वाराणसी: काशी हिंदू विश्वविद्यालय के हिंदी विभाग के छात्रों का प्रदर्शन तीसरे दिन बुधवार को भी शांतिपूर्वक परीक्षा नियंता कार्यालय के सामने चलता रहा. हिंदी विभाग के पीएचडी के छात्र-छात्राओं ने आज कंट्रोल ऑफिस के बाहर श्रीरामचरितमानस का पाठ किया और भगवान से प्रार्थना की कि निर्णय छात्रों के हक में हो. मंगलवार को कंट्रोलर ने बुधवार शाम तक निर्णय लेने की बात कहते हुए शांति बनाएं रखने की अपील की थी. इसीलिए छात्र शांतिपूर्वक समय का सदुपयोग करने के लिए रामचरितमानस का पाठ कर रहें हैं.
प्रदर्शन कर रहे छात्रों की मांग है कि जुलाई 2022 में एडमिशन हुए सभी 73 छात्रों का डीआरसी जारी हो और किसी भी छात्र का निष्कासन ना हो. अगर ऐसा हुआ तो छात्र उग्र आंदोलन करने के लिए बाध्य होंगे. बीएचयू के हिंदी विभाग में वर्ष 2022 शोध प्रवेश परीक्षा ली गई थी. जुलाई 2022 में कुछ लोगों ने सेशन खत्म होने के बाद पीएचडी प्रवेश प्रक्रिया में धांधली का आरोप लगाया. जिसके बाद छात्रों ने जमकर विरोध प्रदर्शन किया तो विश्वविद्यालय प्रशासन ने फैक्ट फाइंडिंग कमेटी गठित की. जिसकी 7 महीने पहले रिपोर्ट आ गई थी, लेकिन अबतक उसे सार्वजनिक नहीं किया गया है. वहीं, जो छात्र एडमिशन का विरोध कर हैं उनका कहना है कि वर्ष 2022 जुलाई की सभी एडमिशन प्रवेश परीक्षा को निरस्त कर दिया जाएगा.
प्रदर्शन कर रही शोध की छात्रा आकांक्षा मिश्रा ने बताया 'मैं जुलाई 2022 बीएचयू हिंदी विभाग की रिसर्च स्कॉलर हूं. कल हम लोगों की कंट्रोलर से वार्ता हुई थी. तब उन्होंने हमें कहा था कि बुधवार को आप लोग के पक्ष में वार्ता होगी. जिसके लिए आज भर का समय मांगा है. क्योंकि हम हिंदी सहित्य के विद्यार्थी है इसीलिए इस समय का हम लोग सदुपयोग करते हुए हिंदी साहित्य के सभी छात्र रामचरितमानस का पाठ कर रहे हैं.'
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