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सरकारी बैठकों में दिखेगा देसी अंदाज, नाश्ते में मिलेगा लैया चना और मुरमुरे - अधिकारियों को मिलेगा लैया चना

उत्तर प्रदेश के वाराणसी में खुद को देसी अंदाज में पेश कर रहे अधिकारी अब खानपान में भी देसीपन लाने में जुट गए है. जिले में सरकारी बैठकों के दौरान दिए जाने वाले नाश्ते में मिठाई, नमकीन, काजू और अन्य जंक फूड आइटम दिए जाने पर रोक लगा दी गई है.

सरकारी बैठकों में दिखेगा देसी अंदाज.
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Published : Jul 18, 2019, 1:38 PM IST

वाराणसीः जिले में मुख्य विकास अधिकारी की तरफ से लिखित आदेश जारी कर साफ कहा गया है कि अब पैकेट बंद पदार्थों के स्थान पर शुद्ध देसी खाद्य पदार्थ लैया, चना, मुरमुरे जैसी चीजें दी जाएं. इस आदेश से शुगर, हार्ट, हाईब्लड प्रेशर और अन्य गंभीर बीमारियों से पीड़ित अधिकारियों को राहत मिलेगी.

अधिकारियों को मिलेगा देसी नाश्ता.



स्वयं सहायता समूह की मदद से छोटी-छोटी दुकानें चलाने वाली महिलाओं के माध्यम से ही इन देसी खाद्य पदार्थों की सप्लाई बैठकों में होगी. जिससे इनकी इनकम बढ़ेगी और सरकारी बैठकों में देसी खाद्य पदार्थों के कारण अधिकारियों को स्वास्थ्य के प्रति सोचना नहीं होगा.
गौरांग राठी, मुख्य विकास अधिकारी

वाराणसीः जिले में मुख्य विकास अधिकारी की तरफ से लिखित आदेश जारी कर साफ कहा गया है कि अब पैकेट बंद पदार्थों के स्थान पर शुद्ध देसी खाद्य पदार्थ लैया, चना, मुरमुरे जैसी चीजें दी जाएं. इस आदेश से शुगर, हार्ट, हाईब्लड प्रेशर और अन्य गंभीर बीमारियों से पीड़ित अधिकारियों को राहत मिलेगी.

अधिकारियों को मिलेगा देसी नाश्ता.



स्वयं सहायता समूह की मदद से छोटी-छोटी दुकानें चलाने वाली महिलाओं के माध्यम से ही इन देसी खाद्य पदार्थों की सप्लाई बैठकों में होगी. जिससे इनकी इनकम बढ़ेगी और सरकारी बैठकों में देसी खाद्य पदार्थों के कारण अधिकारियों को स्वास्थ्य के प्रति सोचना नहीं होगा.
गौरांग राठी, मुख्य विकास अधिकारी

Intro:वाराणसी: योगी सरकार में खुद को देसी अंदाज में पेश कर रहे अधिकारी अब खानपान में भी कुछ देसीपनलाने में जुड़ जाएं शायद यही वजह है प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी में सरकारी बैठकों के दौरान दिए जाने वाले नाश्ते में नमकीन काजू कतली बिस्किट और अन्य जंक फूड आइटम दिए जाने पर रोक लगा दी गई है. इसके लिए बाकायदा मुख्य विकास अधिकारी की तरफ से लिखित आदेश जारी किया गया है जिसमें यह साफ कहा गया है कि अब इन खाद्य पदार्थों के स्थान पर शुद्ध देसी खाद्य पदार्थ लैया, चना मुरमुरे जैसी चीजों को प्राथमिकता दी जाएगी. यानी योगी सरकार में अधिकारी और उनके माधव अब नाश्ते में भी देसी पन को तवज्जो देंगे.


Body:वीओ-01 इस आदेश को जारी करने वाले मुख्य विकास अधिकारी गौरांग राठी का कहना है कि सरकारी बैठकों एवं अन्य कार्यक्रमों के दौरान जो भी नाश्ते के पैकेट वितरित किए जाते हैं उनमें नमकीन, बिस्किट, काजू कतली समेत कई अन्य तरह की खाने बिना की चीजें होती हैं महंगी तो है ही साथ में स्वास्थ्य के लिए नुकसानदायक भी हो सकती है, जारी किए गए लिखित आदेश में यह भी कहा गया है की बैठकों के दौरान बहुत से ऐसे अधिकारी भी शामिल होते हैं जो शुगर, हार्ट प्रॉब्लम और हाई ब्लड प्रेशर जैसी गंभीर बीमारियों से भी पीड़ित होते हैं. ऐसी स्थिति में इन्हें पैकेज बंद नाश्ता अथवा जंक फूड दिया जाना उनके स्वास्थ्य को और बिगाड़ सकता है. इसलिए इसके स्थान पर बैठकों में दिए जाने वाले अल्पाहार में लैया चना मुरमुरे आदि खाद्य सामग्रियों को शामिल करने के निर्देश दिए गए हैं.

बाईट- गौरांग राठी, मुख्य विकास अधिकारी

इसलिए इन चीजों के स्थान पर अब सभी प्रशासनिक बैठकों में


Conclusion:वीओ-02 एक तरफ जहां इस आदेश के बाद कर्मचारियों के स्वास्थ्य की चिंता अधिकारियों के सामने आ रही है, वहीं इस आदेश से उन महिलाओं का जीवन भी सुधरने की बात कही जा रही है, जो स्वयं सहायता समूह की मदद से विकास भवन व अन्य सरकारी भवनों में लैया, चना और देसी खाद्य पदार्थों की दुकानें संचालित कर रही हैं. मुख्य विकास अधिकारी का कहना है कि स्वयं सहायता समूह की मदद से यह छोटी-छोटी दुकानें चलाने वाली महिलाओं के माध्यम से ही इन देसी खाद्य पदार्थों की सप्लाई बैठकों में होगी. जिससे इनकी इनकम भी बढ़ेगी और सरकारी बैठकों में देसी खाद्य पदार्थों के कारण कर्मचारियों और अन्य अधिकारियों को स्वास्थ्य के प्रति सोचना नहीं होगा.

बाईट- गौरांग राठी, मुख्य विकास अधिकारी


गोपाल मिश्र

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