वाराणसी: मार्च के महीने में होली का त्योहार तो लोगों ने मना लिया, लेकिन उसके बाद कोरोना के कारण हर त्योहार लोग सादगी के साथ मनाने पर मजबूर हो गए हैं. कुछ इसी तरह मुस्लिम समुदाय के सबसे बड़े पर्व बकरीद पर भी कोविड-19 का साया मंडरा रहा है. सरकार के आदेश के बाद लोग इसे घरों में मनाने की तैयारी कर रहे हैं. वहीं इस बार बनारस के बेनिया बाग मैदान में लगने वाली यूपी की सबसे बड़ी बकरा मंडी नहीं लग पाई. जहां हर साल पूर्वांचल सहित उत्तर प्रदेश के कई जिलों में बड़ी संख्या में बकरों की खरीद-फरोख्त के लिए लोग जुटते थे. वहां पर बिल्कुल सन्नाटा है. हालांकि परंपराओं का निर्वहन करते हुए कुर्बानी के लिए बकरों की खरीदारी लोग मैदान में पहुंचकर भले न कर पा रहे हो, लेकिन ऑनलाइन जरूर कर रहे हैं.
कोरोना के कारण नहीं लगी यूपी की सबसे बड़ी बकरा मंडी
कोरोना के कारण लागू पाबंदियों का जीता जागता उदाहरण काशी के बेनिया बाग के मैदान में दिखाई दे रहा है. बकरीद के मौके पर यहां पर यूपी के अलग-अलग जिलों से लोग बकरे की खरीदारी करने के लिए आते थे. इस ग्राउंड में खुदरा बकरों की मंडी लगा करती थी. कई राज्यों से व्यापारी यहां अपने बकरे को त्योहार के मौके पर बेचने आया करते थे लेकिन लॉकडाउन और कोरोना काल ने सैकड़ों साल की परंपरा को विराम लगा दिया है.
बकरों की हो रही होम डिलीवरी
सरकार के निर्देश के बाद इस बार बकरीद मनाने के लिए लोगों ने डिजिटल प्लेटफॉर्म का सहारा ले लिया है. वही व्यापारियों की मानें तो खरीदारी डिजिटल प्लेटफार्म पर हो रही है. ऑनलाइन बकरों की कीमत बताई जा रही है और घर पर होम डिलीवरी दी जा रही है. वहीं व्यापारी भी ऑनलाइन बकरे बेचकर मुनाफा कमा रहे हैं. मुफ़्ती ए शहर अब्दुल बातिन नोमानी का कहना है ऑनलाइन खरीदारी कर अपने घरों में ही रहकर कुर्बानियां करें. वाराणसी में ऑनलाइन बकरे की खरीदारी का कारोबार बहुत धड़ल्ले से फल-फूल रहा है और इसका मुनाफा ज्यादातर व्यापारियों को हो रहा है.
एक अगस्त को मनाया जाएगा बकरीद का पर्व
बकरीद का पर्व एक अगस्त को मनाया जाएगा. इसे लेकर पूरे देश में तैयारियां चल रही हैं, लेकिन इस बार कोविड-19 के डर की वजह से सरकार ने बकरीद के पर्व को भी घरों में सुरक्षित रह कर मनाने की हिदायत दी है. सरकार की इस अपील के बाद लोग भी अपने साथ दूसरों को सुरक्षित रखने के लिए आदेश का पालन कर रहे हैं. बनारस के बेनियाबाग मैदान में लगने वाली सबसे बड़ी बकरा मंडी इस बार नहीं लगी है. लोग घरों में अपने मोबाइल फोन पर ही बकरों की खरीद-फरोख्त कर कुर्बानी की रस्म अदा करने की तैयारी में जुटे हुए हैं.
सरकार को देनी चाहिए थोड़ी छूट
लोगों का कहना है कि परंपराओं का निर्वहन जरूरी है और हमारे धर्म में कुर्बानी को सबसे महत्वपूर्ण बताया गया है. इसलिए घर पर रहकर सुरक्षित तरीके से इस त्योहार को मनाएंगे. हालांकि मुस्लिम धर्म गुरुओं का कहना है कि सरकार को थोड़ी रियायत जरूर देनी चाहिए. हमारे सिर्फ दो ही त्योहार हैं. ईद और बकरीद जिसे हर्षोल्लास के साथ मनाया जाता है. लोग आदेश का पालन जरूर करेंगे, लेकिन पर्व पर थोड़ी छूट जरूर मिलनी चाहिए.