देहरादून: उत्तराखंड में इस बार ठंड में हुई बरसात ने पिछले 5 सालों का रिकॉर्ड तोड़ दिया है. जिस वजह से प्रदेश के किसानों को खासा लाभ हो रहा है. साथ ही इस बारिश को पर्यावरण के लिए भी काफी लाभदायक माना जा रहा है.
मौसम निदेशक विक्रम सिंह के मुताबिक जिस तरह प्रदेश में इस बार शीतकाल में भी अब तक बारिश का सिलसिला जारी है, उससे हवा में काफी नमी आ चुकी है. ऐसे में उन्हें उम्मीद है कि इस साल पिछले कुछ सालों के मुकाबले वनाग्नि के मामले काफी कम सामने आएंगे. वहीं दूसरी तरफ लोगों को काफी लंबे समय तक यानी कि लगभग मई महीने तक गर्मी से भी राहत मिली रहेगी.
मौसम निदेशक के मुताबिक साल 2014 से लेकर 2018 तक शीतकाल में काफी कम बारिश दर्ज की गई, लेकिन साल 2019 में एक बार फिर से ठंड में अच्छी खासी बारिश हुई. प्रदेश में लगभग अप्रैल माह तक बारिश का सिलसिला जारी रहेगा. हालांकि अब बारिश धीरे-धीरे कम होने लगेगी.
साल 2013-19 के बीच शीतकाल में हुई बारिश का आंकड़ा औसतन 106 mm था.
साल | बारिश | प्रतिशत |
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2013 | 261 मिलीमीटर | 146% ज्यादा |
2014 | 146 मिलीमीटर | 37% ज्यादा |
2015 | 117 मिलीमीटर | 10% ज्यादा |
2016 | 34.06 मिलीमीटर | 67% कम |
2017 | 51.02 मिलीमीटर | 52% कम |
2018 | 33.08 मिलीमीटर | 68% कम |
2019 | 202 मिलीमीटर | 90 % ज्यादा |