ETV Bharat / state

वाराणसी के कचहरी परिसर में ट्रांसजेंडर के लिए अलग शौचालय और कॉमन रूम की मांग - varanasi court premises

यूपी के वाराणसी में 'दखल' नामक संगठन द्वारा लैंगिक समानता, सुविधा और व्यवस्था के लिए हस्ताक्षर अभियान चलाया गया. उन्होंने कहा कि सार्वजनिक स्थानों पर महिलाओं और ट्रांसजेंडर नागरिकों के लिए शौचालय और यूरिनल प्रसाधन कक्ष आदि की समुचित व्यवस्था नहीं है और इसकी व्यवस्था की जाए.

वाराणसी कचहरी परिसर में ट्रांसजेंडर के लिए शौचालय की मांग
वाराणसी कचहरी परिसर में ट्रांसजेंडर के लिए शौचालय की मांग
author img

By

Published : Oct 21, 2021, 8:18 PM IST

वाराणसी: जिले के कचहरी परिसर में 'दखल' नामक संगठन द्वारा लैंगिक समानता, सुविधा और व्यवस्था के लिए हस्ताक्षर अभियान चलाया गया. इस संगठन से जुड़े किन्नर समाज के राष्ट्रीय अध्यक्ष सलमान चौधरी कहना है कि सार्वजनिक स्थानों पर देखा गया है कि महिलाओं और ट्रांसजेंडर नागरिकों के लिए शौचालय और यूरिनल प्रसाधन कक्ष आदि की समुचित व्यवस्था नहीं है. बनारस कचहरी परिसर में ट्रांसजेंडर नागरिकों के लिए भी कचहरी परिसर में अलग शौचालय और कॉमन रूम की व्यवस्था नहीं है.


सलमान चौधरी ने बताया कि हम काशी की आधी आबादी की समस्याओं और उनकी सक्रिय सामाजिक राजनीतिक भागीदारी से सरोकार रखने वाले संगठन 'दखल-दमन के खिलाफ लामबंद' की तरफ से अपील करते हैं कि निम्न बिंदुओं पर सरकार और जनप्रतिनिधियों का ध्यान आकृष्ट कराया जाए. उन्होंने कहा कि एक शुरुआत कलेक्टर परिसर से हो और फिर विभिन्न स्तर तक बात आगे बढ़े जिससे कुछ सार्थक बदलाव आए.

  1. कलेक्ट्रेट परिसर में महिलाओं के लिए पर्याप्त संख्या में साफ-सुथरे टॉयलेट और यूरिनल बने, जहां की व्यवस्था महिलाकर्मियों द्वारा की जाए.
  2. परिसर में महिलाओं के लिए कुछ कॉमन रूम हो जहां वह सहजता से कुछ समय विश्राम कर सकें अथवा धात्री महिलाएं बच्चे को स्तनपान करा सकें.
  3. न्यायालय के सामने अथवा परिसर में महिलाओं के बैठने के लिए कुछ बेंच या कुर्सियां सुरक्षित रहें.
  4. महिलाओं की सुविधा के लिए परिसर में विभिन्न न्यायालयों और कार्यालयों के बाबत एक पूछताछ केंद्र हो, जिससे उन्हें अनावश्यक भटकना न पड़े.
  5. परिसर में सुलभ और सुविधाजनक स्थान पर सेनेटरी पैड वेंडिंग मशीन की स्थापना की जाए.
  6. परिसर में महिलाओं की सुविधा के लिए की गई व्यवस्था को प्रदर्शित करने के लिए कुछ स्थानों पर बोर्ड लगे हों.
  7. ट्रांसजेंडर नागरिकों के लिए भी कचहरी परिसर में अलग शौचालय और कॉमन रूम की व्यवस्था हो.
  8. महिलाओं और लड़कियों के लिए काउंसलिंग कमरे की अलग व्यवस्था हो. सभी व्यवस्था की देखरेख बार काउंसिल और प्रशासन की तरफ से नामित और समिति करें, जिसमें 66% महिलाएं हों.

वाराणसी: जिले के कचहरी परिसर में 'दखल' नामक संगठन द्वारा लैंगिक समानता, सुविधा और व्यवस्था के लिए हस्ताक्षर अभियान चलाया गया. इस संगठन से जुड़े किन्नर समाज के राष्ट्रीय अध्यक्ष सलमान चौधरी कहना है कि सार्वजनिक स्थानों पर देखा गया है कि महिलाओं और ट्रांसजेंडर नागरिकों के लिए शौचालय और यूरिनल प्रसाधन कक्ष आदि की समुचित व्यवस्था नहीं है. बनारस कचहरी परिसर में ट्रांसजेंडर नागरिकों के लिए भी कचहरी परिसर में अलग शौचालय और कॉमन रूम की व्यवस्था नहीं है.


सलमान चौधरी ने बताया कि हम काशी की आधी आबादी की समस्याओं और उनकी सक्रिय सामाजिक राजनीतिक भागीदारी से सरोकार रखने वाले संगठन 'दखल-दमन के खिलाफ लामबंद' की तरफ से अपील करते हैं कि निम्न बिंदुओं पर सरकार और जनप्रतिनिधियों का ध्यान आकृष्ट कराया जाए. उन्होंने कहा कि एक शुरुआत कलेक्टर परिसर से हो और फिर विभिन्न स्तर तक बात आगे बढ़े जिससे कुछ सार्थक बदलाव आए.

  1. कलेक्ट्रेट परिसर में महिलाओं के लिए पर्याप्त संख्या में साफ-सुथरे टॉयलेट और यूरिनल बने, जहां की व्यवस्था महिलाकर्मियों द्वारा की जाए.
  2. परिसर में महिलाओं के लिए कुछ कॉमन रूम हो जहां वह सहजता से कुछ समय विश्राम कर सकें अथवा धात्री महिलाएं बच्चे को स्तनपान करा सकें.
  3. न्यायालय के सामने अथवा परिसर में महिलाओं के बैठने के लिए कुछ बेंच या कुर्सियां सुरक्षित रहें.
  4. महिलाओं की सुविधा के लिए परिसर में विभिन्न न्यायालयों और कार्यालयों के बाबत एक पूछताछ केंद्र हो, जिससे उन्हें अनावश्यक भटकना न पड़े.
  5. परिसर में सुलभ और सुविधाजनक स्थान पर सेनेटरी पैड वेंडिंग मशीन की स्थापना की जाए.
  6. परिसर में महिलाओं की सुविधा के लिए की गई व्यवस्था को प्रदर्शित करने के लिए कुछ स्थानों पर बोर्ड लगे हों.
  7. ट्रांसजेंडर नागरिकों के लिए भी कचहरी परिसर में अलग शौचालय और कॉमन रूम की व्यवस्था हो.
  8. महिलाओं और लड़कियों के लिए काउंसलिंग कमरे की अलग व्यवस्था हो. सभी व्यवस्था की देखरेख बार काउंसिल और प्रशासन की तरफ से नामित और समिति करें, जिसमें 66% महिलाएं हों.
ETV Bharat Logo

Copyright © 2025 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.