान आरोपितों द्वारा उसकी पत्नी व बेटी के साथ अश्लील हरकतें करते हुए छेड़खानी की गई. शोर शराबे की आवाज सुनकर आसपास के लोगों के आ जाने पर उक्त लोग जान से मारने की धमकी देते हुए मौके से भाग निकले. आरोप है कि मामले को लेकर पुलिस को तहरीर दी गई थी. लेकिन पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की. इस पर उसे न्यायालय की शरण लेनी पड़ी. न्यायालय के आदेश पर पुलिस ने आरोपितों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया है. कोतवाल अमरजीत सिंह ने बताया कि मामले की जांच की जा रही है.

Last Updated : Dec 31, 2022, 11:00 AM IST
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