सहारनपुर: रविवार की सुबह जिले के नगर कोतवाली इलाके में हुई पत्रकार और उसके भाई की हत्या के बाद जहां जनपदवासी दहशत में हैं तो वहीं पत्रकार जगत और जिला प्रशासन में भी शोक की लहर है. हत्यारों की गिरफ्तारी के लिए पुलिस अधिकारियों ने दर्जन भर टीमें गठित कर गिरफ्तार करने के निर्देश दिए है. बताया जा रहा है, पत्रकार के हत्यारे ढाई साल पहले शामली के थाना झिंझाना इलाके के मन्नुगढ़ गांव से आकर सहारनपुर बस गए थे. इस घटना को लेकर ईटीवी भारत ने डीआईजी उपेन्द्र कुमार अग्रवाल से बातचीत की.
सीएम योगी ने मृतकों के परिवार के लिए आर्थिक मदद की घोषणा की
पत्रकार आशीष धीमान की मौत के बाद जहां परिजनों का बुरा हाल है तो वहीं पुलिस महकमे भी इस हत्याकांड को लेकर हड़कंप मचा हुआ है. रविवार देर रात दोनों भाइयों के शवों का कड़ी सुरक्षा के बीच अंतिम संस्कार किया गया. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मामले को गंभीरता से लेते हुए पुलिस को हत्यारों की गिरफ्तारी के लिए सख्त आदेश दिए हैं साथ ही मृतकों के परिजनों को 5-5 लाख रुपये मुआवजे की घोषणा की है. वहीं परिजनों और पत्रकारों ने 50-50 लाख रुपये आर्थिक मदद की मांग की है.
घटना को अंजाम देने के बाद से आरोपी फरार
दोहरे हत्याकांड के मुख्य आरोपी महिपाल सैनी और उसके तीनों बेटे घटना के बाद से फरार हैं. एसएसपी ने दर्जन भर टीमें गठित कर हत्यारों की गिरफ्तारी के लिए दबिश देने के आदेश दिए हैं.
डीआईजी उपेंद्र कुमार अग्रवाल ने घटना को लेकर जताया शोक
डीआईजी उपेंद्र कुमार अग्रवाल ने ईटीवी भारत से बातचीत करते हुए जहां पत्रकार और भाई की हत्या पर शोक व्यक्त किया है, वहीं हत्यारों को जल्द गिरफ्तार करने का दावा भी किया है. डीआईजी उपेंद्र कुमार अग्रवाल ने कहा कि कल पत्रकार के साथ हुई घटना काफी दुःखद है. पत्रकार और पुलिस का बहुत नजदीकी रिश्ता होता है. रोजाना एक दूसरे से मिलना-जुलना रहता है. इस घटना से स्थानीय लोग ही नहीं बल्कि पुलिस महकमा भी दुखी है. केवल कूड़ा और गाय का गोबर डालने को लेकर विवाद इतना बढ़ गया कि सामने रहने वाले पड़ोसियों ने पत्रकार आशीष और उसके भाई की गोली मारकर हत्या कर दी जबकि मां गोली लगने से घायल हो गई. मां की तहरीर के आधार पर महिपाल सैनी और उसके तीन बेटे, पत्नी और बेटी के खिलाफ नामजद मुकदमा दर्ज किया गया है.
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आरोपियों की पत्नी और बेटी को पुलिस ने किया गिरफ्तार
डीआईजी उपेंद्र कुमार अग्रवाल ने बताया कि घटना के तुरंत बाद ही आरोपी महिपाल की पत्नी और बेटी को गिरफ्तार कर लिया गया. जबकि महिपाल और उसके तीनो बेटों की गिरफ्तारी के लिए टीमें गठित की गई हैं. महिपाल करीब ढाई साल पहले जनपद शामली से आकर सहारनपुर के माधव नगर में मकान लेकर रह रहा था. जिसके चलते उसके गांव मन्नूगढ़ और संभावित ठिकानों पर दबिश दी जा रही है, इसके अलावा हरियाणा, बागपत, मेरठ, मुजफ्फरनगर समेत उत्तराखण्ड के कई जनपदों में भी टीमें भेजी गई है. एसएसपी दिनेश कुमार पी खुद दोहरे हत्याकांड की मॉनिटरिंग लगातार कर रहे हैं.
आरोपियों का अपराध से रहा है पुराना नाता
डीआईजी के मुताबिक महिपाल के परिवार का पुराना आपराधिक इतिहास रहा है. इस घटना में महिपाल सैनी मुख्य आरोपी है. महिपाल के खिलाफ जनपद शामली के थाना झिंझाना में धारा 376, 363, 366 आईपीसी के तहत पहले से ही मुकदमे दर्ज हैं, ये सभी मुकदमे 2011 में लिखे हुए है, जिनके बाद महिपाल सहारनपुर आकर बस गया था. इनके अलावा 2007 में उत्तराखण्ड के देहरादून के थाना रायवाला में 307, 386 और 25 आर्म्स एक्ट के तहत मुकदमे चल रहे हैं. डीआईजी ने बताया कि आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए 9 से ज्यादा टीमें गठित कर विभिन्न जिलों के लिए रवाना की गई हैं और जल्द ही सभी आरोपियों को गिरफ्तार कर सलाखों के पीछे भेज दिया जाएगा.
सोशल मीडिया पर चल रहीं खबरें महज अफवाह
डीआईजी के मुताबिक मामूली विवाद में दोहरे हत्याकांड को अंजाम देना बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है. मामूली कहासुनी में हत्या करना कहीं न कही लोगों में जागरूकता और शिक्षा की कमी को दर्शाता है. वहीं उन्होंने कहा कि सोशल मीडिया पर मैसेज वायरल हो रहे है कि हत्यारे शराब तस्करी करते थे. जिसकी खबर पत्रकार आशीष धीमान ने अखबार में प्रकाशित कराई थी. यह मैसेज केवल एक अफवाह है, अगर ऐसी बात होती तो आशीष लिखित या फिर मौखिक रूप से पुलिस में शिकायत करता, लेकिन अभी तक की जांच में ऐसा कोई तथ्य सामने नहीं आया है.