देहरादून: शहर के वन-वे ट्रैफिक से जनता और व्यापारी बेहाल हैं. ट्रैफिक व्यवस्था में सुधार के चलते घंटाघर के आस-पास एक किलोमीटर के दायरे में आने वाली मुख्य लाइफ लाइन सड़कों को पुलिस प्रशासन ने वन वे कर दिया है. जिसके बाद से ही दोपहिया, चौपहिया वाहन चालक शहर भर में लंबा चक्कर काटने को मजबूर हैं. वहीं दूसरी तरफ घंटाघर के इर्द गिर्द सड़कों पर वन-वे ट्रैफिक लागू होने के बाद व्यापारियों का धंधा भी मंदा पड़ने लगा है.
शहर के बीचोंबीच वन-वे ट्रैफिक लागू होने के कारण अधिकांश व्यापारी इसका विरोध कर रहे हैं. सोमवार को सभी व्यापारियों ने अपनी-अपनी दुकानों के आगे 'नया ट्रैफिक प्लान हमें मंजूर नहीं' का स्लोगन के बैनर-पोस्टर लगाये. व्यापारियों के मुताबिक वन-वे ट्रैफिक नियम लागू होने से पहले जहां घंटाघर के आस-पास 5 से 10 मिनट का ट्रैफिक जाम होता था वहीं अब वन -वे होने से ये दिन भर जाम हो रहा है. जिससे हर किसी को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है.
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वन-वे ट्रैफिक लागू होने से 50 प्रतिशत व्यापार प्रभावित
घंटाघर से जुड़ने वाले कई मार्गो पर वन-वे ट्रैफिक लागू होने के चलते आसपास के बाजार व्यापार पर खासा असर पड़ा है. एक तरफा ट्रैफिक के चलते और पार्किंग की पर्याप्त व्यवस्था न होने के कारण दुकानदार हाथ पर हाथ धरकर बैठे हैं. वन-वे के विरोध में आने वाले व्यापारियों का कहना है कि नए नियम लागू होने से घंटाघर के आस-पास के बाजारों में 50% व्यापार प्रभावित हुआ है. व्यापारियों के मुताबिक नए नियम से सड़क पर चलने वाले वाहनों को पूरे शहर का चक्कर लगाना पड़ रहा है.
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पुलिस कानून व्यवस्था को छोड़ सड़कों पर ट्रैफिक चलाने में जुटी
उधर, दूसरी तरफ वन वे ट्रैफिक लागू करने के चलते पुलिस को भी अपने सभी काम छोड़कर सड़कों पर डेरा डालना पड़ रहा है. नये नियम को लागू करवाने के लिए पुलिस लगातार डटी हुई है. सुबह से शाम और देर रात तक शहर कोतवाली के अलावा अन्य थाना चौकीकर्मी नए वन वे ट्रैफिक को पूरी मुस्तैदी के साथ लागू करने में जुटे हैं.
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देहरादून में वन-वे ट्रैफिक के खिलाफ व्यापारी लगातार अपना विरोध प्रकट कर रहे हैं. व्यापारियों का कहना है कि प्रशासन मनमाने तरीके से यातायात सुधार के नाम पर जबरदस्ती जनता पर नियम लागू कर रहा है. जबकि इस नई व्यवस्था से न तो सड़क पर चलने वाले वाहन चालकों को राहत मिल रही है और न ही किसी तरह का कोई यातायात बहाल हो पा रहा है.
व्यापारियों के मुताबिक मंदी के दौर में वे बड़ी मुश्किल से उबरने का प्रयास कर रहे थे,मगर इस नये नियम ने फिर से उनकी कमर तोड़ दी है.