सहारनपुर: दिल्ली में तबलीगी जमात के लोगों पर हुई कार्रवाई को लेकर जमीयत उलेमा-ए-हिंद के राष्ट्रीय अध्यक्ष अरशद मदनी ने सवाल खड़े किए हैं. उन्होंने कहा है कि कि अगर जमात के लोगों को पहले ही परमिशन मिल जाती तो वो लोग पहले ही अपने-अपने घरों को लौट जाते, लेकिन ऐसा नहीं हुआ.
मरकज की तबलीगी जमात को लेकर अरशद मदनी ने कहा, कि वहां ऐसा कुछ भी नहीं हुआ, बेवजह बात का बतंगड़ बनाया जा रहा है. मरकज वालों ने बार-बार राब्ता कायम किया और यह चाहा, कि किसी तरह इन लोगों को परमिट मिल जाए, जिससे कि यह लोग अपनी-अपनी जगह पर पहुंच जाएं, लेकिन ऐसा नहीं हुआ.
प्रधानमंत्री ने भी कहा था, कि जो जहां है वहीं रुक जाए. इसलिए मरकज में तबलीगी जमात रुकी रही. मरकज तो बार-बार प्रशासन को इत्तला करता रहा, कि अगर उन्हें इजाजत मिले तो वह लोग अपनी-अपनी जगह वापस लौट जाएं. इसमें मरकज की कोई गलती नहीं है.
उन्होंने सरकार पर आरोप लगाते हुए यह भी कहा, कि सरकार ने अन्य देशों से आए लोगों के लिए फ्लाइटों का इंतजाम किया वहीं मुसलमानों के लिए नहीं किया. इसके बाद यह कहना कि मरकज वालों की वजह से यह वायरस फैला यह गलत है. आखिर में उन्होंने लोगों से अपील करते हुए कहा कि इस मर्ज का अब तक कोई इलाज नहीं मिल सका है, इसलिए वह हिंदू और मुसलमानों से कहेंगे की लोग एक जगह इकट्ठा न हों.