प्रतापगढ़: जिलाधिकारी डॉ. रूपेश कुमार ने शुक्रवार को कैंप कार्यालय के सभागार में कृषक उत्पादक संगठन (एफपीओ) के संबंध में अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक की. बैठक में नाबार्ड प्रबंधक ने बताया कि एफपीओ के अन्तर्गत किसान, दुग्ध उत्पादक, मछुवारे, बुनकर, ग्रामीण कारीगर और शिल्पकार आदि उत्पादन करने वाले किसानों का समूह होगा, जिसमें कृषि एवं कृषि से इतर गतिविधियों के लिए समूह का गठन कर प्राथमिक उपज उत्पादों से संबंधित व्यवसाय गतिविधियों का संचालन किया जाएगा.
नाबार्ड प्रबंधक ने बताया कि उन्हें समुचित प्रशिक्षण और उनके उपज के लिए बेहतर पैकेजिंग व बाजार तक बेहतर पहुंच बनाए जाने का लक्ष्य है. सभी समूहों को नाबार्ड की ओर से कृषि निवेश की खरीद, इनपुट उपलब्ध कराना, उत्पादों का एकत्रीकरण एवं भंडारण, प्रसंस्करण, ब्राण्ड निर्माण, लेवलिंग, मानकीकरण एवं गुणवत्ता नियंत्रण के संबंध में आवश्यक सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएंगी.
इस पहल से जनपद के किसानों को अपेक्षाकृत बड़े पैमाने पर उत्पादन एवं उत्पादों को बेहतर बाजार उपलब्ध हो सकेगा और उनके उत्पादों को बेहतर कीमत प्राप्त हो सकेगी. एफपीओ के गठन के वर्ष से अगले पांच वर्ष तक नाबार्ड की तरफ से सपोर्ट किया जाएगा. जनपद स्तर पर उपरोक्त कार्यक्रम की मॉनिटरिंग हेतु जिलाधिकारी की अध्यक्षता में मॉनिटरिंग समिति नामित की गई है, जिसमें सदस्य सचिव के रूप में जिला विकास प्रबंधक नाबार्ड और सदस्य के रूप में एलडीएम एवं कृषि, पशुपालन, उद्यान, मत्स्य, कृषि विपणन, सहकारिता आदि विभागों के जिला स्तरीय अधिकारी सदस्य सम्मिलित हैं.