देहरादून : आगामी 28 जुलाई को मसूरी में होने जा रहे 9 हिमालयी राज्यों के मुख्यमंत्री समिट कार्यक्रम में वित्त व नीति आयोग के खास लोग भी हिस्सा लेंगे. हिमालयी राज्यों के विकास व उनके सामरिक सुधार सहित विशेष परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए उसके उत्थान को लेकर होने वाले इस महत्वपूर्ण मंथन कार्यक्रम में भारत सरकार की वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण विशेष तौर पर शामिल होंगी. इस समिट में सभी पर्वतीय राज्यों से जुड़े मसलों पर गौर किया जाएगा. कॉन्क्लेव के दौरान हिमालयी राज्यों के हितों को लेकर चर्चा कर विशेष नीति बनाए जाने की कोशिश की जाएगी.
पीएमओ सेक्रेटरी करेंगे शिरकत
जानकारी के मुताबिक 28 जुलाई को मसूरी स्थित शवाय होटल में होने वाली 9 हिमालयी राज्यों के मुख्यमंत्री समिट कार्यक्रम में त्रिपुरा, मिजोरम ,नागालैंड, मेघालय ,हिमाचल ,मणिपुर और असम के मुख्यमंत्री शामिल होंगे. जबकि अरुणाचल प्रदेश की उपमुख्यमंत्री और जम्मू कश्मीर के राज्यपाल एडवाइजर के तौर पर शामिल होंगे.
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इसके अलावा इस कार्यक्रम में राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन के सदस्य शामिल होंगे. साथ ही नीति आयोग उपाध्यक्ष के रूप में डॉक्टर राजीव कुमार के साथ-साथ 15वें वित्त आयोग के अध्यक्ष एनके सिंह भी इस कार्यक्रम में मौजूद रहेंगे. इस महत्वपूर्ण कार्यक्रम में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के अपर मुख्य सचिव पीके मिश्रा भी सम्मिलित होंगे. मिली जानकारी के अनुसार मेघालय के मुख्यमंत्री 26 जुलाई को सबसे पहले मसूरी पहुंचेंगे.
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कार्यक्रम से पहले उत्तराखंड सरकार की ओर से 27 जुलाई को होटल में सभी राज्य व केंद्रीय वीवीआईपी लोगों को रात्रि भोज दिया जाएगा. जबकि 28 जुलाई को सुबह 9 बजे मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत समिट कार्यक्रम को एड्रेस करेंगे. वहीं उसके बाद नीति आयोग के उपाध्यक्ष राजीव कुमार समिट कार्यक्रम को संबोधित करेंगे. जिसके बाद सभी राज्यों के मुख्यमंत्री बारी-बारी से हिमालय राज्यों के विकास और विशेष आपदा प्रबंधन व्यवस्था को बेहतर करने और हिमालय राज्य को विशेष रूप में आगे बढ़ाने को लेकर अपने विचार रखेंगे. आखिर में उत्तराखंड पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज भी हिमालय राज्यों को लेकर संबोधन देंगे.
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वहीं कार्यक्रम में सुरक्षा व्यवस्था को लेकर अगर बात की जाए तो इसके लिए उत्तराखंड पुलिस ने पुख्ता इंतजामात किये हैं. सभी मुख्यमंत्री, केंद्रीय प्रशासनिक अधिकारी हवाई मार्ग से सीधे जोलीग्रांट पहुंचेंगे. जहां से वे सड़क मार्ग से होते हुए मसूरी पहुंचेंगे. जौली ग्रांट एयरपोर्ट से 11 पायलट गाड़ियों की व्यवस्था की गई है जबकि देहरादून के कैंट क्षेत्र के पोलो ग्राउंड में हेलीकॉप्टर की भी व्यवस्था की गई है. 70 से ज्यादा वीआईपी वाहन जोलीग्रांट से मसूरी तक जाने के लिए विशेष सुरक्षा के तहत लगाए जा रहे हैं. देहरादून एसपी सिटी श्वेता चौबे को सभी वीवीआईपी लोगों के यातायात व्यवस्था की जिम्मेदारी दी गई है.
सुरक्षा व्यवस्था की टीम इस प्रकार रहेगी
इस विशेष कार्यक्रम के लिए 200 कांस्टेबल, 40 इंस्पेक्टर व एसआई , तीन एसपी रैंक अधिकारी, 4 एडिशनल एसपी रैंक के अफसर वीआईपी ड्यूटी पर तैनात रहेंगे. 4 सर्किल ऑफिसर सहित बीडीएस टीमों के अलावा क्यूआरटी, फायर ब्रिगेड, डॉग व बम स्क्वाड को भी सुरक्षा की जिम्मेदारी है.
वहीं हिमालय राज्यों के विशेष समिट कार्यक्रम की सुरक्षा व्यवस्था की जानकारी देते हुए देहरादून एसएसपी ने बताया कि सभी प्रांतों के मुख्यमंत्री विशेष सलाहकार और केंद्रीय प्रशासनिक अधिकारी और वीवीआईपी लोगों की सुरक्षा व्यवस्था पुख्ता की गई है. जौलीग्रांट से लेकर मसूरी तक भारी संख्या में फोर्स व अधिकारियों के नेतृत्व में चौकसी टीमें बनाई गई हैं.