लाहौर/इस्लामाबाद : पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान को मंगलवार को नाटकीय रूप से गिरफ्तार किए जाने के बाद उनके समर्थकों ने रावलपिंडी में सेना मुख्यालय और लाहौर में कोर कमांडर के आवास पर धावा बोल दिया (Imran Khans supporters storm Pak Army headquarters). कई जगह आगजनी और हिंसा के मामले सामने आए हैं. पुलिस ने भी बल प्रयोग किया है. वहीं, अदालत परिसर से नाटकीय ढंग से गिरफ्तार किए जाने के बाद इस्लामाबाद उच्च न्यायालय ने शीर्ष अधिकारियों और पुलिस अधिकारियों को तलब किया. वहीं, इमरान की गिरफ्तारी को इस्लामाबाद हाईकोर्ट ने सही बताया है.
लाहौर से इस्लामाबाद पहुंचे खान इस्लामाबाद उच्च न्यायालय में एक बायोमेट्रिक प्रक्रिया से गुजर रहे थे तभी रेंजर्स ने कांच की खिड़की को तोड़ दिया और वकीलों एवं खान के सुरक्षा कर्मचारियों की पिटाई करने के बाद उन्हें (खान को) गिरफ्तार कर लिया.
पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) के प्रमुख खान (70) की गिरफ्तारी से एक दिन पहले शक्तिशाली सेना ने उन पर खुफिया एजेंसी ‘आईएसआई’ के एक वरिष्ठ अधिकारी के खिलाफ निराधार आरोप लगाने का इल्जाम लगाया था.
खान को गिरफ्तार किए जाने की खबर फैलते ही पाकिस्तान के कई शहरों में बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन शुरू हो गए. कई जगहों पर प्रदर्शनकारी हिंसक हो गए. उन्होंने पुलिस वाहनों को आग के हवाले कर दिया और सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचाया.
खान के समर्थकों ने रावलपिंडी में सेना के विशाल मुख्यालय के मुख्य द्वार को तोड़ दिया. हालांकि इस दौरान सैनिकों ने संयम बरता वहीं प्रदर्शनकारियों ने सेना के खिलाफ नारेबाजी की.
लाहौर में, बड़ी संख्या में पीटीआई कार्यकर्ताओं ने कोर कमांडर के लाहौर आवास पर धावा बोल दिया और गेट व खिड़कियों के शीशे तोड़ दिए. हालांकि सेना के जवानों ने वहां उग्र प्रदर्शनकारियों को रोकने की कोशिश नहीं की. प्रदर्शनकारियों ने इस दौरान सेना के खिलाफ नारेबाजी की. प्रदर्शनकारियों ने छावनी इलाके में विरोध प्रदर्शन किया.
मुख्य सड़कों पर विरोध प्रदर्शन के कारण लाहौर बाकी प्रांत से लगभग कट गया. सबसे अधिक आबादी वाले प्रांत पंजाब की कार्यवाहक सरकार ने कानून-व्यवस्था काबू करने के लिए रेंजरों को बुलाया और धारा 144 लगा दी, जिसके तहत एक जगह पर पांच से अधिक लोग इकट्ठा नहीं हो सकते. गृह विभाग के मुताबिक, दो दिन तक लोगों के एकत्र होने पर रोक रहेगी.
पंजाब सरकार ने पाकिस्तान दूरसंचार प्राधिकरण से प्रांत के उन क्षेत्रों में इंटरनेट और मोबाइल सेवाओं को निलंबित करने का अनुरोध किया जहां हिंसक विरोध प्रदर्शन हुए हैं.
बड़ी संख्या में पीटीआई कार्यकर्ताओं ने फैसलाबाद शहर में गृह मंत्री राणा सनाउल्लाह के आवास पर भी पथराव किया. इसी तरह, मुल्तान, झंग, गुजरांवाला, शेखूपुरा, कसूर, खानेवाल, वेहारी, हफीजाबाद और गुजरात शहरों में भी विरोध प्रदर्शन हुए हैं.
इस्लामाबाद में निषेधाज्ञा लागू : मीडिया में आई खबरों के अनुसार, इमरान खान की गिरफ्तारी के बाद इस्लामाबाद में धारा 144 लागू कर दी गई है, क्योंकि उनकी पार्टी के कार्यकर्ताओं ने पूरे शहर में प्रदर्शन किया और दंगे जैसी स्थिति पैदा कर दी. खबरों में कहा गया है कि पीटीआई कार्यकर्ताओं ने लाहौर में भी सड़कों को जाम कर दिया और प्रदर्शन किया.
इस्लामाबाद पुलिस ने महानिरीक्षक (आईजी) अकबर नासिर खान के हवाले से एक बयान में कहा कि खान को उस मामले के संबंध में गिरफ्तार किया गया है, जिसमें आरोप लगाया गया था कि खान और उनकी पत्नी को एक रियल एस्टेट कंपनी से अरबों रुपये मिले हैं. पुलिस प्रमुख ने कहा कि संघीय राजधानी में धारा 144 लागू कर दी गई है और उल्लंघन करने वालों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.
गृह मंत्री राणा सनाउल्लाह ने कहा इमरान को नहीं किया गया प्रताड़ित : पाकिस्तान के गृह मंत्री राणा सनाउल्लाह ने मंगलवार को कहा कि पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान को भ्रष्टाचार के एक मामले में राष्ट्रीय खज़ाने को नुकसान पहुंचाने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है. इस्लामाबाद उच्च न्यायालय के बाहर से पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) के प्रमुख की गिरफ्तारी से संबंधित जानकारी देते हुए सनाउल्लाह ने इस रिपोर्ट को खारिज किया कि 70 वर्षीय खान को गिरफ्तार करने के दौरान प्रताड़ित किया गया.
सनाउल्लाह ने कहा, 'अल-कादिर ट्रस्ट मामले में एनएबी (राष्ट्रीय जवाबदेही ब्यूरो) ने उनकी गिरफ्तारी की है.' उन्होंने कहा कि गिरफ्तारी गुण-दोष के आधार पर की गई है और वह भ्रष्टाचार रोधी एजेंसी की हिरासत में हैं.
गृह मंत्री ने कहा कि ब्रिटेन के अधिकारियों ने धन शोधन के एक मामले में पाकिस्तान के एक ज़मीन कारोबारी के 19 करोड़ पौंड या 60 अरब पाकिस्तानी रुपये जब्त किए थे और उनका मकसद इसे पाकिस्तान की सरकार को स्थानांतरित करना था.
बहरहाल, खान ने उस पैसे को सरकारी खज़ाने में जमा कराने के बजाए कारोबारी को वापस लेने की इजाज़त दे दी और उच्चतम न्यायालय द्वारा एक अन्य मामले में लगाए गए जुर्माने की अदायगी के लिए इसका इस्तेमाल किया. कारोबारी ने बदले में अल-कादिर ट्रस्ट को झेलम के सोहवा में 23.1 हेक्टेयर और इस्लामाबाद के पास बनीगाला में 12.1 हेक्टेयर भूमि मुहैया कराई.
मंत्री ने यह भी दावा किया कि अल-कादिर ट्रस्ट खान की पत्नी बुशरा बीबी और उनकी करीबी दोस्त फराह गोगी के नाम पर पंजीकृत है. सनाउल्लाह ने दावा किया कि संपत्तियों की कीमत छह-सात अरब रुपये थी. मंत्री ने कहा, 'खान देश के दुश्मनों के सहयोगी हैं और मुल्क को नुकसान पहुंचाने की कोशिश कर रहे हैं.'
मंत्री ने कहा कि खान की गिरफ्तारी करने वाले अर्धसैनिक बल अधिकारी कानूनी रूप से अपना कर्तव्य निभा रहे थे. उन्होंने कहा कि एनएबी के आदेश पर की गई गिरफ्तारी से सरकार का कोई लेना-देना नहीं है. उन्होंने कहा कि पूर्व प्रधानमंत्री के खिलाफ भ्रष्टाचार के दर्जनों अन्य मामलों में जांच की जा रही है. गृह मंत्री ने कहा, 'उन्हें (खान को) किसी तरह से प्रताड़ित नहीं किया गया है.'
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(पीटीआई-भाषा)