उन्नाव: उत्तर प्रदेश में बिगड़ती कानून-व्यवस्था पर सीएम योगी के आदेशों का असर जिम्मेदारों पर नहीं पड़ रहा है. सीएम योगी ने सभी जिलों के डीएम और एसपी को सुबह 9 से 11 बजे तक कार्यालय में बैठने का निर्देश दिया है, लेकिन उन्नाव जिले के डीएम देवेंद्र पांडेय को सीएम के आदेश की कोई परवाह नहीं है. डीएम के कार्यालय में न बैठने का सवाल जब ईटीवी भारत के संवाददाता ने कार्यालय में बैठे एसडीएम से पूछा तो इस पर एसडीएम संवाददाता पर ही भड़क गए.
ईटीवी भारत के रियलिटी चेक में डीएम फेल
सूबे के मुखिया योगी आदित्यनाथ ने सभी जिलों के डीएम और एसपी को सुबह नौ से 11 बजे तक कार्यालय में बैठने का निर्देश दिया है. सीएम योगी के आदेश का असर अधिकारियों पर पड़ता है कि नहीं इसी को लेकर ईटीवी भारत के संवाददाता ने रियलिटी चेक किया. रियलिटी चेक दौरान उन्नाव जिले के डीएम देवेंद्र पांडेय की पोल खुल गई. रियलिटी चेक में डीएम देवेंद्र पांडेय फेल साबित हुए. वह सुबह 10 बजे तक ऑफिस नहीं पहुंचे थे. डीएम देवेंद्र पांडेय को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के आदेश की कोई परवाह नहीं है. शायद यही वजह है सूबे के मुखिया के आदेश के बावजूद सुबह 9 बजे से 11 बजे तक डीएम अपने कार्यालय में बैठने की जहमत नहीं उठाते हैं.
संवाददाता पर बौखलाए SDM
दरअसल, ईटीवी भारत के संवाददाता ने मंगलवार सुबह 9: 50 बजे जब जिलाधिकारी कार्यालय पहुचंकर सीएम योगी के आदेश के असर की पड़ताल की तो डीएम देवेंद्र पांडेय अपने कार्यालय में मौजूद नहीं थे, बल्कि उनकी जगह पर उपजिलाधिकारी वहां बैठे थे. ईटीवी भारत के संवाददाता को देखते ही उपजिलाधिकारी गुस्से से लाल-पीले हो गए और तो और बौखलाहट में उल्टा संवाददाता को ही शालीनता और नैतिकता का पाठ पढ़ाने लगे. उपजिलाधिकारी ने बताया कि जिलाधिकारी ने सप्ताह में सभी छह दिनों के लिए अधिकारी नियुक्त कर दिए हैं, जो सुबह नौ बजे से कार्यालय में बैठते हैं.
सीएम योगी के आदेशों का नहीं दिख रहा असर
उपजिलाधिकारी की बातों से यह तो साफ हो गया कि जिलाधिकारी देवेंद्र पांडेय खुद कार्यालय पर बैठने की जगह अपने अधीनस्थ अधिकारियों को नामित कर रखा है. अब ऐसे में सबसे बड़ा सवाल तो यह है कि सूबे के मुखिया योगी आदित्यनाथ के आदेश पर अमल कैसे हो सकता है, जब जिले के जिलाधिकारी स्वयं ही उनके आदेशों की धज्जियां उड़ा रहे हों.