उत्तरकाशी (उत्तराखंड): यमुनोत्री राष्ट्रीय राजमार्ग धरासू व बड़कोट के बीच सिलक्यारा के पास राष्ट्रीय राजमार्ग पर निर्माणाधीन टनल में हुए भू-धंसाव के बाद रेस्क्यू ऑपरेशन कर रही टीमों को भी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. सिलक्यारा की तरफ से लगभग 270 मीटर अंदर लगभग 30 मीटर क्षेत्र में ऊपर से मलबा सुरंग में गिरने के कारण 40 लोग फंसे हुए हैं. एनडीआरएफ के असिस्टेंट कमांडेंट करमवीर सिंह भंडारी ने बताया कि सुरंग के अंदर फंसे सभी 40 लोग सुरक्षित हैं. रेस्क्यू कार्य करते समय लगातार मलबा और पत्थर गिरने से परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. लेकिन रेस्क्यू कार्य युद्ध स्तर से जारी है. वहीं मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी आज घटनास्थल का निरीक्षण करेंगे.
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#WATCH | Uttarakhand | "Work is underway at a great speed. Everyone is working very hard...We were saddened yesterday because we weren't able to communicate with those trapped. But then we were able to communicate with them...," says Ranveer Singh Chauhan, Prantiya Rakshak Dal… https://t.co/xf2QYg7MJD pic.twitter.com/PBqLgJ4Tv5
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एनडीआरएफ के असिस्टेंट कमांडेंट करमवीर सिंह भंडारी ने बताया कि टनल के अंदर बीते दिन से करीब 15 मीटर कार्य हुआ है. उन्होंने कहा कि खबर मिली है अंदर सारे मजदूर सुरक्षित हैं और उनके खाने व पीने की व्यवस्था की है. उम्मीद है कि आज हम उन्हें बाहर निकालने की कोशिश करेंगे. उन्होंने बताया कि अंदर चालीस मजदूर फंसे हुए हैं, जो सुरक्षित हैं. करमवीर सिंह भंडारी ने बताया कि टनल के अंदर कार्य करने समय बार-बार मलबा और पत्थर गिर रहे हैं. जिससे रेस्क्यू कार्य में परेशानी हो रही है.
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- झारखंड के फंसे हुए मजदूरों की लिस्ट- विश्वजीत कुमार, सिमराधाब.
- सुबोध कुमार, सिमराधाब.
- समीर, बंकीसोल दुमरिया.
- चमरा उरॉव, लरता कुर्रा.
- विजय हीरो, गुमड लरता.
- गणपति, मदुगामा कुर्रा.
- अनिल बेदिया, खिराबेरा रांची.
- श्राजेद्र बेदिया, खिराबेरा रांची.
- सुकराम, खिराबेरा रांची.
- टिंकू सरदार, दुमरिया.
- रविंद्र, मणिकपुर दुमरिया.
- महादेव, चेलाबेडा पश्चिमि सिंहभूम.
- भक्तू मुर्मू, बांकीसोल.
- गुनोधर, मणिकपुर बाराबोतला.
- रंजीत, मणिकपुर बाराबोतला.
बताया कि टनल से शुरू से 200 मीटर तक अच्छे से कार्य हुआ है, उसके आगे जो टनल का कार्य चल रहा है, वहां प्लास्टर कार्य नहीं हुआ है. जिस वजह से वह अचानक से बैठ गया है. अभी जो मशीनें लगी हैं, उनके कार्य करते समय ऊपर से मलबा गिर रहा है, जो समस्या पैदा कर रहा है. मलबा थोड़ा गीला है और हैवी होकर नीचे गिर रहा है, लेकिन अभी थोड़ा मलबा गिरना कम हुआ है. लखवाड़ हाइड्रो पावर प्रोजेक्ट से एक हॉरीजॉन्टल ड्रिल मशीन भी घटनास्थल पर लाई गई है. कोलेप्स मैटेरियल को भी एक्सीवेटर और फ्रंट लोडर के माध्यम से लगातार हटाया जा रहा है. घटनास्थल पर लगातार मलबे का आना जारी है इसलिए इसके लिए शॉर्ट क्रिट का कार्य चल रहा है. एनडीआरएफ की टीम पूरे उपकरणों के साथ मौके पर डटी हुई है.
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- उत्तर प्रदेश के फंसे हुए मजदूर- अंकित, मोतीपुर कला.
- संतोष, मोतीपुर.
- जय प्रकाश, मोतीपुर.
- राम मिलन, मोतीपुर.
- सत्यदेव, मोतीपुर.
- राम सुंदर, मोतीपुर.
- मंजीत, खीरी.
- अखिलेश कुमार, मिर्जारपुर
लोक निर्माण विभाग ने दो अतिरिक्त जेसीबी मशीन घटनास्थल पर भेजी हैं. इसके साथ ही लोनिवि के सहयोग से घटनास्थल से पांच किमी की दूरी पर स्यालना के समीप एक अस्थायी हेलीपैड का निर्माण किया जा चुका है. राहत कार्यों के लिए चिन्यालीसौड़ हेलीपैड को भी एक्टिव किया गया है.
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#WATCH | Uttarakhand | Uttarkashi Tunnel accident: Relief and rescue work underway on war footing in Silkyara Tunnel located on Uttarkashi-Yamnotri road. NDRF and SDRF teams are present at the spot. pic.twitter.com/aETtuSKh7M
— ANI (@ANI) November 13, 2023 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data="
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टनल में फंसे 40 मजदूर: निर्माणाधीन सिलक्यारा सुरंग के अंदर फंसने वाले मजदूरों में उत्तराखंड कोटद्वार व पिथौराढ़ के दो, बिहार के 4, पश्चिम बंगाल के 3, असम के 2, झारखंड के 15, उत्तर प्रदेश के 8, हिमाचल का 1, व ओडिशा के पांच मजदूर शामिल हैं. जिनको निकालने के लिए रेस्क्यू अभियान जारी है. टनल के अंदर अस्थायी रूप से कम्प्रेशर से जरिए वाटर पाइप लाइन से ऑक्सीजन सप्लाई दी जा रही है. इसके साथ ही 200 एमएम पाइप के माध्यम से भूस्खलन एरिया में वेंटिलेशन दिया जा रहा है. ऑक्सीजन की निरंतर आपूर्ति के लिए पर्याप्त मात्रा में ऑक्सीजन सिलेंडर का स्टोरेज किया गया है.
- ओडिशा के फंसे हुए मजदूर- भगवान बत्रा, नवरंगपुर.
- राजू नायक, मयूरभंज.
- धीरेन, बडकुदर.
- विशेषर नायक, मयूरभंज.
एयर पाइप लाइन से फंसे हुए लोगों को खाने का सामान उपलब्ध करवाया जा रहा है. साथ ही वॉकी-टॉकी के जरिए फंसे हुए व्यक्तियों से बात हो रही है. वहीं, स्वास्थ्य विभाग की टीमों को उपकरण व एम्बुलेंस सहित टनल गेट पर तैनात रखा गया है. निकटवर्ती अस्पतालों व एम्स ऋषिकेश को हाई अलर्ट पर रखा गया है. राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण पूरे ऑपरेशन की मॉनिटरिंग कर रहे हैं.
- बिहार के फंसे हुए मजदूर- वीरेंद्र किसकू, तेतरिया कटोरिया.
- सबाह अहमद, भोजपुर.
- सोनू शाह, साहनी.
- सुशील कुमार, चंदनपुर.
जानिए कब हुआ हादसा: यमुनोत्री हाईवे पर निर्माणाधीन सिलक्यारा टनल में रविवार सुबह करीब 5:30 बजे हादसा हुआ. निर्माणाधीन टनल के मुहाने से 230 मीटर अंदर मलबा और बोल्डर गिर गए. जिसके बाद 30 से 35 मीटर हिस्से से पहले हल्का मलबा गिरा और फिर भारी मलबा व पत्थर गिरने लगे. मलबा व पत्थर गिरने से सुरंग के अंदर काम कर रहे 40 मजदूर अंदर ही फंस गए.
- पश्चिम बंगाल के फंसे हुए मजदूर-
- मनीर तालुकदार, कूच बिहार.
- सैविक पखेरा, हरीनाखली.
- जयदेव परमानिक, निमडांगी हुगली.
- असम के फंसे हुए मजदूर- संजय, कोकराझर
- राम प्रसाद, कोकराझर
जिलाधिकारी ने छुट्टी की रद्द: घटना के बाद निर्माण एजेंसी के साथ पुलिस, एसडीआरएफ, एनडीआरएफ, आईटीबीपी, बीआरओ व आपदा प्रबंधन विभाग की टीम राहत-बचाव कार्य में जुटी है. डीएम अभिषेक रूहेला ने घटना की सूचना पर दीपावली की छुट्टी रद्द कर हेलीकॉप्टर से मौके पर पहुंचे. साथ ही डीएम लगातार रेस्क्यू कार्य की निगरानी कर रहे हैं.
- उत्तराखंड के फंसे हुए मजदूर- पुष्कर, पिथौरागढ़
- गब्बर सिंह नेगी, कोटद्वार.
- हिमाचल मंडी निवासी विशाल.