मुरादाबाद: पिछले कुछ सालों से वायु प्रदूषण को लेकर पूरे देश में सुर्खियों में रहने वाले मुरादाबाद में एक बार फिर प्रदूषण की मार झेल रहा है. प्रशासन के लाख दावों के बाद भी प्रदूषण पर रोक नहीं लग पा रही है. दशहरे से पहले मुरादाबाद वायु प्रदूषण के मामले में देश के दस सबसे प्रदूषित शहरों में शामिल था, लेकिन दशहरे के बाद एयर क्वालिटी इंडेक्स के आंकड़े खतरे की घण्टी बजा रहें है. जनपद में दशहरे के बाद से हवा लगातार जहरीली हो रही है और वर्तमान में शहर देश के सबसे प्रदूषित शहरों की सूची में दूसरे नम्बर पर बना हुआ है. प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के अधिकारी प्रदूषण रोकने के इंतजाम करने का दावा कर रहें है, लेकिन बढ़ते आंकड़े विभाग की पोल खोल देते है.
दशहरे के बाद प्रदूषण लेवल में हुई भारी बढ़ोतरी
एयर क्वालिटी इंडेक्स के ताजा आंकड़ों पर गौर करें तो पूरे देश में वायु प्रदूषण के मामले में मुरादाबाद का नम्बर दूसरा है. पहले स्थान पर कर्नाटक का कलबुर्गी शहर रहा. मुरादाबाद में एक्यूआई के आंकड़ों के मुताबिक वायु प्रदूषण का स्तर 413 माइक्रो ग्राम प्रति घन मीटर रिकार्ड किया गया है जो सामान्य से कही ज्यादा है. वायु में पीएम 2.0 और पीएम 10 का स्तर पांच से दस गुना अधिक पाया गया है. जिसके चलते सुबह के समय लोगों को भारी परेशानी झेलनी पड़ रही है. दशहरे के चलते पहले से प्रदूषित शहर में हुई आतिशबाजी से हवा की गुणवत्ता ज्यादा खतरनाक हुई है. पीतल कारोबार के चलते शहर में मौजदू पीतल भट्टियों से उठते धुएं और प्रशासन की लाहपरवाही लोगों को मुसीबत में डाल रहीं है.
मेरठ: वायु प्रदूषण के स्तर में सोमवार के मुकाबले थोड़ी गिरावट दर्ज की गई, लेकिन अभी भी मेरठ शहर आरेंज कैटेगरी में है. मंगलवार को शहर का एयर क्वालिटी इंडेक्स 293 दर्ज किया गया. सोमवार को मेरठ शहर बढ़ते वायु प्रदूषण की वजह से रेड कैटेगरी में शामिल हो गया था. वहीं दूसरी ओर डम्पिंग यार्ड में कूड़ा जलते मिलने पर कैंट बोर्ड पर जुर्माना की कार्रवाई की गई.
कैंट बोर्ड पर तीसरी बार जुर्माना
क्षेत्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की टीम को निरीक्षण के दौरान गेसपुर डम्पिंग यार्ड में कूड़ा जलता मिला. जिस पर कैंट बोर्ड पर 25 हजार रुपये का जुर्माना की कार्रवाई की गई. क्षेत्रीय प्रदूषण अधिकारी डॉ. योगेंद्र कुमार के मुताबिक कैंट बोर्ड पर पिछले 12 दिनों में तीसरी बार 25 हजार रुपये का जुर्माना लगाया गया है. उन्होंने बताया कि सबसे अधिक कूड़ा जलाए जाने की घटनाएं कैंट एरिया में सामने आ रही है. क्षेत्रीय प्रदूषण बोर्ड की टीम रात में भी चेकिंग अभियान चला रही है.