वाराणसीः जनपद की फास्ट ट्रैक कोर्ट (प्रथम) नीरज कुमार श्रीवास्तव की अदालत ने शुक्रवार को दुष्कर्म के प्रयास व हत्या के मामले में अभियुक्त प्रदीप निषाद को दोषी ठहराया है. कोर्ट ने दोषी को आजीवन कारावास और 15 हजार रुपए जुर्माने की सजा सुनाई है.
अभियोजन पक्ष के अनुसार चौबेपुर थाना क्षेत्र के रजवाड़ी गांव में 9 नवंबर 2018 को दोपहर एक बजे की घटना है. वादी 9 नवंबर को गांव में आयोजित लक्ष्मी पूजा में गया था. उसके साथ दोनों बच्चे विशाल और विकास भी गए थे. इस दौरान वादी का पड़ोसी प्रदीप निषाद ने आकर उसे बताया कि चाची मीना निषाद को किसी ने मार दिया है. वह वह कमरे में पड़ी हुई हैं. सूचना पर भागकर जब वादी घर आया तो देखा कि कमरे में उसकी पत्नी मीना का शव पड़ा है. उसके सिर पर धारदार हथियार से चोट पहुंचाया गया है. साथ ही मुंह में कपड़ा ठूंसा गया है. वादी की सूचना पर पुलिस पहुंच गई. पुलिस की जांच में सामने आया कि प्रदीप निषाद ने रेप करने के प्रयास में वादी की पत्नी का सिर फोड़ कर हत्या कर दी गई. इस मामले में कोर्ट में 6 गवाह पेश हुए. कोर्ट ने साक्ष्यों के आधार पर प्रदीप को दोषी करार देते हुए आजीवन कारावास की सजा सुनाई.
नशीली दवा पिलाकर दुष्कर्म के आरोपी की जमानत अर्जी खारिज
वहीं, सत्र न्यायाधीश डॉ. अजय कृष्ण विश्वेश की अदालत ने विवाहिता का अपहरण कर नशीली दवा पिलाकर दुष्कर्म के आरोपी की जमानत अर्जी खारिज कर दी. अदालत में वादिनी का पक्ष अधिवक्ता वरूण प्रताप सिंह और अधिवक्ता सत्यानंद सिंह ने रखा था. पीड़िता ने कोर्ट में दंड संहिता प्रक्रिया की धारा 156 (3) के तहत मुकदमा दर्ज कराया था. आरोप है कि रसूलपुरा थाना क्षेत्र के जैतपुरा निवासी तौसीफ अहमद 3 बच्चों का पिता है. 24 जनवरी 2023 को पीड़िता अपने मायके जाने के लिए घर से निकली थी. इसी दौरान कुछ दूरी पर पीछे-पीछे बाइक से तौसीफ आ गया. आरोपी ने कहा कि वह उसे मायके छोड़ देगा. पीड़िता आरोपी के बाइक पर बैठ गई. इसके बाद तौसीफ उसे रेलवे स्टेशन के पास ले गया. जहां चाय में नशीला पदार्थ मिलाकर पिला दिया. उसके बेहोश हो जाने पर वह ट्रेन से उसे बाराबंकी देवा शरीफ लेकर पहुंच गया. जहां उसके साथ धमकी देते हुए रेप करता रहा.
बाराबंकी देवा शरीफ में दो-तीन दिन रखने के बाद पीड़िता को सुलतानपुर लेकर आया. यहां भी वह उसे जान से मारने की धमकी देते हुए रेप करता रहा. सुल्तानपुर में पीड़िता को जिसके घर रखा गया था. वह लोग पीड़िता के कहने पर उसके पिता को सूरत में सूचना दी. इसके बाद पीड़िता का भाई सुलतानपुर पहुंचा. जिसके बाद आरोपी वहां से पीड़िता को छोड़कर फरार हो गया. इसके बाद पीड़िता का भाई उसे सूरत उसके माता-पिता के पास ले गया. वहीं पीड़िता के गायब होने पर उसके पति और जेठ उसकी खोज कर रहे थे. सूचना पर सूरत पहुंचे पीड़िता के पति उसे लेकर 2 फरवरी को वाराणसी पहुंचे . जहां 4 फरवरी को पीड़िता ने मामला दर्ज कराया. पुलिस द्वारा कोई कार्रवाई न होने से पीड़िता न्यायालय की शरण ली थी.
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