मऊ : जीएसटी लागू होने के दो वर्ष बीत चुके हैं लेकिन अभी भी व्यापारियों को इससे सम्बन्धित समस्याओं से जूझना पड़ता है. जीएसटी दाखिल करने की प्रक्रियाओं को लेकर भी व्यवसायियों में भ्रम की स्थिति देखने को मिलती है. इन तमाम समस्याओं और भ्रम की स्थिति दूर करने के लिए यूपी के जनपद मऊ में वाणिज्य कर विभाग ने कार्यशाला का आयोजन किया. इसमें जिले के दर्जनों व्यापारियों, दुकानदारों और अधिवक्ताओं ने हिस्सा लिया. कार्यशाला में वाणिज्य विभाग के वाराणसी जोन के ट्रेनरों ने प्रशिक्षण दिया.
जीएसटी की समस्याओं से कैसे पाये समाधान-
तकनीकी जानकारी को समझने में थोड़ा समय लग सकता है, लेकिन जीएसटी को लेकर कोई ऐसी समस्या नहीं है जिसका निस्तारण न किया जा सके. सरकार ने जीएसटी को सरल और सहज किया है ताकि फॉर्म भरने में व्यापारियों को असुविधा न हो. जीएसटी की प्रक्रिया सरल करने के लिए सरकार ने मासिक की जगह क्वार्टली रिटर्न दाखिल करने का प्रावधान किया. मासिक रूप से टैक्स जमा किया जा सकता है.
अधिकतर देखा गया है कि व्यापारी अधिवक्ता और सीए के माध्यम से रिटर्न दाखिल कराते हैं, लेकिन यदि व्यापारी तकनीकी जानकारी रखें तो अपने से भी जीएसटी रिटर्न दाखिल कर सकते हैं. इस कार्यशाला में मुख्य रुप से जीएसटी आर - 9 को लेकर आने वाली व्यवाहरिक और तकनीकी प्रश्नों और समस्याओं का समाधान किया गया.
जीएसटी आर -9 के 2017-18 का विवरण दाखिल करने के बारे में बताया गया. इससे सम्बन्धित समस्याओं का निराकरण किया गया. जीएसटी काउंसिल और विभागीय स्तर पर जीएसटी को लेकर लोगों की भ्रांतियां दूर हो रही हैं.
-रामानुज मिश्र, उपायुक्त, वाणिज्य कर विभाग