प्रयागराज: इलाहाबाद हाईकोर्ट ने कहा है कि कानून अब तय हो गया है कि मस्जिदों से लाउडस्पीकर का उपयोग मौलिक अधिकार नहीं है. जस्टिस विवेक कुमार बिड़ला और जस्टिस विकास बुधवार की खंडपीठ ने याची इरफान की ओर से दायर एक रिट याचिका पर विचार करते हुए ये बात कही. याची इरफान ने एसडीएम तहसील बिसौली, जिला बदायूं की ओर से पारित एक आदेश से व्यथित महसूस करते हुए हाईकोर्ट का रुख किया था, जिसमें अजान के समय उक्त मस्जिद पर लाउडस्पीकर पर अजान देने की अनुमति मांगने के उनके आवेदन को खारिज कर दिया गया.
वहीं, कोर्ट ने कहा है कि मस्जिद पर लाउडस्पीकर लगाकर अजान देना किसी का मौलिक अधिकार नहीं है. एसडीएम ने मस्जिद पर स्पीकर लगाने की अनुमति न देने के उचित कारण भी दर्ज किए हैं. कोर्ट ने बदायूं के बिसौली तहसील में धोरनपुर गांव की नूरी मस्जिद में लाउडस्पीकर लगाकर अजान देने की अनुमति वाले याचिका को खारिज कर दिया है.
याची का कहना था कि एसडीएम बिसौली का आदेश अवैध है. इससे याची के मस्जिद में लाउडस्पीकर लगाकर अजान पढ़ने के मौलिक अधिकारों व कानूनी अधिकार का हनन किया गया है. इसलिए एसडीएम के 3 दिसंबर, 2021 को लाउडस्पीकर लगाने की अनुमति न देने के आदेश को रद्द किया जाए. याची ने 20 अगस्त, 2021को अर्जी दी थी. जिसे एसडीएम ने निरस्त कर दिया.
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