ETV Bharat / state

परिवहन निगम ने कोरोना काल में रखा मुसाफिरों के जेब का ख्याल

author img

By

Published : Apr 12, 2021, 11:54 AM IST

उत्तर प्रदेश परिवहन निगम ने कोरोना काल में भारी संख्या में प्रवासी मजदूरों और छात्रों को अपने गंतव्य तक पहुंचाकर रिकॉर्ड कायम कर चुका है. वहीं इस बीच डीजल मूल्य में भारी वृद्धि के बाद भी परिवहन निगम ने बसों के किराये में वृद्धि नहीं की है. पढ़ें पूरी रिपोर्ट...

यूपी में बस का किराया
यूपी में बस का किराया

लखनऊः पिछले कुछ समय से लगातार डीजल की कीमतों में इजाफा हो रहा है. ऐसे में परिवहन निगम की बसों में किराया बढ़ोतरी को लेकर भी मन में सवाल उठता है, लेकिन अपनी प्रभावित हो रही आय के बावजूद उत्तर प्रदेश परिवहन निगम ने अभी तक बसों का किराया नहीं बढ़ाया है. परिवहन निगम 300 करोड़ रुपये के फायदे के साथ पिछले साल तक चल रहा था. वहीं डीजल के बढ़े दाम से आय तो प्रभावित हुई है, लेकिन इसके आंकड़े अधिकारी अभी नहीं दे पा रहे हैं.

यूपी में नहीं बढ़ा बस का किराया.

जनवरी 2020 के किराया वृद्धि पर चल रही हैं बसें
उत्तर प्रदेश परिवहन निगम में जनवरी 2020 को हुई किराया वृद्धि के आधार पर ही अभी तक लगातार यात्रियों को सफर कराया जा रहा है. ईटीवी भारत ने डीजल की बढ़ती कीमतों के बावजूद परिवहन निगम की बसों के किराए में वृद्धि न होने से परिवहन निगम के सामने क्या स्थिति है, उसको लेकर पड़ताल की.

आय प्रभावित पर नहीं बढ़ाया गया किराया
पड़ताल में पता चला कि परिवहन निगम की आय तो प्रभावित हुई है. बावजूद इसके अभी तक किराया वृद्धि नहीं किया गया और ऐसे में कर्मचारियों को भी लगातार वेतन दिया जा रहा है. यही नहीं डीजल खरीदने के एवज में पेट्रोलियम कंपनियों को भी लगातार भुगतान भी हो रहा है.

12 हजार बसों का होता है संचालन
उत्तर प्रदेश परिवहन निगम के बस बड़े में इस समय करीब 12 हजार बसों का संचालन हो रहा है और इनमें लाखों यात्री सफर कर रहे हैं. कोविड-19 संकटकाल के बावजूद बसों का संचालन लगातार जारी रहा. इस बीच डीजल की कीमतों में भी लगातार इजाफा हो रहा है, लेकिन परिवहन निगम ने इन परिस्थितियों को देखते हुए अपने किराये में कोई बढ़ोतरी नहीं की है.

यूपी में बस का किराया.
यूपी में बस का किराया.

किराया बढ़ाने का कोई प्रस्ताव भी नहीं
ईटीवी भारत ने परिवहन निगम अधिकारियों से बात की तो पता चला कि फिलहाल किराया वृद्धि को लेकर कोई प्रस्ताव अभी नहीं है. भविष्य में किराया वृद्धि को लेकर जब भी बोर्ड बैठक होगी उस पर चर्चा होगी और उसी आधार पर फैसला किया जाएगा.

प्रतिदिन करीब 18 लाख यात्री करते हैं सफर
परिवहन निगम की संचालित होने वाली करीब 12 हजार बसों में प्रतिदिन औसतन 18 लाख यात्री सफर करते हैं. वहीं साल भर की अगर बात की जाए तो यह आंकड़ा 58 से 60 करोड़ के आसपास रहता है. इतने यात्री प्रति साल परिवहन निगम की बसों में सफर करते हैं और अपनी मंजिल तक पहुंचते हैं.

140 करोड़ प्रतिमाह परिवहन निगम देता है सैलरी
परिवहन निगम के अधिकारियों के अनुसार बसों के संचालन के लिए करीब 24 हजार कर्मचारियों की व्यवस्था की गई है और प्रतिमाह करीब 140 करोड़ रुपये का बजट खर्च होता है. यह परिवहन निगम को यात्रियों से मिलने वाले किराए पर ही होती है. कोविड-19 काल के दौरान भी राज्य परिवहन सड़क निगम यात्रियों को सफर कराता रहा है.

कोविड के कारण आय प्रभावित होना स्वाभाविक
सरकार की तरफ से परिवहन निगम को अभी कुछ पैसों का भुगतान भी बाकी है. यही नहीं परिवहन निगम की कोविड-19 से आय भी प्रभावित हुई है लेकिन आय कितनी प्रभावित हुई है उसको लेकर अभी आंकड़ों पर कुछ नहीं कहा जा सकता. निगम का कहना है कि हमने कर्मचारियों को लगातार समय पर वेतन भुगतान किया है और यात्रियों को बिना किसी बाधा के बस संचालन का लाभ दिया जा रहा है.

150 करोड़ डीजल खरीद का होता है भुगतान
परिवहन निगम के अधिकारियों के अनुसार परिवहन निगम की बसों में पढ़ने वाले डीजल की एवज में करीब 150 करोड़ रुपये प्रति माह का भुगतान इंडियन आयल सहित अन्य पेट्रोलियम कंपनियों को किया जाता है. यह भुगतान परिवहन निगम के स्तर पर लगातार किया जा रहा है. किसी कंपनी का कोई बकाया भुगतान नहीं है, जिससे उन्हें डीजल देने में कोई कठिनाई आई हो और डीजल आपूर्ति लगातार हो रही है.

यह भी पढ़ेंः-राम मंदिर की नींव भराई का काम हुआ शुरू, सितंबर तक हो जाएगा पूरा

सैलरी मिलने में नहीं आई समस्या
कैसरबाग डिपो के चालक सुखदेव ने ईटीवी भारत से बताया कि उन्हें नियमित रूप से परिवहन निगम की तरफ से समय से वेतन दिया गया है, लेकिन उनकी यह भी मांग है कि चालकों की वेतन वृद्धि की जाए. डीजल बढ़ने और किराया की बढ़ोतरी के सवाल पर चालक सुखदेव कहते हैं कि यह फैसला परिवहन निगम प्रबंधन को करना है. इससे हम लोगों से कोई मतलब नहीं है हमें हमारी सैलरी समय पर मिल रही है.

आय प्रभावित लेकिन नहीं बढ़ाया गया किराया
यूपीएसआरटीसी के सीजीएम टेक्निकल जयदीप वर्मा ने ईटीवी भारत से बताया कि परिवहन निगम के पास करीब 12 हजार बसें हैं और इन बसों का लगातार संचालन हो रहा है. डीजल का दाम बढ़ने से आय स्वाभाविक रूप से प्रभावित हुई है, लेकिन हमने अभी तक कोई किराया नहीं बढ़ाया है. जनवरी 2020 में लागू किराया ही जारी है.

लखनऊः पिछले कुछ समय से लगातार डीजल की कीमतों में इजाफा हो रहा है. ऐसे में परिवहन निगम की बसों में किराया बढ़ोतरी को लेकर भी मन में सवाल उठता है, लेकिन अपनी प्रभावित हो रही आय के बावजूद उत्तर प्रदेश परिवहन निगम ने अभी तक बसों का किराया नहीं बढ़ाया है. परिवहन निगम 300 करोड़ रुपये के फायदे के साथ पिछले साल तक चल रहा था. वहीं डीजल के बढ़े दाम से आय तो प्रभावित हुई है, लेकिन इसके आंकड़े अधिकारी अभी नहीं दे पा रहे हैं.

यूपी में नहीं बढ़ा बस का किराया.

जनवरी 2020 के किराया वृद्धि पर चल रही हैं बसें
उत्तर प्रदेश परिवहन निगम में जनवरी 2020 को हुई किराया वृद्धि के आधार पर ही अभी तक लगातार यात्रियों को सफर कराया जा रहा है. ईटीवी भारत ने डीजल की बढ़ती कीमतों के बावजूद परिवहन निगम की बसों के किराए में वृद्धि न होने से परिवहन निगम के सामने क्या स्थिति है, उसको लेकर पड़ताल की.

आय प्रभावित पर नहीं बढ़ाया गया किराया
पड़ताल में पता चला कि परिवहन निगम की आय तो प्रभावित हुई है. बावजूद इसके अभी तक किराया वृद्धि नहीं किया गया और ऐसे में कर्मचारियों को भी लगातार वेतन दिया जा रहा है. यही नहीं डीजल खरीदने के एवज में पेट्रोलियम कंपनियों को भी लगातार भुगतान भी हो रहा है.

12 हजार बसों का होता है संचालन
उत्तर प्रदेश परिवहन निगम के बस बड़े में इस समय करीब 12 हजार बसों का संचालन हो रहा है और इनमें लाखों यात्री सफर कर रहे हैं. कोविड-19 संकटकाल के बावजूद बसों का संचालन लगातार जारी रहा. इस बीच डीजल की कीमतों में भी लगातार इजाफा हो रहा है, लेकिन परिवहन निगम ने इन परिस्थितियों को देखते हुए अपने किराये में कोई बढ़ोतरी नहीं की है.

यूपी में बस का किराया.
यूपी में बस का किराया.

किराया बढ़ाने का कोई प्रस्ताव भी नहीं
ईटीवी भारत ने परिवहन निगम अधिकारियों से बात की तो पता चला कि फिलहाल किराया वृद्धि को लेकर कोई प्रस्ताव अभी नहीं है. भविष्य में किराया वृद्धि को लेकर जब भी बोर्ड बैठक होगी उस पर चर्चा होगी और उसी आधार पर फैसला किया जाएगा.

प्रतिदिन करीब 18 लाख यात्री करते हैं सफर
परिवहन निगम की संचालित होने वाली करीब 12 हजार बसों में प्रतिदिन औसतन 18 लाख यात्री सफर करते हैं. वहीं साल भर की अगर बात की जाए तो यह आंकड़ा 58 से 60 करोड़ के आसपास रहता है. इतने यात्री प्रति साल परिवहन निगम की बसों में सफर करते हैं और अपनी मंजिल तक पहुंचते हैं.

140 करोड़ प्रतिमाह परिवहन निगम देता है सैलरी
परिवहन निगम के अधिकारियों के अनुसार बसों के संचालन के लिए करीब 24 हजार कर्मचारियों की व्यवस्था की गई है और प्रतिमाह करीब 140 करोड़ रुपये का बजट खर्च होता है. यह परिवहन निगम को यात्रियों से मिलने वाले किराए पर ही होती है. कोविड-19 काल के दौरान भी राज्य परिवहन सड़क निगम यात्रियों को सफर कराता रहा है.

कोविड के कारण आय प्रभावित होना स्वाभाविक
सरकार की तरफ से परिवहन निगम को अभी कुछ पैसों का भुगतान भी बाकी है. यही नहीं परिवहन निगम की कोविड-19 से आय भी प्रभावित हुई है लेकिन आय कितनी प्रभावित हुई है उसको लेकर अभी आंकड़ों पर कुछ नहीं कहा जा सकता. निगम का कहना है कि हमने कर्मचारियों को लगातार समय पर वेतन भुगतान किया है और यात्रियों को बिना किसी बाधा के बस संचालन का लाभ दिया जा रहा है.

150 करोड़ डीजल खरीद का होता है भुगतान
परिवहन निगम के अधिकारियों के अनुसार परिवहन निगम की बसों में पढ़ने वाले डीजल की एवज में करीब 150 करोड़ रुपये प्रति माह का भुगतान इंडियन आयल सहित अन्य पेट्रोलियम कंपनियों को किया जाता है. यह भुगतान परिवहन निगम के स्तर पर लगातार किया जा रहा है. किसी कंपनी का कोई बकाया भुगतान नहीं है, जिससे उन्हें डीजल देने में कोई कठिनाई आई हो और डीजल आपूर्ति लगातार हो रही है.

यह भी पढ़ेंः-राम मंदिर की नींव भराई का काम हुआ शुरू, सितंबर तक हो जाएगा पूरा

सैलरी मिलने में नहीं आई समस्या
कैसरबाग डिपो के चालक सुखदेव ने ईटीवी भारत से बताया कि उन्हें नियमित रूप से परिवहन निगम की तरफ से समय से वेतन दिया गया है, लेकिन उनकी यह भी मांग है कि चालकों की वेतन वृद्धि की जाए. डीजल बढ़ने और किराया की बढ़ोतरी के सवाल पर चालक सुखदेव कहते हैं कि यह फैसला परिवहन निगम प्रबंधन को करना है. इससे हम लोगों से कोई मतलब नहीं है हमें हमारी सैलरी समय पर मिल रही है.

आय प्रभावित लेकिन नहीं बढ़ाया गया किराया
यूपीएसआरटीसी के सीजीएम टेक्निकल जयदीप वर्मा ने ईटीवी भारत से बताया कि परिवहन निगम के पास करीब 12 हजार बसें हैं और इन बसों का लगातार संचालन हो रहा है. डीजल का दाम बढ़ने से आय स्वाभाविक रूप से प्रभावित हुई है, लेकिन हमने अभी तक कोई किराया नहीं बढ़ाया है. जनवरी 2020 में लागू किराया ही जारी है.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.