ETV Bharat / state

यहां मां भक्तों की हर मन्नत करती हैं पूरी, जानें 52 गढ़ों में से एक बधाण गढ़ी की कहानी

बधाण की कुलदेवी मां भगवती बधाण गढ़ी में विराजमान रहती है. बधाण गढ़ी पहुंचने के लिये सड़क से लगभग डेढ़ किलोमीटर की खड़ी चढ़ाई भक्तों को चढ़नी पड़ती है. नये साल पर यहां देश-विदेश के पर्यटक पहुंचे हैं.

tharali
बधाण गढ़ी
author img

By

Published : Jan 2, 2020, 7:17 AM IST

थराली: नए साल को लेकर उत्तराखंड में देश-विदेश के पर्यटक पहुंच रहे हैं. वहीं अगर बात करें थराली की तो यहां नए साल पर लोगों ने कुछ अलग अंदाज में जश्न मनाया. यहां साल के पहले दिन बधाण गढ़ी में भक्तों का तांता लगा रहा. नए साल पर लोगों ने मंदिर पहुंच कर पूजा अर्चना की और भगवान से मन्नते मांगी. जानिए क्यों भक्तों की है यहां अटूट आस्था.

बधाण गढ़ी में न्यू ईयर

यहां विराजमान हैं बधाण की कुलदेवी
बधाण की कुलदेवी मां भगवती बधाण गढ़ी में विराजमान रहती है. बधाण गढ़ी , जिसकी दूरी तय करने के लिये सड़क से लगभग डेढ़ किलोमीटर की खड़ी चढ़ाई भक्तों को चढ़नी पड़ती है. लेकिन साल के पहले दिन मां के दर्शन करने पहुंचे भक्तों ने सुबह से ही मां के दरबार में पूजा अर्चना कर मन्नतें मांगी. गढ़वाल और कुमाऊं के बीच में बसा यह मंदिर आस्था का प्रतीक है.

पढ़ें- नववर्ष पर परमार्थ निकेतन में योग रिट्रीट, लोगों ने रुद्राभिषेक कर लिया संकल्प

कुलदेवी मां के दर्शन करने से होती है संतान की प्राप्ति
कुलदेवी मां हर भक्तों की मुराद सुनती हैं और यहां आने से भक्तों की हर मनोकामना पूर्ण होती है. जिन दम्पतियों को संतान नहीं होती है, वो दम्पति मां बधाण गढ़ी में आकर संतान के लिये मां से मन्नत मांगते हैं. मां उन दम्पतियों की मनोकामना पूर्ण करती है.

मां पर भक्तों का अटूट विश्वास
मां बधाण गढ़ी पर भक्तों का अटूट विश्वास और आस्था देखने को मिलता है. यही वजह है कि यहां देश-विदेश से बड़ी संख्या में भक्तों का तांता लगा रहता है. भक्तों का कहना है कि मां उनकी हर मुराद पूरी करती हैं.

थराली: नए साल को लेकर उत्तराखंड में देश-विदेश के पर्यटक पहुंच रहे हैं. वहीं अगर बात करें थराली की तो यहां नए साल पर लोगों ने कुछ अलग अंदाज में जश्न मनाया. यहां साल के पहले दिन बधाण गढ़ी में भक्तों का तांता लगा रहा. नए साल पर लोगों ने मंदिर पहुंच कर पूजा अर्चना की और भगवान से मन्नते मांगी. जानिए क्यों भक्तों की है यहां अटूट आस्था.

बधाण गढ़ी में न्यू ईयर

यहां विराजमान हैं बधाण की कुलदेवी
बधाण की कुलदेवी मां भगवती बधाण गढ़ी में विराजमान रहती है. बधाण गढ़ी , जिसकी दूरी तय करने के लिये सड़क से लगभग डेढ़ किलोमीटर की खड़ी चढ़ाई भक्तों को चढ़नी पड़ती है. लेकिन साल के पहले दिन मां के दर्शन करने पहुंचे भक्तों ने सुबह से ही मां के दरबार में पूजा अर्चना कर मन्नतें मांगी. गढ़वाल और कुमाऊं के बीच में बसा यह मंदिर आस्था का प्रतीक है.

पढ़ें- नववर्ष पर परमार्थ निकेतन में योग रिट्रीट, लोगों ने रुद्राभिषेक कर लिया संकल्प

कुलदेवी मां के दर्शन करने से होती है संतान की प्राप्ति
कुलदेवी मां हर भक्तों की मुराद सुनती हैं और यहां आने से भक्तों की हर मनोकामना पूर्ण होती है. जिन दम्पतियों को संतान नहीं होती है, वो दम्पति मां बधाण गढ़ी में आकर संतान के लिये मां से मन्नत मांगते हैं. मां उन दम्पतियों की मनोकामना पूर्ण करती है.

मां पर भक्तों का अटूट विश्वास
मां बधाण गढ़ी पर भक्तों का अटूट विश्वास और आस्था देखने को मिलता है. यही वजह है कि यहां देश-विदेश से बड़ी संख्या में भक्तों का तांता लगा रहता है. भक्तों का कहना है कि मां उनकी हर मुराद पूरी करती हैं.

Intro:साल के पहले दिन माँ बधाण गढ़ी में भक्तों का लगा रहा तांता

नये साल के अवसर पर भले ही उत्तराखंड के तमाम पर्यटन स्थलों में देश विदेश से अनेकों पर्यटक उत्तराखंड पहुंच रहे हो वही हम बात करते हैं। थराली की जहां नए साल यहां के लोगों ने अलग अंदाज में मनाया लोगों ने साल के प्रथम दिन बधाण गढ़ी में जाकर पूजा अर्चना की और मनोतियां मांगी Body:स्थान - थराली

रिपोर्ट - गिरीश चंदोला

स्लग - साल के पहले दिन माँ बधाण गढ़ी में भक्तों का लगा रहा तांता


थराली। नये साल के अवसर पर भले ही उत्तराखंड के तमाम पर्यटन स्थलों में देश विदेश से अनेकों पर्यटक उत्तराखंड पहुंच रहे हो वही हम बात करते हैं। थराली की जहां नए साल यहां के लोगों ने अलग अंदाज में मनाया लोगों ने साल के प्रथम दिन बधाण गढ़ी में जाकर पूजा अर्चना की और मनोतियां मांगी वही सुबह से ही श्रद्धालुओं का मंदिर में तांता लगा रहा
हम बात कर रहे हैं 52 गढ़ों में से एक गढ़ बधाण गढ़ी की

बधाण की कुलदेवी माँ भगवती बधाण गढ़ी में विराजमान रहती है। बधाण गढ़ी ,जिसकी दूरी सड़क से लगभग डेढ़ किलोमीटर की खड़ी चढ़ाई भक्तों को चढ़नी पड़ती है । तो वही भक्तों ने साल के पहले दिन सुबह से ही मां के दरबार में पूजा अर्चना कर मनोतिया मांगी।


गढ़वाल और कुमाऊं के बीच में बसा यह मंदिर आस्था का प्रतीक है ।यहां लोग दूर-दूर से मनोतिया मांगने के लिए आते हैं ।

भक्तों कि मां हर भक्तों की मुराद सुनती है। और यहां आने से भक्तों की हर मनोकामना पूर्ण होती है। जिन दम्पतियों की संतान नही होती है। वो दम्पतिया माँ बधाण गढ़ी में आकर सन्तान के लिये माँ से मनोतिया मांगते है। माँ उन दम्पतियों की भी मनोकामना पूर्ण करती है। भक्तों का माँ बधाण गढ़ी पर अटूट विश्वास और आस्था रहती है। भक्तों का कहना है।कि माँ उनकी हर मुराद मां पूरी करती हैं।Conclusion:भक्तों कि मां हर भक्तों की मुराद सुनती है। और यहां आने से भक्तों की हर मनोकामना पूर्ण होती है। जिन दम्पतियों की संतान नही होती है। वो दम्पतिया माँ बधाण गढ़ी में आकर सन्तान के लिये माँ से मनोतिया मांगते है। माँ उन दम्पतियों की भी मनोकामना पूर्ण करती है। भक्तों का माँ बधाण गढ़ी पर अटूट विश्वास और आस्था रहती है। भक्तों का कहना है।कि माँ उनकी हर मुराद मां पूरी करती हैं।
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.