वाराणसी: यहां अपराधियों की पहचान करने के लिए फेशियल रिकॉग्नाइज टेक्नोलॉजी की मदद ली जाएगी. यह फेस रिकॉग्नानिशन कैमरे इतने प्रभावशाली हैं कि कई साल पुराने फोटो के जरिए ही चेहरे पहचान लेते हैं. यदि कोई अपराधी भेष बदलता है, तो ये उसको भी पहचान लेते हैं. यह हाईटेक कैमरे लाखों की भीड़ में भी लोगों को पहचान करने में सक्षम हैं. इन हाइटेक कैमरों के जरिए अपराधियों पर अंकुश लगाने में कामयाबी मिलेगी. वाराणसी के करीब 700 स्थानों पर यह कैमरे लगाए गए हैं.
डॉ. डी वासुदेव ने बताया कि कंट्रोल कमांड सर्विस सेंटर पर हर पुलिस थाने के एक व्यक्ति को बैठने की व्यवस्था की गई है, जो वहां बैठकर निगरानी करेगा. ऑटो इंटेलीजेंन्स फीचर्स के जरिए अगर कोई भी अपराधी किसी भी तरह का वेष बदलकर, दाढ़ी लगाकर या फेस पैक लगा कर आता है, तो यह कैमरे उसे पकड़ने में मददगार होंगे.
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स्मार्ट सिटी सीईओ प्रणय सिंह प्रयण सिंह ने बताया तैयारियां पूरी कर ली गई हैं. पुलिस आयुक्त को पत्र लिखकर हैंड ओवर की बात की गई है. जिससे पुलिस थाने के लोग बैठकर उस पर आगे का काम कर सकें. योजना के विषय में बताते हुए उन्होंने कहा कि दो चरण में यह योजना थी. इसका बजट 160 करोड़ रुपये है.
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