चमोली: उत्तराखंड में इस साल कोरोना की वजह से पर्यटन व्यवसाय पूरी तरह चरमरा गया है. कोरोना ने पर्यटन व्यापारियों की कमर तोड़ दी है, लेकिन नए साल से पहले हुए पहाड़ों पर हुई बर्फबारी से कारोबारियों में उम्मीद जगी है कि आने वाला साल उनके लिए बेहतर होगा. यही कारण है विश्व प्रसिद्ध हिमक्रीड़ा स्थल औली में नए साल के जश्न को लेकर तैयारी शुरू हो गई है.
औली में नए साल का जश्न मनाने का प्लान बना चुके लोगों ने यहां के होटलों और रिजॉर्ट में एडवांस बुकिंग भी शुरू कर दी है, जिससे व्यापारियों के चेहरे भी खिल गए हैं. दरअसल, शनिवार को औली में जमकर हुई बर्फबारी के बाद यहां का नजारा देखते ही बन रहा है. इसके साथ ही चमोली के बदरीनाथ धाम और हेमकुंड साहिब में भी जमकर बर्फ गिरी. औली में इस समय बर्फ की आठ इंच तक मोटी चादर जमी हुई है.
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औली में बर्फबारी का लुफ्त उठाने सैलानियों ने यहां पहुंचाना भी शुरू कर दिया है. यहां हरे भरे पेड़-पौधों पर बर्फ ही बर्फ दिखाई दे रही है. पड़ों को देखकर ऐसा लग रहा है जैसे इन्हें किसी ने सफेद रंग से रग दिया हो. दिल्ली, हरियाणा, पंजाब और उत्तर प्रदेश के पर्यटक अधिक संख्या में औली पहुंचे हैं.
रोपवे के प्रबंधक दिनेश भट्ट ने जानकारी देते हुए बताया कि औली में नवम्बर माह से अब तक तीन बार बर्फबारी हो चुकी है. नए साल का जश्न औली में मनाने के लिए पहुंचने वाले पर्यटकों के लिए पर्यटन विभाग पूरी तैयारियों में जुटा हुआ है. नवंबर में पहाड़ों में दो बार बर्फ गिरी तो दिसंबर माह की भी पहली बर्फबारी हो चुकी है.