उन्नाव: जिले के बांगरमऊ कोतवाली क्षेत्र में एक सब्जी विक्रेता फैसल की पुलिस पिटाई से मौत के मामले में जहां एक ओर पुलिस अपना बचाव करने के लिए सीसीटीवी फुटेज वायरल कर रही है. वहीं फैसल के परिजन आरोपी पुलिस कर्मियों को फांसी की सज़ा देने की मांग कर रहे हैं. अभी तक उन्नाव पुलिस ने दो पुलिस कर्मियों को गिरफ्तार करके जेल भेज दिया है, जबकि एक नामजद कर्मी अभी भी फरार है. बांगरमऊ कोतवाली इंचार्ज को लाइन हाजिर करते हुए मुकुल वर्मा को बांगरमऊ कोतवाली का चार्ज पुलिस अधीक्षक उन्नाव ने दिया है. वहीं इस पूरे मामले की जांच पुलिस अधीक्षक के द्वारा गठित एसआईटी टीम के द्वारा की जा रही है. इस पूरे घटना से विपक्ष योगी सरकार पर हमलावर है.
क्या था पूरा घटना क्रम
बांगरमऊ कस्बे में आंशिक लॉक डाउन में दुकान खुले होने व सब्जी विक्रेताओं के सब्जी मंडी में फेरी लगाने की सूचना पर बांगरमऊ कोतवाली पुलिस के सिपाही विजय चौधरी अपने साथी सिपाही सीमावत व होमगार्ड सत्यप्रकाश के साथ गश्त करने निकला था. बताया जा रहा है शुक्रवार शाम करीब 4 बजे कोरोना कर्फ्यू में मंडी में सब्जी का ठेला लगाने पर फैसल को सिपाही विजय चौधरी ने टोंक दिया. जिस पर दोनों में बहस हो गई और सिपाही ने लॉक डाउन उल्लंघन का हवाला देकर थप्पड़ जड़ दिया. साथ ही आरोप है कि सिपाही बाइक से सब्जी विक्रेता को कोतवाली ले गए. जहां मारा पीटा और सब्जी विक्रेता की तबियत बिगड़ गई. पुलिस कर्मी घायल युवक को आनन-फानन में सीएचसी बांगरमऊ ले गए, जहां डॉक्टर ने उसे मृत घोषित कर दिया. मौत होने पर सिपाही मौके से भाग निकले और किसी ने सूचना मृतक के परिजनों को दी तो मौके पर सैकड़ों की भीड़ जमा हो गई. मृतक के चाचा मेराज व भाई इकराम ने पुलिस की पिटाई से फैसल की मौत होने का आरोप लगा हंगामा कर दिया. परिजनों ने उन्नाव-हरदोई मार्ग पर बल्ली और बाइक खड़ी कर जाम लगाकर बवाल कर दिया. परिजनों व पुलिस में तीखी झड़पें भी खूब हुई. वहीं परिजन आरोपी सिपाही के खिलाफ कार्रवाई की मांग व 10 लाख की मुआवजे की मांग पर अड़े रहे. एएसपी शशिशेखर सिंह कई थानों की पुलिस फोर्स के साथ भीड़ को नियंत्रित करने में जुटे रहे, मगर भीड़ बढ़ती रही और शाम होते होते हलात बिगड़ गए. रात करीब 9 बजे बवाल बढ़ते देख एसपी आनंद कुलकर्णी ने सिपाही विजय चौधरी, सीमावत को सस्पेंड कर दिया और होमगार्ड सत्यप्रकाश की सेवा समाप्त के आदेश दिए. फिर भी परिजन शव सड़क पर रख जाम लगाए रहे. बवाल शांत न होने पर मृतक के परिजन की तहरीर पर सिपाही विजय चौधरी, सीमावत व होमगार्ड सत्यप्रकाश के खिलाफ हत्या का मुकदमा दर्ज किया गया. इसके बाद परिजनों ने शव को पुलिस के सुपुर्द किया और भीड़ घरों को लौट आईं. वहीं करीब 6 घंटे तक बवाल चला और पुलिस मामले को शांत कराने में हांफती रही.
परिजनों की तहरीर पर दर्ज हुआ था हत्या का मुकदमा
एएसपी शशिशेखर सिंह ने बताया कि घटना वाले दिन लॉक डाउन का पालन कराने के लिए सब्जी विक्रेता को सिपाही थाना परिसर लाए थे. जहां उसकी तबियत बिगड़ गई और आनन फानन सीएचसी बांगरमऊ ले जाया गया. जहां उसकी मौत हो गई. मामले में दोनों सिपाही व होमगार्ड को सस्पेंड किया गया है. परिजनों की तहरीर पर तीनों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर कार्रवाई की जा रही है.
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पुलिस ने अपने बचाव में जारी किए सीसीटीवी फुटेज
वहीं इस घटना के बाद उन्नाव पुलिस ने अपने कर्मियों को बचाने के लिए 3 सीसीटीवी फुटेज जारी किए हैं. यह तीनों सीसीटीवी फुटेज जिनमें दो बांगरमऊ कोतवाली के हैं, वही एक सीसीटीवी फुटेज फैसल की दुकान के पास का है. जहां से फैसल को दो पुलिसकर्मी अपनी गाड़ी से बिठा कर ला रहे हैं. वही आपको बता दें दूसरे और तीसरे सीसीटीवी फुटेज में गाड़ी से फैसल को बांगरमऊ कोतवाली लाते हुए दिखाया गया है. वहीं जैसे ही फैसल गाड़ी से उतरता है, तो इस वीडियो में देखा जा सकता है कि फैसल की हालत खराब है. साथ ही फैसल को कुछ दूर पैदल चलते एक पेड़ के पास जाते हुए इस वीडियो में देखा जा सकता है. वहीं तीसरे वीडियो में पुलिस कर्मियों के द्वारा एक ऑटो रिक्शा लाकर फैसल को बांगरमऊ सीएससी ले जाया जाता है, जहां डॉक्टर उसे मृत घोषित कर देते हैं.
घटना के दो दिन बाद परिजनों से मिले एसपी व डीएम
वहीं फैसल की मौत के दो दिन बाद उन्नाव के जिलाधिकारी रविंद्र कुमार और एसपी आनंद कुलकर्णी ने फैसल के घर जाकर उनके परिजनों से मुलाकात कर उन्हें हर संभव मदद करने व न्याय दिलाने का भरोसा दिलाया. साथ ही परिजनों ने उन्नाव पुलिस अधीक्षक व जिलाधिकारी से मांग की कि जिन पुलिसकर्मियों ने उनके भाई को 10 मिनट में मार डाला है, उन्हें 3 दिन हो जाने के बाद भी क्यों नहीं गिरफ्तार किया गया. उन्हें फांसी की सजा दी जाए. उन्नाव पुलिस अधीक्षक ने घर से निकलने के बाद मीडिया से बात करते हुए बताया कि जिस दिन फैसल की मौत हुई थी. उसी दिन दो पुलिसकर्मियों का एक होमगार्ड पर हत्या का मुकदमा दर्ज हुआ था. तीनों की गिरफ्तारी के लिए टीमें बनाकर दबिश दी जा रही है. जिनमें एक युवक गिरफ्तार हो चुका है, जबकि शेष बचे दो अन्य पुलिसकर्मियों की गिरफ्तारी को लेकर दबिश लगातार जारी है.
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फैसल की मौत के बाद राजनीति गरमाई
वहीं आपको बता दें बांगरमऊ के सब्जी विक्रेता फैसल की मौत के बाद जहां राजनीति गरमा गई है. वहीं विपक्षी पार्टियों के नेताओं ने योगी सरकार पर खूब तंज कसे. घटना वाले दिन समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष व पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने फैसल के परिजनों से बात कर उन्हें हर संभव मदद का आश्वासन देते हुए न्याय दिलाने की बात कही थी. वहीं दूसरी ओर ओवैसी ने ट्वीट कर योगी सरकार पर तंज कसा कि योगीराज में यदि विवेक तिवारी की हत्या हो जाती तो योगी सरकार क्या करती है, फैसल की हत्या होने के बाद योगी सरकार की मुसलमानों के प्रति मानसिकता साफ प्रदर्शित हो रही है.
अबतक दो आरोपी पुलिस कर्मी गिरफ्तार
आपको को बता दें फैसल की मौत के बाद उन्नाव पुलिस अधीक्षक के दिशा निर्देश पर तीन पुलिसकर्मियों पर हत्या का मुकदमा दर्ज हुआ था. जिनमें 2 पुलिसकर्मी सत्यप्रकाश (होमगार्ड) व विजय चौधरी(पुलिस कांस्टेबल) को पुलिस ने गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है, जबकि सीमावत (पुलिस कांस्टेबल) अभी भी फरार चल रहा है.