प्रयागराज: माफिया मुख्तार अंसारी के विधायक बेटे अब्बास अंसारी को ईडी ने शुक्रवार देर रात गिरफ्तार कर लिया. इससे पहले ED ने अपने प्रयागराज ऑफिस में उनसे 9 घंटे तक पूछताछ की. मुख्तार अंसारी के खिलाफ दर्ज मनी लॉन्ड्रिंग केस में ईडी ने उन्हें बयान दर्ज कराने के लिए बुलाया था. मुख्तार भाई अफजाल अंसारी के बयान दर्ज करने के बाद अब्बास अंसारी से दूसरे राउंड की पूछताछ शुरू की गई थी, जिसके बाद उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया. इसके बाद जिला जज की कोर्ट में पेशकर अब्बास अंसारी की 14 दिन की रिमांड मांगी गई. इस पर कोर्ट ने 5 नवंबर को शाम पांच बजे से 12 नवंबर को दोपहर दो बजे तक अब्बास अंसारी की रिमांड ईडी को दे दी. अब्बास अंसारी के वकील ने मांग की थी कि हिरासत के दौरान साथ में वकील रहेंगे. इस पर कोर्ट ने कहा कि जरूरत पड़ने पर वकील मिल सकते हैं.
प्रयागराज में ईडी ने 9 घंटे की पूछताछ के बाद बाहुबली मुख्तार अंसारी के बेटे को गिरफ्तार कर लिया है. ईडी की प्रयागराज की क्षेत्रीय इकाई की टीम ने अब्बास अंसारी को मनी लॉन्ड्रिंग के केस में पूछताछ के लिए बुलाया था. जहां पर अब्बास अंसारी से दोपहर से पूछताछ की जा रही थी. रात साढ़े 11 बजे तक की पूछताछ के बाद ईडी ने अब्बास अंसारी को गिरफ्तार कर लिया. बताया जा रहा है कि ईडी अब्बास को मेडिकल करवाने के लिए भी ले गई.
शुक्रवार की दोपहर अब्बास अंसारी ईडी के प्रयागराज सिविल लाइंस स्थित क्षेत्रीय कार्यालय में पूछताछ के लिए पहुंचे थे. जहां पर दोपहर से शुरू हुई पूछताछ देर रात तक जारी रही. इसी बीच रात को करीब साढ़े 11 बजे ईडी की टीम उन्हें लेकर बाहर निकली. जिसके बाद अब्बास के ड्राइवर ने बताया कि ईडी ने उन्हें गिरफ्तार कर लिया है और किसी अज्ञात स्थान पर ले गई. इस बीच ड्राइवर ने यह भी बताया कि ईडी की टीम ने उसे भी ऊपर बुलाकर उसके आईकार्ड और दस्तावेजों को चेक किया था. जिस वक्त ईडी के अधिकारी अब्बास को गाड़ी में बैठाकर कार्यालय से बाहर निकलने लगे. उस समय मीडिया के कैमरों को देखकर अब्बास ने अंदाज में हाथ हिलाकर मीडिया का अभिवादन भी किया था. हालांकि ईडी के अधिकारी अब्बास को लेकर कहां गए हैं इसको लेकर कयासों का दौर जारी है.
21 अक्टूबर को कोर्ट में किया था सरेंडर
कई महीने से फरार चल रहे सुभासपा के विधायक अब्बास अंसारी, भाई उमर अंसारी समेत तीन लोगों ने 21 अक्टूबर को पुलिस को चकमा देते हुए चुनाव आचार संहिता के उल्लंघन के दो मामलों और अफसरों को धमकाने के केस में एमपी/एमएलए कोर्ट में समर्पण कर दिया था. इसके बाद तीनों को न्यायिक अभिरक्षा में ले लिया गया था. हालांकि करीब तीन घंटे बाद तीनों को जमानत दे दी थी.
3 महीने तक अब्बास अंसारी समेत तीनों आरोपी फरार थे. इसके बाद विधायक ने सुप्रीम कोर्ट में राहत की गुहार लगाई थी, जिस पर लखनऊ में दर्ज अवैध असलहे के मामले में अब्बास को गिरफ्तारी से चार हफ्ते की अंतरिम राहत दे दी गई थी.
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