वाराणसी: देश में शिक्षा और उसकी गुणवत्ता को कैसे बढ़ाया जाए, इसके लिए काशी हिंदू विश्वविद्यालय में कुलपतियों का एक सम्मेलन आयोजन किया गया है, जिसका नाम "कोलेजियम ऑफ वाइस चांसलर रखा गया. वहीं सम्मेलन में देशभर के लगभग पूर्व और वर्तमान कुलपतियों ने शिरकत की.
बीएचयू में आयोजित हुआ सम्मेलन-
- सम्मेलन का आयोजन स्कूल ऑफ एजुकेशन शिक्षा संकाय काशी हिंदू विश्वविद्यालय के तहत किया गया.
- सम्मेलन में राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2019 के प्रारूप गुणवत्ता निर्धारण और उच्च शिक्षा को अंतरराष्ट्रीय करण आदि मुद्दों पर चर्चा हुई.
- सम्मेलन में अब तक 25 कुलपति हो चुके हैं शामिल जिसमें कुछ पूर्व कुलपति भी हैं.
प्रोफेसर साकेत कुशवाहा ने बताया कि नई शिक्षा नीति 2019 पर चर्चा हो रही है. कुलपति का रोल क्या होना चाहिए. इस मुद्दे पर चर्चा करने के लिए हम लोग यहां इकट्ठे हुए की हमारा कैरीकुलम कैसा है. हमारी लीडरशिप कैसी होनी चाहिए हमारे कैटेम कलकुलम क्या होना चाहिए. हम बच्चों कैसे तक पहुंचाएं कि बच्चों को उसका लाभ मिल सके आजकल प्लेसमेंट की चर्चा बहुत हो रही है.
अक्सर बच्चे डिग्री तो पाए जाते हैं, लेकिन उस डिग्री के बाद और नौकरी की तलाश में भटकते रहते हैं. 100 बच्चे शिक्षा ग्रहण करते हैं तो उसमें से कुछ बच्चे व्यवसाय करते हैं, और कुछ नौकरी की तलाश करते हैं हमें यह प्रयास करने चाहिए. जिससे ज्यादा से ज्यादा बच्चों को नौकरी मिल सके.
-प्रोफेसर साकेत कुशवाहा, कुलपति, अरुणाचल प्रदेश, यूनिवर्सिटी