वाराणसी: उत्तर प्रदेश के लोकल उत्पादों को अंतरराष्ट्रीय पहचान दिलाने के काम किया जा रहा है. गाजीपुर की हरी मिर्च से लेकर वाराणसी का बनारसी लंगड़ा आम का अंतरराष्ट्रीय बाजार में निर्यात नई आशा की किरण लेकर सामने आया है. अब मैरीगोल्ड (गेंदे का फूल) संयुक्त अरब अमीरात (United Arab Emirates) के बाजार में अपनी खुशबू बिखेरेगा. गेंदे के फूल के साथ गुलाब का सैंपल भी संयुक्त अरब अमीरात को भेजा गया है, जिसके सकारात्मक परिणाम आए है. इसकी अब और भी खेप भेजने की योजना है. इस आपूर्ति श्रृंखला में वाराणसी स्थित एफपीओ शामिल है. इसके साथ ही प्रदेश से अन्य कृषि उत्पादों का निर्यात करने की योजना है.
केंद्र सरकार के वाणिज्य और उद्योग मंत्रालय के उपक्रम कृषि और प्रसंस्कृत खाद्य उत्पाद निर्यात विकास प्राधिकरण (APEDA) ने कई पहल किए हैं. विभाग ने पूर्वाचल क्षेत्र को कृषि-निर्यात गतिविधियों का एक नया गंतव्य बनाने के लिए कई प्रयास किए हैं. इसके तहत उत्तर प्रदेश के कृषि उत्पादों को अन्तरराष्ट्रीय बाजार उपलब्ध कराने का काम किया गया है. इस कड़ी में हरी मिर्च, सब्जियां, बनारसी लंगड़ा आम सहित कई कृषि उत्पादों को जीआई टैग देने के साथ ही अन्तरराष्ट्रीय बाजारों में निर्यात किया गया है. इसी श्रृंखला में अब मैरीगोल्ड (गेंदे का फूल) शामिल किया गया है.
गेंदे के साथ गुलाब के फूल का भेजा सैंपल: APEDA के वाराणसी क्षेत्रीय कार्यालय ने FPOs के साथ समन्वय किया है. उन्हें निर्यातकों से जोड़कर उनकी शिपमेंट को सुचारू बनाने में मदद की गई है. वहीं, गेंदे के फूल के साथ गुलाब का सैंपल भी संयुक्त अरब अमिरात को भेजा गया. जिसके सकारात्मक परिणाम मिले हैं. अब इनकी और भी खेप भेजने की योजना है. इस आपूर्ति श्रृंखला में M/s Madhujansa Fed Farmer Producer Organization Ltd. शामिल है. एपीडा के चेयरमैन अभिषेक देव ने कहा, हमने कृषि निर्यात आपूर्ति श्रृंखला में अधिक किसान उत्पादक संगठनों (एफपीओ) को एकीकृत करने की योजना बनाई है.
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वाराणसी में पहले नहीं होता था कृषि निर्यात: अभिषेक देव ने कहा एकीकृत करने का ही परिणाम है कि आज कृषि उत्पादों को अन्तरराष्ट्रीय बाजार मिल रहा है. एपीडा द्वारा हर संभव प्रयास किया जा रहा है और आगे भी किया जाएगा. वाराणसी में आवश्यक आधारभूत सुविधाओं की कमी के कारण पहले किसी भी प्रकार का कृषि-निर्यात नहीं होता था. यहां अब निर्यात की बहुत सी गतिविधियां की जा रही हैं. इससे निर्यातों को एक बढ़ोतरी मिली है. उन्होंने कहा APEDA की हस्तक्षेप के बाद वाराणसी क्षेत्र ने निर्यात स्थिति में उत्कृष्ट परिवर्तन दर्ज किए हैं. बहुत ही कम समय में कई ऐसी उपलब्धियां दर्ज की गई हैं.
वाराणसी एयरपोर्ट पर निर्यात के लिए सुविधाएं: एपीडा के चेयरमैन अभिषेक देव ने कहा कि वर्तमान में वाराणसी क्षेत्र में कई निर्यातक हैं. कृषि उत्पादों का निर्यात लाल बहादुर शास्त्री अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर मजबूत संगरोध और कस्टम क्लीयरेंस सुविधा केंद्र की स्थापना से किया जा रहा है. इसके कारण हवाई मार्ग के माध्यम से कृषि उत्पादों का निर्यात हो रहा है. APEDA ने पूरे वाराणसी क्षेत्र में 30 से अधिक क्षमता निर्माण कार्यक्रम आयोजित किए हैं. उन्होंने कहा, इन सभी कार्यक्रमों के साथ ही साथ आठ अंतरराष्ट्रीय क्रेता-विक्रेता की बैठकें हुई हैं, जिसने निर्यातकों को उनके खाद्य उत्पादों को वैश्विक बाजार में प्रस्तुत करने के लिए एक मंच प्रदान किया है.