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आयुष्मान खुराना ने की अस्थमा अभियान की शुरुआत - बीएचयू

वाराणसी जिले में अस्थमा के लिए इनहेलर है सही अभियान की शुरूआत की गई. वर्चुअल तरीके राष्ट्रीय स्तर पर इस अभियान की शुरूआत अभिनेता आयुष्मान खुराना के द्वारा की गई.

आयुष्मान खुराना ने की अस्थमा अभियान की शुरुआत.
आयुष्मान खुराना ने की अस्थमा अभियान की शुरुआत.
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Published : Dec 25, 2020, 7:56 PM IST

वाराणसी: जिले में शुक्रवार को अस्थमा के लिए इनहेलर है सही अभियान की शुरूआत की गई. आयुष्मान खुराना के द्वारा वर्चुअल तरीके से राष्ट्रीय स्तर पर इस अभियान की शुरूआत की गई. अभियान के तहत अस्थमा बीमारी के बारे में फैली अफवाहों और इनहेलर के फायदे के प्रति लोगों को जागरूक किया जाएगा.


राष्ट्रीय स्तर के इस अभियान से बॉलीवुड के अलावा खेल जगत की कई बड़ी हस्तियां जुड़ी हैं. इसमें अभिनेता आयुष्मान खुराना, शेफ विकास खन्ना, बैडमिंटन खिलाडी पारुपल्ली कश्यप जैसी हस्तियां शामिल है. इस अभियान के संबंध में बीएचयू के चेस्ट रोग विशेषज्ञ डॉ. जेके समारिया ने बताया कि वायु प्रदूषण अस्थमा के बढ़ने के प्रमुख कारणों में से एक है और इनहेलेशन थेरपी से अस्थमा को काफी हद तक कंट्रोल किया जा सकता है. अस्थमा के मरीजों के लिए इनहेलर सबसे सुरक्षित उपचार है. उन्होंने बताया कि वाराणसी में चेस्ट रोग के लगभग 35-40 लोगों की जांच प्रतिदिन की जाती है, जिनमें अस्थमा के मरीजों की संख्या अधिकतम रहती है.

अनलॉक के बाद बढ़ रही परेशानी
डॉ. समारिया ने बताया कि देश में लगे लॉकडाउन के समय काफी हद तक वायु प्रदूषण नियंत्रित था. वहीं अनलॉक की शुरूआत होते ही दोबार से वायु प्रदूषण बढ़ता जा रहा है. उन्होंने बताया कि वाराणसी में बढ़ते वायु प्रदूषण का मुख्य कारण पराग कण, धूम्रपान, अनुवांशिकता और पोषक तत्वों की कमी है. इसलिए अस्थमा के मरीजों को प्रॉपर डाइट के साथ इनहेलर का इस्तेमाल जरूर करना चाहिए.

वाराणसी: जिले में शुक्रवार को अस्थमा के लिए इनहेलर है सही अभियान की शुरूआत की गई. आयुष्मान खुराना के द्वारा वर्चुअल तरीके से राष्ट्रीय स्तर पर इस अभियान की शुरूआत की गई. अभियान के तहत अस्थमा बीमारी के बारे में फैली अफवाहों और इनहेलर के फायदे के प्रति लोगों को जागरूक किया जाएगा.


राष्ट्रीय स्तर के इस अभियान से बॉलीवुड के अलावा खेल जगत की कई बड़ी हस्तियां जुड़ी हैं. इसमें अभिनेता आयुष्मान खुराना, शेफ विकास खन्ना, बैडमिंटन खिलाडी पारुपल्ली कश्यप जैसी हस्तियां शामिल है. इस अभियान के संबंध में बीएचयू के चेस्ट रोग विशेषज्ञ डॉ. जेके समारिया ने बताया कि वायु प्रदूषण अस्थमा के बढ़ने के प्रमुख कारणों में से एक है और इनहेलेशन थेरपी से अस्थमा को काफी हद तक कंट्रोल किया जा सकता है. अस्थमा के मरीजों के लिए इनहेलर सबसे सुरक्षित उपचार है. उन्होंने बताया कि वाराणसी में चेस्ट रोग के लगभग 35-40 लोगों की जांच प्रतिदिन की जाती है, जिनमें अस्थमा के मरीजों की संख्या अधिकतम रहती है.

अनलॉक के बाद बढ़ रही परेशानी
डॉ. समारिया ने बताया कि देश में लगे लॉकडाउन के समय काफी हद तक वायु प्रदूषण नियंत्रित था. वहीं अनलॉक की शुरूआत होते ही दोबार से वायु प्रदूषण बढ़ता जा रहा है. उन्होंने बताया कि वाराणसी में बढ़ते वायु प्रदूषण का मुख्य कारण पराग कण, धूम्रपान, अनुवांशिकता और पोषक तत्वों की कमी है. इसलिए अस्थमा के मरीजों को प्रॉपर डाइट के साथ इनहेलर का इस्तेमाल जरूर करना चाहिए.

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