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दिव्यांग बहन के सपनों की उड़ान को भाइयों ने दिये 'पंख', डोली में पहुंचा रहे परीक्षा केंद्र

सोशल मीडिया पर आजकल एक वीडियो काफी वायरल हो रहा है. इस वीडियो में दो युवक एक दिव्यांग लड़की को लादकर ले जा रहे है. ये दिव्यांग लड़की संजना है जो 10 वीं का बोर्ड दे रही है, जो युवक लड़की को डोली में ले जा रहे हैं वो संजना के भाई पारस और आकाश हैं. ये दोनों भाई अपनी बहनों के सपनों को पंख दे रहे हैं.

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दिव्यांग बहन के सपनों की उड़ान को भाइयों ने दिये 'पंख'
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Published : Mar 30, 2022, 10:18 PM IST

Updated : Mar 31, 2022, 6:13 PM IST

पिथौरागढ़: शैलकुमारी इंटर कॉलेज में एक दिव्यांग लड़की को भाइयों द्वारा डोली में लादकर परीक्षा सेंटर ले जाने का वीडियो इन दिनों सोशल मीडिया में खूब वायरल हो रहा है. भाई-बहन के हौंसले की तारीफ करते हुए लोग इस वीडियो को खूब शेयर कर रहे हैं. वीडियो वायरल होने के बाद अब अब जिला प्रशासन भी इस परिवार की मदद की बात कर रहा है.

दरअसल, ये वीडियो चमाली गांव की रहने वाली संजना और उसके दो भाई पारस और आकाश का है. संजना की इन दिनों परीक्षा चल रही है. चलने में असमर्थ संजना को उसके दोनों भाई डोली में बैठाकर आधा किलोमीटर दूर स्थित स्कूल तक पहुंचाते हैं. दिव्यांग संजना और उसके दोनों भाइयों की लगन और मेहनत की सभी लोग तारीफ कर रहे हैं. वहीं, मामला प्रकाश में आने पर अब जिला प्रशासन भी परिवार की मदद की बात कर रहा है.

दिव्यांग बहन के सपनों की उड़ान को भाइयों ने दिये 'पंख'

दिव्यांग संजना बनना चाहती है शिक्षक: गरीब परिवार से ताल्लुक रखने वाली संजना भले ही चलने-फिरने में असमर्थ हो, इसके बावजूद भी उसके सपनों की उड़ान बहुत ऊंची है. संजना पढ़ाई करके शिक्षक बनना चाहती है. वह आर्थिक तंगी से जूझ रहे परिवार का सहारा बनना चाहती है. फिलहाल संजना 10 वीं की परीक्षाएं दे रही है. उसके घर से परीक्षा केंद्र की दूरी 14 किलोमीटर है. जिसे देखते हुए भाई-बहनों ने लोधियागैर में कमरा लिया है, लेकिन यहां से भी परीक्षा केंद्र पहुंचने के लिए आधा किलोमीटर का सफर तय करना पड़ता है.
पढ़ें- पिता ने फोन चलाने से मना किया तो छात्रा ने खा लिया जहर, आज था 12वीं का बोर्ड एग्जाम

संजना के सपनों की उड़ान में भाई बने पंख: दिव्यांग संजना के सपनों को पूरा करने का बीड़ा उसके दो भाइयों ने उठाया है. पारस और आकाश बहन को परीक्षा केंद्र तक पहुंचाने के लिए डोली का सहारा लेते हैं. परीक्षा के दिन दोनों भाई डोली में बहन को लादकर लोधियागैर से आधा किलोमीटर दूर स्थित शैलकुमारी इंटर कॉलेज तक पहुंचाते हैं. भाइयों के इस प्रयास की हर कोई तारीफ कर रहा है.
पढ़ें- अलग-अलग समुदाय के प्रेमी-युगल को HC ने मुहैया कराई सुरक्षा, परिजनों ने कोर्ट के बाहर से उठाने का किया था प्रयास

आर्थिक तंगी से जूझ रहा परिवार: संजना के पिता गोविंद राजन की 6 साल पहले मृत्यु हो गई थी, जिसके बाद उनके परिवार की आर्थिक स्थिति बिगड़ गई. संजना की मां प्राथमिक विद्यालय डुंगरी में भोजन माता है. संजना के भाई पारस और बहन सानिया 12वीं की परीक्षा दे रही है.

मदद की बात कर रहे अधिकारी: वीडियों वायरल होने के बाद हर ओर इन भाई-बहनों की चर्चा हो रही है, जिसके बाद अब ये मामला प्रशासन के संज्ञान में भी आ गया है. जिलाधिकारी आशीष चौहान ने संजना की परीक्षा जीआईसी चमाली में देने के लिए सीईओ को निर्देशित कर दिया है. साथ ही उन्होंने संजना को सरकारी योजनाओं का लाभ दिए जाने का भी भरोसा दिलाया है.

पिथौरागढ़: शैलकुमारी इंटर कॉलेज में एक दिव्यांग लड़की को भाइयों द्वारा डोली में लादकर परीक्षा सेंटर ले जाने का वीडियो इन दिनों सोशल मीडिया में खूब वायरल हो रहा है. भाई-बहन के हौंसले की तारीफ करते हुए लोग इस वीडियो को खूब शेयर कर रहे हैं. वीडियो वायरल होने के बाद अब अब जिला प्रशासन भी इस परिवार की मदद की बात कर रहा है.

दरअसल, ये वीडियो चमाली गांव की रहने वाली संजना और उसके दो भाई पारस और आकाश का है. संजना की इन दिनों परीक्षा चल रही है. चलने में असमर्थ संजना को उसके दोनों भाई डोली में बैठाकर आधा किलोमीटर दूर स्थित स्कूल तक पहुंचाते हैं. दिव्यांग संजना और उसके दोनों भाइयों की लगन और मेहनत की सभी लोग तारीफ कर रहे हैं. वहीं, मामला प्रकाश में आने पर अब जिला प्रशासन भी परिवार की मदद की बात कर रहा है.

दिव्यांग बहन के सपनों की उड़ान को भाइयों ने दिये 'पंख'

दिव्यांग संजना बनना चाहती है शिक्षक: गरीब परिवार से ताल्लुक रखने वाली संजना भले ही चलने-फिरने में असमर्थ हो, इसके बावजूद भी उसके सपनों की उड़ान बहुत ऊंची है. संजना पढ़ाई करके शिक्षक बनना चाहती है. वह आर्थिक तंगी से जूझ रहे परिवार का सहारा बनना चाहती है. फिलहाल संजना 10 वीं की परीक्षाएं दे रही है. उसके घर से परीक्षा केंद्र की दूरी 14 किलोमीटर है. जिसे देखते हुए भाई-बहनों ने लोधियागैर में कमरा लिया है, लेकिन यहां से भी परीक्षा केंद्र पहुंचने के लिए आधा किलोमीटर का सफर तय करना पड़ता है.
पढ़ें- पिता ने फोन चलाने से मना किया तो छात्रा ने खा लिया जहर, आज था 12वीं का बोर्ड एग्जाम

संजना के सपनों की उड़ान में भाई बने पंख: दिव्यांग संजना के सपनों को पूरा करने का बीड़ा उसके दो भाइयों ने उठाया है. पारस और आकाश बहन को परीक्षा केंद्र तक पहुंचाने के लिए डोली का सहारा लेते हैं. परीक्षा के दिन दोनों भाई डोली में बहन को लादकर लोधियागैर से आधा किलोमीटर दूर स्थित शैलकुमारी इंटर कॉलेज तक पहुंचाते हैं. भाइयों के इस प्रयास की हर कोई तारीफ कर रहा है.
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आर्थिक तंगी से जूझ रहा परिवार: संजना के पिता गोविंद राजन की 6 साल पहले मृत्यु हो गई थी, जिसके बाद उनके परिवार की आर्थिक स्थिति बिगड़ गई. संजना की मां प्राथमिक विद्यालय डुंगरी में भोजन माता है. संजना के भाई पारस और बहन सानिया 12वीं की परीक्षा दे रही है.

मदद की बात कर रहे अधिकारी: वीडियों वायरल होने के बाद हर ओर इन भाई-बहनों की चर्चा हो रही है, जिसके बाद अब ये मामला प्रशासन के संज्ञान में भी आ गया है. जिलाधिकारी आशीष चौहान ने संजना की परीक्षा जीआईसी चमाली में देने के लिए सीईओ को निर्देशित कर दिया है. साथ ही उन्होंने संजना को सरकारी योजनाओं का लाभ दिए जाने का भी भरोसा दिलाया है.

Last Updated : Mar 31, 2022, 6:13 PM IST
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