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ओडिशा हादसे के बाद बनारस में अलर्ट मोड पर रेलवे, विशेष टीम कर रही ट्रेनों की जांच

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Published : Jun 7, 2023, 6:31 PM IST

ओडिशा हादसे के बाद रेल मंत्रालय रेलवे की गतिविधियों को ठीक करने में लगे हुए हैं. इसी के तहत यात्रियों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए वाराणसी में भी बकायदा विशेष टीम के जरिए ट्रेनों की जांच की जा रही है. इसके लिए रेलवे ने सक्रियता बढ़ाते हुए सेफ्टी ड्राइव की संख्या को बढ़ा दिया है.

बनारस में अलर्ट मोड पर रेलवे
बनारस में अलर्ट मोड पर रेलवे
बनारस में अलर्ट मोड पर रेलवे, बढ़ा दी गई जांच की सक्रियता

वाराणसी: ओडिशा में हुए हादसे के बाद देशभर में रेल के संचालन को लेकर जहां एक ओर सवाल उठ रहे हैं. तो वहीं दूसरी ओर पीएम मोदी समेत रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव लगातार बचाव कार्य के साथ रेलवे की गतिविधियों को ठीक करने में लगे हुए हैं. इसी क्रम में रेल विभाग लगातार संचालन को लेकर के सक्रियता बढ़ा रहा है. जिसका असर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी में भी देखा जा रहा है. जहां बकायदा रेलवे ने सक्रियता बढ़ाते हुए सेफ्टी ड्राइव की संख्या को बढ़ा दिया है.

रेलवे स्टेशनों की बढ़ाई गई सुरक्षा
रेलवे स्टेशनों की बढ़ाई गई सुरक्षा

बता दे कि, 2014 के बाद से लगातार रेलवे अलग-अलग बिंदुओं पर काम करते हुए खुद को अपडेट करता आया है. लेकिन, बीते दिनों ओडिशा में हुई घटना ने रेलवे के नई तकनीकी पर सवाल उठा दिए और पूरे देश को सदमे में डाल दिया. इस घटना के बाद खुद रेल मंत्री अश्वनी वैष्णव ने कमान संभाली हुई है. इसी के तहत देशभर में रेल के संचालनों की गतिविधियों में सक्रियता पूर्वक नजर रखी जा रही है. इसी क्रम में वाराणसी में भी बकायदा विशेष टीम के जरिए ट्रेनों की जांच की जा रही है.

कैंट रेलवे स्टेशन के स्टेशन अधीक्षक गौरव दीक्षित का कहना है कि रेलवे एक बहुत ही सेंसटिव ऑर्गेनाइजेशन है. यात्रियों की सुरक्षा रखना हमारी सबसे प्रमुख जिम्मेदारी है और इस दिशा में लगातार कार्य हो रहे हैं. इस क्रम में सेफ्टी ड्राइव, इंस्पेक्शन, फुटप्रिंट इंस्पेक्शन, सरप्राइज इंस्पेक्शन, नाइट इंस्पेक्शन किया जाता है. वर्तमान में इसकी डेंसिटी को बढ़ा दिया गया है और कुछ प्रमुख बिंदुओं पर भी जांचों को और बढ़ा दिया गया है. उन्होंने बताया कि पहले से गठित टीमों को और भी ज्यादा सक्रिय कर दिया गया है. ताकि अब किसी भी तरीके की कोई अप्रिय घटना न घट सके. विदित हो कि कैंट रेलवे स्टेशन पर प्रतिदिन लगभग 70000 यात्रियों का आगमन होता है और काफी संख्या में ट्रेनों का भी यहां से संचालन होता है.

ओडिशा के बालासोर में हुआ था ट्रेन हादसा: गौरतलब है कि बीते 2 जून को शाम में ओडिशा के बालासोर में 3 ट्रेनें एक दूसरे से टकरा गई थी. जिसमे 288 लोगों की मौत हो गई है. वहीं, 1000 से ज्यादा लोग गंभीर रूप घायल हो गए. इस घटना के बाद पूरे देश में हड़कंप मच गया हैं. घटनास्थल का प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने निरीक्षण कर बचाव कार्य की कमान संभाली. इसके साथ ही हादसे की वजह की भी जांच की जा रही है. बड़ी बात यह है कि इस हादसे में मारे गए लोगों में अब तक 100 शवों की पहचान भी नहीं हो सकी है.

यह भी पढे़ं: वाराणसी के इस गांव में अब नहीं होगी तेरहवीं, जानिए ग्रामीणों ने क्यों लिया ऐसा फैसला?

बनारस में अलर्ट मोड पर रेलवे, बढ़ा दी गई जांच की सक्रियता

वाराणसी: ओडिशा में हुए हादसे के बाद देशभर में रेल के संचालन को लेकर जहां एक ओर सवाल उठ रहे हैं. तो वहीं दूसरी ओर पीएम मोदी समेत रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव लगातार बचाव कार्य के साथ रेलवे की गतिविधियों को ठीक करने में लगे हुए हैं. इसी क्रम में रेल विभाग लगातार संचालन को लेकर के सक्रियता बढ़ा रहा है. जिसका असर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी में भी देखा जा रहा है. जहां बकायदा रेलवे ने सक्रियता बढ़ाते हुए सेफ्टी ड्राइव की संख्या को बढ़ा दिया है.

रेलवे स्टेशनों की बढ़ाई गई सुरक्षा
रेलवे स्टेशनों की बढ़ाई गई सुरक्षा

बता दे कि, 2014 के बाद से लगातार रेलवे अलग-अलग बिंदुओं पर काम करते हुए खुद को अपडेट करता आया है. लेकिन, बीते दिनों ओडिशा में हुई घटना ने रेलवे के नई तकनीकी पर सवाल उठा दिए और पूरे देश को सदमे में डाल दिया. इस घटना के बाद खुद रेल मंत्री अश्वनी वैष्णव ने कमान संभाली हुई है. इसी के तहत देशभर में रेल के संचालनों की गतिविधियों में सक्रियता पूर्वक नजर रखी जा रही है. इसी क्रम में वाराणसी में भी बकायदा विशेष टीम के जरिए ट्रेनों की जांच की जा रही है.

कैंट रेलवे स्टेशन के स्टेशन अधीक्षक गौरव दीक्षित का कहना है कि रेलवे एक बहुत ही सेंसटिव ऑर्गेनाइजेशन है. यात्रियों की सुरक्षा रखना हमारी सबसे प्रमुख जिम्मेदारी है और इस दिशा में लगातार कार्य हो रहे हैं. इस क्रम में सेफ्टी ड्राइव, इंस्पेक्शन, फुटप्रिंट इंस्पेक्शन, सरप्राइज इंस्पेक्शन, नाइट इंस्पेक्शन किया जाता है. वर्तमान में इसकी डेंसिटी को बढ़ा दिया गया है और कुछ प्रमुख बिंदुओं पर भी जांचों को और बढ़ा दिया गया है. उन्होंने बताया कि पहले से गठित टीमों को और भी ज्यादा सक्रिय कर दिया गया है. ताकि अब किसी भी तरीके की कोई अप्रिय घटना न घट सके. विदित हो कि कैंट रेलवे स्टेशन पर प्रतिदिन लगभग 70000 यात्रियों का आगमन होता है और काफी संख्या में ट्रेनों का भी यहां से संचालन होता है.

ओडिशा के बालासोर में हुआ था ट्रेन हादसा: गौरतलब है कि बीते 2 जून को शाम में ओडिशा के बालासोर में 3 ट्रेनें एक दूसरे से टकरा गई थी. जिसमे 288 लोगों की मौत हो गई है. वहीं, 1000 से ज्यादा लोग गंभीर रूप घायल हो गए. इस घटना के बाद पूरे देश में हड़कंप मच गया हैं. घटनास्थल का प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने निरीक्षण कर बचाव कार्य की कमान संभाली. इसके साथ ही हादसे की वजह की भी जांच की जा रही है. बड़ी बात यह है कि इस हादसे में मारे गए लोगों में अब तक 100 शवों की पहचान भी नहीं हो सकी है.

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