देहरादून: त्रिवेंद्र सरकार उत्तराखंड में देश-विदेश के सैलानियों को आकर्षित करने के लिए हर संभव प्रयास कर रही है. इसी क्रम में पर्यटन महकमा बोलिविया के ला पाज शहर और मैक्सिको में संचालित होने वाले मास रैपिड ट्रांजिट सिस्टम की तर्ज पर उत्तराखंड में भी रोपवे प्रणाली को बढ़ावा देने की कवायद में लगी है.
इन दिनों पर्यटन विभाग देहरादून से मसूरी के बीच हाईटेक रूप से रोपवे बनाने कि तैयारी में है. साथ ही राज्य के विश्व प्रसिद्ध पर्यटक स्थल औली में भी व्यवस्थाओं को दुरुस्त करने की हरसंभव कोशिश की जा रही है. वहीं सरकार केदारनाथ में रोपवे लगाने को लेकर स्टडी करवा रही है. साथ ही यमुनोत्री और सिखों के धार्मिक स्थल हेमकुंड साहिब में भी रोपवे लगाने का खाका तैयार किया जा रहा है.
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वहीं मुख्य सचिव उत्पल कुमार ने बताया कि उत्तराखंड की भौगोलिक परिस्थितियों के अनुसार रोपवे एक अच्छा विकल्प है, क्योंकि इससे पर्यावरण को बहुत कम नुकसान होगा. साथ ही उत्तराखंड में आने वाले पर्यटक आसानी से अपने गंतव्य स्थल तक जा सकेंगे. साथ ही बताया कि कुछ अन्य स्थानों को भी चिन्हित किया गया है जहां रोपवे लगाने का खाका तैयार किया जा रहा है.