वाराणसी: ज्ञानवापी परिसर में कमीशन की कार्यवाही के दौरान शिवलिंग मिलने के दावे को वाराणसी के जिलाधिकारी कौशल राज शर्मा ने पूरी तरह से खारिज कर दिया. इस दौरान उन्होंने कहा कि कमीशन की कार्यवाही पूरी हो चुकी है और अब कोर्ट के समक्ष रिपोर्ट पेश की जाएगी. जिलाधिकारी ने आगे कहा कि कोर्ट कमिश्नर की ओर से सभी पक्षों को निर्देश दिया गया था कि रिपोर्ट 17 मई को कोर्ट में पेश होगी. ऐसे में कोई भी परिसर के भीतर की गतिविधियों को बाहर डिस्क्लोज न करें. लेकिन किसी ने अगर निजी इच्छा से कुछ बताने की कोशिश की है तो कोई भी उसकी प्रमाणिकता सिद्ध नहीं करता है. ऐसे में केवल कोर्ट ही इस सूचना का कस्टोडियन है. वहीं, उन्होंने कहा कि अगर किसी भी पक्ष की ओर से अगर मीडिया को कोई जानकारी दी गई है तो वह उसकी निजी विचार हो सकते हैं. इससे कोर्ट कमीशन का कोई लेनादेना नहीं है.
आगे उन्होंने कहा कि रविवार को कार्यवाही के दौरान टीम में शामिल एक व्यक्ति को किन्हीं कारणों से 15-20 मिनट के लिए रोका गया था. इसके बाद कोर्ट कमीशन ने दोबारा उन्हें कार्यवाही का हिस्सा बनने की अनुमति दे दी थी. डीएम ने बताया कि शनिवार को कोर्ट के निर्देश के बावजूद संबंधित व्यक्ति ने कुछ जानकारियां डिस्क्लोज कर दी थी. यही कारण है कि रविवार को उन्हें रोका गया और करीब 15-20 मिनट के बाद फिर से उन्हें कोर्ट कमीशन की अनुमति पर टीम में शामिल कर लिया गया.
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वहीं, उन्होंने कहा कि सोमवार को संक्षिप्त कार्यवाही होनी थी, जिसमें कोर्ट की ओर से नियुक्त टीम के सभी लोग मौजूद थे. आखिर में वादी पक्ष के अधिवक्ता विष्णु शंकर जैन के कोर्ट जाने से संबंधित विषय पर जिलाधिकारी ने कहा कि कोर्ट कोई भी जा सकता है और यह देखना प्रशासन का काम नहीं है.
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