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वाराणसी: डीएलडब्ल्यू के निगमीकरण के विरोध में सड़कों पर उतरे कर्मचारी

वाराणसी में पीएम मोदी की पसंदीदा जगह डीएलडब्ल्यू के निगमीकरण की योजना को लेकर कर्मचारी प्रदर्शन कर रहे हैं. कर्मचारियों का कहना है कि पीएम मोदी के कहने के बाद भी इस तरह से उनकी बात की अवहेलना की जा रही है.

निगमीकरण का विरोध करते कर्मचारी.
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Published : Jun 26, 2019, 10:22 AM IST

वाराणसी: पीएम मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी में डीरेका कर्माचारियों ने जमकर विरोध प्रदर्शन किया. कर्मचारियों का कहना है कि पीएम मोदी ने डीएलडब्ल्यू के निगमकरण न किए जाने का आश्वासन दिया था, लेकिन यहां एक बार फिर से डीएलडब्ल्यू के निगमीकरण की योजना बनाई जा रही है.

निगमीकरण का विरोध करते कर्मचारी.

क्या है मामला

  • डीएलएल्यू पीएम मोदी की पसंदीदा जगहों में से एक रही है.
  • यही वजह है कि 2014 में चुनाव जीतने के बाद पीएम मोदी ने डीएलडब्ल्यू के निगमीकरण किए जाने की योजना को लागू करने से इनकार कर दिया था.
  • वहीं एक बार फिर से डीएलडब्ल्यू के निगमीकरण या निजी करण का हल्ला तेज हो गया है.
  • इसके बाद से अब कर्मचारी काम धंधा छोड़कर विरोध प्रदर्शन में जुट गए हैं.
  • सभी कर्मचारी केंद्र सरकार की नीतियों के खिलाफ हाथ में काली पट्टी बांधकर विरोध कर रहे हैं.
  • कर्मचारियों ने कहा कि केंद्र सरकार जल्द ही डीएलडब्लू को किसी प्राईवेट हाथों में देने की तैयारी कर रही है. इसका एक लेटर भी संस्थान को मिला है.

वाराणसी: पीएम मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी में डीरेका कर्माचारियों ने जमकर विरोध प्रदर्शन किया. कर्मचारियों का कहना है कि पीएम मोदी ने डीएलडब्ल्यू के निगमकरण न किए जाने का आश्वासन दिया था, लेकिन यहां एक बार फिर से डीएलडब्ल्यू के निगमीकरण की योजना बनाई जा रही है.

निगमीकरण का विरोध करते कर्मचारी.

क्या है मामला

  • डीएलएल्यू पीएम मोदी की पसंदीदा जगहों में से एक रही है.
  • यही वजह है कि 2014 में चुनाव जीतने के बाद पीएम मोदी ने डीएलडब्ल्यू के निगमीकरण किए जाने की योजना को लागू करने से इनकार कर दिया था.
  • वहीं एक बार फिर से डीएलडब्ल्यू के निगमीकरण या निजी करण का हल्ला तेज हो गया है.
  • इसके बाद से अब कर्मचारी काम धंधा छोड़कर विरोध प्रदर्शन में जुट गए हैं.
  • सभी कर्मचारी केंद्र सरकार की नीतियों के खिलाफ हाथ में काली पट्टी बांधकर विरोध कर रहे हैं.
  • कर्मचारियों ने कहा कि केंद्र सरकार जल्द ही डीएलडब्लू को किसी प्राईवेट हाथों में देने की तैयारी कर रही है. इसका एक लेटर भी संस्थान को मिला है.
Intro:वाराणसी: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बनारस से सांसद बनने के बाद जब भी रात्रि विश्राम बनारस में करने की बनाने की उनकी पसंदीदा जगह डीएलडब्ल्यू यानी डीजल लोकोमोटिव वर्कशॉप रही पीएम मोदी को जगह बेहद पसंद है और यही वजह है कि 2014 मैं चुनाव जीतने के बाद पीएम मोदी ने डीजल लोकोमोटिव वर्कशॉप के निगमीकरण या निजीकरण किए जाने को लेकर लगाया जा रहे कयासों पर रोक लगाते हुए ऐसी किसी भी योजना को लागू करने से इनकार कर दिया था लेकिन दोबारा सत्ता में आने के बाद एक बार फिर से डीएलडब्ल्यू के निगमीकरण या निजी करण का हल्ला तेज हो गया. जिसके बाद अब कर्मचारी काम धंधा छोड़ विरोध प्रदर्शन में जुट गए हैं और केंद्र सरकार की नीतियों के लिए हाथ में काली पट्टी बांधकर विरोध कर रहे हैं.Body:वीओ-01 डीएलडब्लू कर्मचारियों ने सरकार विरोधी नीतियों को बताकर काली पट्टी बांधकर प्रोटेस्ट शुरू कर दिया. कर्मचारियों का मानना है कि केंद्र की सरकार जल्द ही डीएलडब्लू को किसी प्राईवेट हाथों में देने की तैयारी कर रहा है, इसका एक लेटर भी संस्थान को मिला है. Conclusion:वीओ-02 प्राइवाईजेशन या निगमीकरण कर सभी स्टाफों के भविष्य से सरकार खिलवाड़ करेगी. 6000 स्टॉफ वर्षों से सेवा देते आ रहे है. जैसे रेलवे में खाने की समस्या को लेकर यात्री हमेशा जूझते है,वैसे ही संस्थान भी हो जाएगा.

बाइट: नवीन, डीरेका कर्मचारी

गोपाल मिश्र
9839809074
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