वाराणसी: वाराणसी के काशी हिंदू विश्वविद्यालय में विवाद थमने का नाम ही नहीं ले रहा है. एक तरफ नर्सिंग स्टाफ पिछले 6 दिनों से प्रदर्शन कर रहे हैं तो वहीं अब शास्त्री और आचार्य की डिग्री पर स्नातक और स्नातकोत्तर की मांग को लेकर संस्कृत संकाय के छात्र लगातार प्रदर्शन कर रहे हैं. बीती रात नेपाल मूल की बीए एलएलबी फोर्थ ईयर की छात्रा नीतू शाह अपने सामानों के साथ कुलपति आवास के बाहर धरने पर बैठ गई. छात्रा के प्रदर्शन की सूचना मिलते ही प्रॉक्टोरियल बोर्ड के सदस्य मौके पर पहुंचे और छात्रों को समझाने की कोशिश की. लेकिन फिर भी छात्रा वहां से नहीं हटी.
छात्रा नीतू ने बताया कि आज से दो वर्ष पहले जब कोरोना काल शुरू हुआ था तो वो यहां से चली गई थी. वो बीए एलएलबी की छात्रा है और उसका कोर्स 5 साल का है. इस वक्त उसका फोर्थ ईयर यानी 8वां सेमेस्टर चल रहा है. लेकिन जब वो यहां गई तो उसके सारे ओरिजिनल डाक्यूमेंट्स और कपड़े यही थे. लेकिन वापस आने के बाद उसे उसका कोई भी सामान नहीं मिल रहा है. जिसके कारण उसे खासा दिक्कतें पेश आ रही हैं. इतना ही नहीं छात्रा ने कहा कि जब को यहां अपने सामान के लिए आई तो उसे हॉस्टल के भीतर ही नहीं जाने दिया गया.
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नीतू ने बताया वो अंतर्राष्ट्रीय गर्ल्स हॉस्टल में रहती थी. नेपाल सरकार के अनुसार सुबह 6 बजे से रात 10 बजे तक सीमा खुला रहता है. वहीं, गुरुवार को देर रात करीब10 बजे वो यहां पहुंची और यहां आने के बाद वो सीधे अपने हॉस्टल गई. लेकिन हॉस्टल की वार्डन ने उसे अंदर जाने की अनुमति नहीं दी.
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