वाराणसी: बीएचयू स्थित सर सुंदरलाल चिकित्सालय को पूर्वांचल का एम्स कहा जाता है. सातवें पे कमिशन की मांग को लेकर जूनियर डॉक्टरों ने हड़ताल किया है. बता दें बिहार, मध्य प्रदेश सहित पूर्वांचल के कोने से लगभग प्रतिदिन 4000 मरीज बीएचयू आते हैं. जूनियर डॉक्टर बिना नोटिस दिए बगैर हड़ताल पर जाने से मरीज बेहाल हैं. मरीजों का कहना है कि सीनियर डॉक्टर 100 से ज्यादा पर्चा नहीं देख रहे है.
बीएचयू के जूनियर डॉक्टर हड़ताल पर, मरीजों का बुरा हाल
वाराणसी के काशी हिंदू विश्वविद्यालय केसर सुंदरलाल चिकित्सालय आज दूसरे दिन भी जूनियर डॉक्टर हड़ताल पर हैं. वही मरीजों का डॉक्टरों की हड़ताल से बुरा हाल है.
बीएचयू के जूनियर डॉक्टर आज भी हड़ताल पर
वाराणसी: बीएचयू स्थित सर सुंदरलाल चिकित्सालय को पूर्वांचल का एम्स कहा जाता है. सातवें पे कमिशन की मांग को लेकर जूनियर डॉक्टरों ने हड़ताल किया है. बता दें बिहार, मध्य प्रदेश सहित पूर्वांचल के कोने से लगभग प्रतिदिन 4000 मरीज बीएचयू आते हैं. जूनियर डॉक्टर बिना नोटिस दिए बगैर हड़ताल पर जाने से मरीज बेहाल हैं. मरीजों का कहना है कि सीनियर डॉक्टर 100 से ज्यादा पर्चा नहीं देख रहे है.
Intro:वाराणसी के काशी हिंदू विश्वविद्यालय केसर सुंदरलाल चिकित्सालय दूसरे दिन भी जूनियर डॉक्टर हड़ताल पर हैं और वही मरीज पूरी तरह बेहाल नजर आ रहे हैं। सातवें पे कमिशन की मांग को लेकर जूनियर डॉक्टरों ने किया है हड़ताल।
Body:बीएचयू स्थित सर सुंदरलाल चिकित्सालय को पूर्वांचल का एम्स कहा जाता है हम आपको बता दें बिहार मध्य प्रदेश सहित पूर्वांचल के कोने से लगभग प्रतिदिन 4000 मरीज बीएचयू आते हैं लेकिन बिना नोटिस के जूनियर डॉक्टर हड़ताल पर जाने से मरीज बेहाल हैं अपनी बारी का इंतजार कर रहे मरीजों का कहना है कि सीनियर डॉक्टर 100 से ज्यादा पर्चा नहीं देख रहे है।
Conclusion:सीताराम चंदौली निवासी ने बताया कि हम अपनी मां को लेकर आए हैं हमारी मां को कैंसर है उनका थ्रीरेपी होना था सुबह से लाइन में लगने के बाद जैसे ही काउंटर पर पहुंचा तो उनको कहना था डॉक्टरों का हड़ताल है आज नहीं किया जा पाएगा अब आप ही बताइए कितने गंभीर बीमारी से ग्रसित मरीज का भी इलाज नहीं हो रहा है हमें बहुत ही दिक्कत का सामना करना पड़ रहा है इन हड़ताल करना था तो एक नोटिस दे देना चाहिए था ताकि हम लोग दूर-दूर से आकर परेशान ना हो।
आशुतोष
9005099684
Body:बीएचयू स्थित सर सुंदरलाल चिकित्सालय को पूर्वांचल का एम्स कहा जाता है हम आपको बता दें बिहार मध्य प्रदेश सहित पूर्वांचल के कोने से लगभग प्रतिदिन 4000 मरीज बीएचयू आते हैं लेकिन बिना नोटिस के जूनियर डॉक्टर हड़ताल पर जाने से मरीज बेहाल हैं अपनी बारी का इंतजार कर रहे मरीजों का कहना है कि सीनियर डॉक्टर 100 से ज्यादा पर्चा नहीं देख रहे है।
Conclusion:सीताराम चंदौली निवासी ने बताया कि हम अपनी मां को लेकर आए हैं हमारी मां को कैंसर है उनका थ्रीरेपी होना था सुबह से लाइन में लगने के बाद जैसे ही काउंटर पर पहुंचा तो उनको कहना था डॉक्टरों का हड़ताल है आज नहीं किया जा पाएगा अब आप ही बताइए कितने गंभीर बीमारी से ग्रसित मरीज का भी इलाज नहीं हो रहा है हमें बहुत ही दिक्कत का सामना करना पड़ रहा है इन हड़ताल करना था तो एक नोटिस दे देना चाहिए था ताकि हम लोग दूर-दूर से आकर परेशान ना हो।
आशुतोष
9005099684