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प्रयागराजः पेट्रोल पंप मालिकों के लिए मुसीबत बना सावन का महीना

उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में कांवर यात्रा के चलते प्रयागराज से बनारस जाने वाले NH2 को एक महीने के लिए एक लेन रोड कर दिया गया है. एक लेन रोड होने की वजह से हाइवे पर स्थित पेट्रोल पंप मालिकों को काफी समस्याओं का सामना कर पड़ रहा है.

बंद पड़े पेट्रोल पंप
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Published : Aug 17, 2019, 11:17 AM IST

प्रयागराजः जिले से सावन के महीने में लाखों कांवरिये जल लेकर काशी विश्वनाथ जाते हैं. कांवरियों की सुरक्षा के लिए प्रशासन बनारस जाने वाले NH2 को एक महीने के लिए एक लेन रोड कर देती है. एक लेन होने की वजह से पेट्रोल पंप मालिकों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है.

कांवर यात्रा के चलते प्रशासन ने NH2 को एक लेन कर दिया.
एक लेन रोड के चलते पेट्रोल पंप मालिकों को हो रही समस्याएं-
  • प्रयागराज से लेकर बनारस तक लगभग 40 पेट्रोल पंप है.
  • कांवर यात्रा के चलते प्रशासन ने NH2 को एक लेन कर दिया है.
  • एक महीने के लिए 40 पेट्रोल पंप लगभग बंद हो चुके हैं.
  • पेट्रोल पंप बंद होने की वजह से पेट्रोल पंप मालिक काफी परेशान है.
  • एक तरफ से सड़क ब्लॉक होने की वजह से तेल के टैंकर नही आते.
  • सावन के महीने में पेट्रोल पंप मालिकों को 100 करोड़ से ऊपर का नुकसान होता है.

सावन के महीने में जितने भी पेट्रोल पंप प्रयागराज से वाराणसी तक है उन पेट्रोल पंप के मालिकों का तेल कंपनियों से क्रेडिट खराब होता है. जिसकी वजह से बाद में बहुत परेशानी होती है. पूरे सावन भर ₹100 कमाना भी मुश्किल हो जाता है. सरकार को चाहिए कि कांवरियों के आने जाने के लिए हाईवे के अलावा सुरक्षित रास्ते का निर्माण करवाएं.
-श्यामसुंदर मौर्य, पेट्रोल पंप के मैनेजर

प्रयागराजः जिले से सावन के महीने में लाखों कांवरिये जल लेकर काशी विश्वनाथ जाते हैं. कांवरियों की सुरक्षा के लिए प्रशासन बनारस जाने वाले NH2 को एक महीने के लिए एक लेन रोड कर देती है. एक लेन होने की वजह से पेट्रोल पंप मालिकों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है.

कांवर यात्रा के चलते प्रशासन ने NH2 को एक लेन कर दिया.
एक लेन रोड के चलते पेट्रोल पंप मालिकों को हो रही समस्याएं-
  • प्रयागराज से लेकर बनारस तक लगभग 40 पेट्रोल पंप है.
  • कांवर यात्रा के चलते प्रशासन ने NH2 को एक लेन कर दिया है.
  • एक महीने के लिए 40 पेट्रोल पंप लगभग बंद हो चुके हैं.
  • पेट्रोल पंप बंद होने की वजह से पेट्रोल पंप मालिक काफी परेशान है.
  • एक तरफ से सड़क ब्लॉक होने की वजह से तेल के टैंकर नही आते.
  • सावन के महीने में पेट्रोल पंप मालिकों को 100 करोड़ से ऊपर का नुकसान होता है.

सावन के महीने में जितने भी पेट्रोल पंप प्रयागराज से वाराणसी तक है उन पेट्रोल पंप के मालिकों का तेल कंपनियों से क्रेडिट खराब होता है. जिसकी वजह से बाद में बहुत परेशानी होती है. पूरे सावन भर ₹100 कमाना भी मुश्किल हो जाता है. सरकार को चाहिए कि कांवरियों के आने जाने के लिए हाईवे के अलावा सुरक्षित रास्ते का निर्माण करवाएं.
-श्यामसुंदर मौर्य, पेट्रोल पंप के मैनेजर

Intro:हर साल सावन के महीने में लाखों कांवरिया प्रयागराज से जल लेकर काशी विश्वनाथ जाते हैं जिसकी वजह से प्रयागराज को बनारस से जोड़ने वाला नेशनल हाईवे दो को हर साल 1 महीने के लिए 1 लेन रोड कर दिया जाता है ताकि कांवरिया आराम से एक लेन से आते जाते रहे इससे प्रशासन को उनको सुरक्षा देने में भी आसानी रहेगी और कांवरिया भी आसानी से जल चढ़ाने जा सकेंगे लेकिन 1 लेन होने की वजह से पेट्रोल पंप मालिकों को बड़ी मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है


Body:प्रयागराज से लेकर बनारस तक एक्साइड लगभग 40 पेट्रोल पंप है सावन के महीने में कांवरियों को आने जाने के लिए एक तरफ से नेशनल हाईवे टू को ब्लॉक कर दिया गया है जिसके कारण 1 महीने के लिए यह 40 पेट्रोल पंप लगभग बंद हो चुके हैं इसकी वजह से पेट्रोल पंप मालिक वहां के कर्मी काफी परेशान है 1 महीने में पेट्रोल पंप मालिकों को 100 करोड़ से ऊपर का नुकसान होने वाला है हालांकि व प्रशासन के सामने इसके लिए कुछ नहीं कर सकते हैं उनके लिए हर साल सावन का महीना समस्या का महीना बनकर आता है


Conclusion:सड़क को एक तरफ से ब्लॉक कर देने की वजह से ना ही वह तेल के टैंकर मंगा सकते हैं और ना ही उस लेन से कोई गाड़ी जाती है ताकि वह पेट्रोल पंपों पर पेट्रोल भरा सके जयसवाल पेट्रोल पंप के मैनेजर श्यामसुंदर मौर्य बताते हैं कि इसकी वजह से जितने भी पेट्रोल पंप प्रयागराज से वाराणसी तक है उन पेट्रोल पंप के मालिकों का तेल कंपनियों से क्रेडिट खराब होता है जिसकी वजह से बाद में उन्हें बहुत परेशानी होती है क्योंकि अगर एक बार पेट खराब हो गया और आप वहां तेल लेने नहीं गए तो फिर दूसरी बार तेल मिलने में बड़ी परेशानी होती है वह बताते हैं कि प्रतिदिन एक पेट्रोल पंप से 25 से 30000 का मुनाफा है लेकिन पूरे सावन भर ₹100 कमाना भी मुश्किल हो जाता है ऐसे में सरकार को चाहिए कि कांवरियों के आने जाने के लिए हाईवे के अलावा कोई दूसरा सुरक्षित रास्ते का निर्माण करवाएं क्योंकि हाईवे से कांवरियों के आने जाने की वजह से आए दिन कांवरियों के एक्सीडेंट होने घायल होने और उनके मरने की खबरें महीने भर लगी रहती है ऐसे में अगर कांवरियों के लिए कोई दूसरा विकल्प तलाश किया जाए तो हाईवे के किनारे पढ़ने वाले छोटे छोटे व्यापारी भी परेशान नहीं होंगे और कांवरियों के सुरक्षा को और पुख्ता किया जा सकता है

पेट्रोल पंप मैनेजर श्यामसुंदर मौर्य की बाइट
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