प्रयागराज: अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद की श्री मठ बाघम्बरी गद्दी में हुई इमरजेंसी बैठक में साधु-संतों ने सर्व सम्मति से कुल 8 प्रस्ताव पास किए हैं. इस बैठक में अयोध्या के बाद अब काशी-मथुरा को भी मुक्त कराने के लिए रणनीति तैयार की गई है और काशी और मथुरा को स्वेच्छा से हिंदुओं को सौंपने की अखाड़ा परिषद ने अपील की है. इस बैठक में 13 अखाड़ों के महंत के साथ पदाधिकारियों के साथ अखाड़ा परिषद अध्यक्ष महंत नरेंद्र गिरी और महामंत्री हरि गिरी महाराज शामिल रहे.
- अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद की श्री मठ बाघम्बरी गद्दी में बैठक हुई सम्पन्न.
- आठ प्रस्तावों को किया गया सर्वसम्मति से पास.
- काशी-मथुरा को मुक्त कराने की रणनीति पर हुई चर्चा.
'लव जिहाद का किया विरोध'
अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत नरेंद्र गिरी ने बताया कि लव जिहाद का विरोध करते हुए प्रस्ताव पारित किया गया है. उन्होंने कहा कि लोग जबरन धर्मांतरण कराते हैं, यह बहुत गलत है.
'महाराष्ट्र में सुरक्षित नहीं है संत-महात्मा'
अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष ने कहा कि यूपी में हमारे साधु-संत और महात्मा पूरी तरह से सुरक्षित हैं, लेकिन महाराष्ट्र साधु-संत और महात्मा सुरक्षित नहीं है. पालघर की घटना में जिस तरह से साधुओं को दौड़ाकर मारा गया, इस तरह की घटना किसी प्रांत में अब तक नहीं हुई है. ऐसे में साधु महाराष्ट्र में बिल्कुल भी सुरक्षित नहीं है. अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत नरेंद्र गिरी ने कहा कि बैठक में 13 अखाड़ों के प्रमुख महंत शामिल हुए और आठ प्रस्ताव को सभी संतों की सहमति से पास किया गया.