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ईरान पर सख्त हथियार प्रतिबंध की तैयारी में अमेरिका, रूस-चीन का विरोध - indefinite arms embargo

अमेरिका ने एक संशोधित प्रस्ताव वितरित किया है, जो ईरान पर संयुक्त राष्ट्र के हथियार प्रतिबंध को अनिश्चितकाल के लिये विस्तारित कर देगा. हालांकि, रूस और चीन ने इसका विरोध किया है.

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Published : Aug 12, 2020, 7:09 PM IST

वॉशिंगटन : अमेरिका ने एक संशोधित प्रस्ताव वितरित किया है. अमेरिका ने इसके लिये 15 सदस्यीय संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद से और अधिक समर्थन मांगा है, जहां वीटो की शक्ति रखने वाले पांच स्थायी सदस्य देशों में शामिल रूस और चीन ने सख्त विरोध जताया है.

अमेरिकी राजदूत केली क्राफ्ट ने कहा कि, नये मसौदे में सुरक्षा परिषद के विचारों पर गौर किया गया है और वही किया गया है जिस बारे में हर कोई जानता है कि क्या होना चाहिए. ईरान को मुक्त रूप से पारंपरिक हथियारों की खरीद-फरोख्त करने से रोकने के लिये हथियार प्रतिबंध को विस्तारित किया जाए.

उन्होंने कहा कि, 'यह महज सामान्य बात है कि दुनिया में आतंकवाद के नंबर एक प्रायोजक देश को विश्व को कहीं अधिक नुकसान पहुंचाने के साधन नहीं दिये गये हैं.'

पढ़ें: राष्‍ट्रपति चुनाव के बाद जी-7 समूह की मेजबानी के इच्‍छुक हैं ट्रंप

नया प्रस्ताव अभी सार्वजनिक नहीं
सुरक्षा परिषद के राजनयिकों ने कहा कि संशोधित मसौदा अंतिम रूप में वृहस्पतिवार को पेश किया जा सकता है और इसे शुक्रवार को मतदान के लिये रखा जा सकता है. बहरहाल, ये नया प्रस्ताव अभी सार्वजनिक नहीं किया गया है.

मसौदा में कई प्रावधान
राजनयिकों ने कहा कि, संशोधित मसौदा जून में वितरित किये गये मूल मसौदे से छोटा है. मसौदा में कई प्रावधान किये गये हैं जिस पर कुछ राजनयिकों को आपत्ति हो सकती है. उल्लेखनीय है कि, ईरान के परमाणु कार्यक्रम को लेकर 2010 में संयुक्त राष्ट्र ने तेहरान पर बड़ी विदेशी हथियार प्रणाली की खरीद पर प्रतिबंध लगा दिया था.

वॉशिंगटन : अमेरिका ने एक संशोधित प्रस्ताव वितरित किया है. अमेरिका ने इसके लिये 15 सदस्यीय संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद से और अधिक समर्थन मांगा है, जहां वीटो की शक्ति रखने वाले पांच स्थायी सदस्य देशों में शामिल रूस और चीन ने सख्त विरोध जताया है.

अमेरिकी राजदूत केली क्राफ्ट ने कहा कि, नये मसौदे में सुरक्षा परिषद के विचारों पर गौर किया गया है और वही किया गया है जिस बारे में हर कोई जानता है कि क्या होना चाहिए. ईरान को मुक्त रूप से पारंपरिक हथियारों की खरीद-फरोख्त करने से रोकने के लिये हथियार प्रतिबंध को विस्तारित किया जाए.

उन्होंने कहा कि, 'यह महज सामान्य बात है कि दुनिया में आतंकवाद के नंबर एक प्रायोजक देश को विश्व को कहीं अधिक नुकसान पहुंचाने के साधन नहीं दिये गये हैं.'

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नया प्रस्ताव अभी सार्वजनिक नहीं
सुरक्षा परिषद के राजनयिकों ने कहा कि संशोधित मसौदा अंतिम रूप में वृहस्पतिवार को पेश किया जा सकता है और इसे शुक्रवार को मतदान के लिये रखा जा सकता है. बहरहाल, ये नया प्रस्ताव अभी सार्वजनिक नहीं किया गया है.

मसौदा में कई प्रावधान
राजनयिकों ने कहा कि, संशोधित मसौदा जून में वितरित किये गये मूल मसौदे से छोटा है. मसौदा में कई प्रावधान किये गये हैं जिस पर कुछ राजनयिकों को आपत्ति हो सकती है. उल्लेखनीय है कि, ईरान के परमाणु कार्यक्रम को लेकर 2010 में संयुक्त राष्ट्र ने तेहरान पर बड़ी विदेशी हथियार प्रणाली की खरीद पर प्रतिबंध लगा दिया था.

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