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नक्सलियों से मिले पुराने रुपये का इस्तेमाल करने वाले व्यक्ति की संपत्ति ईडी ने कुर्क की

मनी लॉन्ड्रिंग रोधी कानून (anti money laundering law) के तहत 29 लाख रुपये से अधिक की कृषि भूमि कुर्क की गई है. ईडी ने कहा कि कृषि भूमि खरीद के लिए छत्तीसगढ़ के एक व्यक्ति द्वारा नक्सलियों से मिले विमुद्रीकरण रुपयों (DeMo currency received from Naxals) का इस्तेमाल किया था.

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ईडी
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Published : Feb 18, 2022, 3:23 PM IST

नई दिल्ली: ईडी द्वारा जारी बयान में कहा गया है कि वामपंथी उग्रवाद (left wing extremism) प्रभावित राज्य के राजनांदगांव जिले में स्थित संलग्न भूमि अश्विनी वर्मा और उनके छोटे भाई तमेश वर्मा के नाम पर है. प्रवर्तन निदेशालय (Enforcement Directorate) ने कहा कि अश्विनी वर्मा ने नक्सलियों से विमुद्रीकृत मुद्रा प्राप्त की और यह पैसा विभिन्न व्यक्तियों/स्थानीय किसानों से अनाज और कृषि उत्पादों की खरीद के लिए दिया.

बाद में अश्विनी वर्मा द्वारा खरीदे गए अनाज व कृषि उत्पादों को बेचा गया और पैसा कथित तौर पर उनके द्वारा ही प्राप्त किया गया. अश्विनी वर्मा ने इस पैसे को राजनांदगांव में 2975000 रुपये की लागत से एक कृषि भूमि की खरीद में निवेश किया, जिसे अब ईडी द्वारा धन शोधन निवारण अधिनियम (Prevention of Money Laundering Act) के तहत एक अस्थायी आदेश जारी करने के बाद संलग्न किया गया है.

यह भी पढ़ें- Yes Bank Fraud : 466 करोड़ के फ्रॉड मामले में राणा कपूर की जमानत याचिका पर ईडी को नोटिस

एजेंसी ने राज्य पुलिस द्वारा गैरकानूनी गतिविधि रोकथाम अधिनियम (यूएपीए) की विभिन्न धाराओं के तहत दर्ज की गई एक अक्टूबर 2018 प्राथमिकी का संज्ञान लेते हुए और एक प्रतिबंधित नक्सली संगठन की सहायता करने के लिए आरोपी के खिलाफ मामला दर्ज किया है. नवंबर 2016 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 1000 रुपये और 500 रुपये की दो उच्च मूल्य वाली मुद्राओं के विमुद्रीकरण की घोषणा की थी.

नई दिल्ली: ईडी द्वारा जारी बयान में कहा गया है कि वामपंथी उग्रवाद (left wing extremism) प्रभावित राज्य के राजनांदगांव जिले में स्थित संलग्न भूमि अश्विनी वर्मा और उनके छोटे भाई तमेश वर्मा के नाम पर है. प्रवर्तन निदेशालय (Enforcement Directorate) ने कहा कि अश्विनी वर्मा ने नक्सलियों से विमुद्रीकृत मुद्रा प्राप्त की और यह पैसा विभिन्न व्यक्तियों/स्थानीय किसानों से अनाज और कृषि उत्पादों की खरीद के लिए दिया.

बाद में अश्विनी वर्मा द्वारा खरीदे गए अनाज व कृषि उत्पादों को बेचा गया और पैसा कथित तौर पर उनके द्वारा ही प्राप्त किया गया. अश्विनी वर्मा ने इस पैसे को राजनांदगांव में 2975000 रुपये की लागत से एक कृषि भूमि की खरीद में निवेश किया, जिसे अब ईडी द्वारा धन शोधन निवारण अधिनियम (Prevention of Money Laundering Act) के तहत एक अस्थायी आदेश जारी करने के बाद संलग्न किया गया है.

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एजेंसी ने राज्य पुलिस द्वारा गैरकानूनी गतिविधि रोकथाम अधिनियम (यूएपीए) की विभिन्न धाराओं के तहत दर्ज की गई एक अक्टूबर 2018 प्राथमिकी का संज्ञान लेते हुए और एक प्रतिबंधित नक्सली संगठन की सहायता करने के लिए आरोपी के खिलाफ मामला दर्ज किया है. नवंबर 2016 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 1000 रुपये और 500 रुपये की दो उच्च मूल्य वाली मुद्राओं के विमुद्रीकरण की घोषणा की थी.

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