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UP Politics: योगी के नेतृत्व में ही भाजपा लड़ेगी 2022 का विधानसभा चुनाव - उत्तर प्रदेश समाचार

भाजपा के राष्ट्रीय महामंत्री संगठन बीएल संतोष की रिपोर्ट के आधार पर केंद्रीय नेतृत्व ने निर्णय लिया है कि यूपी में कोई भारी फेरबदल नहीं किया जाएगा. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (Chief Minister Yogi Adityanath) के नेतृत्व में ही 2022 का विधानसभा चुनाव (Assembly Elections) लड़ा जाएगा.

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Published : Jun 4, 2021, 6:23 PM IST

Updated : Jun 4, 2021, 7:26 PM IST

लखनऊः उत्तर प्रदेश में सियासी बदलाव की अटकलों पर विराम लगता दिखाई दे रहा है. भाजपा के राष्ट्रीय महामंत्री संगठन बीएल संतोष की रिपोर्ट के आधार पर केंद्रीय नेतृत्व ने निर्णय लिया है कि यूपी में कोई बड़ा फेरबदल नहीं किया जाएगा. लिहाजा मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (Chief Minister Yogi Adityanath) के नेतृत्व में ही आगामी 2022 का विधानसभा चुनाव (Assembly Elections) लड़ा जाएगा. बीएल संतोष पिछले दिनों तीन दिवसीय लखनऊ दौरे पर आए थे. उन्होंने संगठन और सरकार के मंत्रियों से मिलकर फीडबैक लिया था. उन्होंने मिले फीडबैक के आधार पर तैयार रिपोर्ट पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा को सौंपी है. इसके बाद भाजपा केंद्रीय नेतृत्व ने यह निर्णय लिया है. हालांकि इसी माह के अंत तक योगी कैबिनेट (Yogi Cabinet) विस्तार की संभावना जताई जा रही है.

2 जून को ही मिल गया था संकेत
भाजपा के राष्ट्रीय महामंत्री संगठन बीएल संतोष के लखनऊ दौरे के आखरी दिन 2 जून को ही ETV BHARAT ने इस बात के संकेत दिए थे कि मौजूदा नेतृत्व में ही 2022 का चुनाव लड़ा जाएगा. दरअसल बीएल संतोष ने भाजपा मीडिया सेल के पदाधिकारियों के साथ बैठक के दौरान स्पष्ट तौर पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, भाजपा अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह और प्रदेश महामंत्री संगठन सुनील बंसल की तारीफ की थी. उन्होंने मीडिया से कहा था कि अध्यक्ष के साथ ही नहीं बल्कि मुख्यमंत्री की टीम के साथ मिलकर रणनीति बनाकर काम करें. उसी दिन यह स्पष्ट हो गया था कि सरकार और संगठन में बड़ा बदलाव नहीं होने वाला है.


बीएल संतोष की रिपोर्ट पर केंद्रीय नेतृत्व का फैसला
पार्टी सूत्रों के मुताबिक राष्ट्रीय महामंत्री संगठन बीएल संतोष ने राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा को रिपोर्ट सौंपी है. इसी के आधार पर यह निर्णय लिया गया है. अब स्पष्ट संकेत मिल रहे हैं कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में ही आगामी 2022 का विधानसभा चुनाव लड़ा जाएगा. हां, इतना जरूर है कि इसी माह मंत्रिमंडल विस्तार होने की संभावना है. इस विस्तार में करीब छह नए चेहरे शामिल किए जाएंगे. योगी सरकार के दो कैबिनेट मंत्री और एक राज्य मंत्री की कोरोना के वजह से मौत हो गयी है. इनके स्थान पर तीन नए चेहरों के अलावा तीन-चार और भी लोगों को योगी मंत्रिमंडल में शामिल किए जाने की पूरी संभावना है.

यह भी पढ़ें-मोदी के करीबी एके शर्मा योगी कैबिनेट में शामिल होकर ब्यूरोक्रेसी पर कसेंगे नकेल!

बीएल संतोष ने मंत्रियों के साथ की थी अलग-अलग मुलाकात
लखनऊ प्रवास के दौरान बीएल संतोष में सरकार और संगठन ने हर स्तर पर मुलाकात की थी. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह, प्रदेश महामंत्री संगठन सुनील बंसल एवं पदाधिकारियों के साथ कई बैठकें हुईं थी. राष्ट्रीय महामंत्री संगठन ने इन बैठकों के अलावा सरकार के करीब दो दर्जन मंत्रियों से अलग-अलग मुलाकात की. मंत्रियों ने नौकरशाही पर तो सवाल खड़ा किया लेकिन सीएम योगी को लेकर कोई नकारात्मक बात नहीं की.

बीएल संतोष का रूटीन दौरा था
आम लोगों के मन में सवाल उठता है कि जब बदलाव नहीं होना था तो फिर बीएल संतोष का दौरा ही क्यों? दरअसल बीजेपी के राष्ट्रीय महामंत्री संगठन बीएल संतोष का यह रूटीन दौरा था. अगले साल जिन राज्यों में विधानसभा चुनाव होने हैं, उन राज्यों का दौरा किया है. यह बात अलग है कि उनके लखनऊ पहुंचने से पहले ही सियासी बदलाव की अटकलें तेज हो गयीं थी. बीएल संतोष के दौरे से इन अटकलों को और भी बल मिला. हालांकि उन्होंने प्रदेश संगठन और सरकार के मंत्रियों से जो फीडबैक लिया उसके आधार पर निर्णय लिए जा रहे हैं.

जनता के बीच योगी लोकप्रिय
पार्टी के सूत्रों का कहना है कि चुनाव निकट है. इसलिए इतना बड़ा बदलाव संभव नहीं दिख रहा है. दूसरी बात यह कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से विधायकों और पार्टी के नेताओं की नाराजगी दिखी है. विधायकों ने मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर सरकारी तंत्र पर सवाल खड़ा किये हैं. लेकिन जनता के बीच योगी के प्रति भरोसा कायम है. उनकी ईमानदार क्षवि, गोरक्ष पीठ के महंत, कट्टर हिंदुत्व की क्षवि भाजपा के एजेंडे को आगे बढ़ाने वाला है. इसके साथ ही उनके मुख्यमंत्रित्व काल में अपराधियों पर हुई कड़ी कार्रवाई से अलग पहचान बनी है. यही वजह है कि भाजपा नेतृत्व योगी को हटाने की जहमत नहीं उठा पा रहा है. पार्टी के पास योगी जैसा चेहरा नहीं होना भी एक बड़ी वजह है.

बैठक में हिस्सा लेने दिल्ली पहुंचे पहुंचे प्रदेश महामंत्री और प्रभारी
राष्ट्रीय महामंत्री संगठन बीएल संतोष के दौरे के बाद अब सभी चुनावी राज्यों को लेकर दिल्ली में एक महत्वपूर्ण बैठक होने जा रही है. मिली जानकारी के मुताबिक 5 और 6 जून को दिल्ली में चुनावी राज्यों की बैठक होगी. इस बैठक में शामिल होने के लिए सभी चुनावी राज्यों के प्रदेश महामंत्री संगठन और प्रदेश प्रभारियों को बुलाया गया है. उत्तर प्रदेश से प्रदेश महामंत्री संगठन सुनील बंसल और यूपी भाजपा प्रभारी राधामोहन सिंह भी दिल्ली पहुंच गए हैं. इस बैठक में विधानसभा चुनाव की दृष्टि से कुछ महत्वपूर्ण निर्णय के संकेत मिल रहे हैं.

लखनऊः उत्तर प्रदेश में सियासी बदलाव की अटकलों पर विराम लगता दिखाई दे रहा है. भाजपा के राष्ट्रीय महामंत्री संगठन बीएल संतोष की रिपोर्ट के आधार पर केंद्रीय नेतृत्व ने निर्णय लिया है कि यूपी में कोई बड़ा फेरबदल नहीं किया जाएगा. लिहाजा मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (Chief Minister Yogi Adityanath) के नेतृत्व में ही आगामी 2022 का विधानसभा चुनाव (Assembly Elections) लड़ा जाएगा. बीएल संतोष पिछले दिनों तीन दिवसीय लखनऊ दौरे पर आए थे. उन्होंने संगठन और सरकार के मंत्रियों से मिलकर फीडबैक लिया था. उन्होंने मिले फीडबैक के आधार पर तैयार रिपोर्ट पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा को सौंपी है. इसके बाद भाजपा केंद्रीय नेतृत्व ने यह निर्णय लिया है. हालांकि इसी माह के अंत तक योगी कैबिनेट (Yogi Cabinet) विस्तार की संभावना जताई जा रही है.

2 जून को ही मिल गया था संकेत
भाजपा के राष्ट्रीय महामंत्री संगठन बीएल संतोष के लखनऊ दौरे के आखरी दिन 2 जून को ही ETV BHARAT ने इस बात के संकेत दिए थे कि मौजूदा नेतृत्व में ही 2022 का चुनाव लड़ा जाएगा. दरअसल बीएल संतोष ने भाजपा मीडिया सेल के पदाधिकारियों के साथ बैठक के दौरान स्पष्ट तौर पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, भाजपा अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह और प्रदेश महामंत्री संगठन सुनील बंसल की तारीफ की थी. उन्होंने मीडिया से कहा था कि अध्यक्ष के साथ ही नहीं बल्कि मुख्यमंत्री की टीम के साथ मिलकर रणनीति बनाकर काम करें. उसी दिन यह स्पष्ट हो गया था कि सरकार और संगठन में बड़ा बदलाव नहीं होने वाला है.


बीएल संतोष की रिपोर्ट पर केंद्रीय नेतृत्व का फैसला
पार्टी सूत्रों के मुताबिक राष्ट्रीय महामंत्री संगठन बीएल संतोष ने राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा को रिपोर्ट सौंपी है. इसी के आधार पर यह निर्णय लिया गया है. अब स्पष्ट संकेत मिल रहे हैं कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में ही आगामी 2022 का विधानसभा चुनाव लड़ा जाएगा. हां, इतना जरूर है कि इसी माह मंत्रिमंडल विस्तार होने की संभावना है. इस विस्तार में करीब छह नए चेहरे शामिल किए जाएंगे. योगी सरकार के दो कैबिनेट मंत्री और एक राज्य मंत्री की कोरोना के वजह से मौत हो गयी है. इनके स्थान पर तीन नए चेहरों के अलावा तीन-चार और भी लोगों को योगी मंत्रिमंडल में शामिल किए जाने की पूरी संभावना है.

यह भी पढ़ें-मोदी के करीबी एके शर्मा योगी कैबिनेट में शामिल होकर ब्यूरोक्रेसी पर कसेंगे नकेल!

बीएल संतोष ने मंत्रियों के साथ की थी अलग-अलग मुलाकात
लखनऊ प्रवास के दौरान बीएल संतोष में सरकार और संगठन ने हर स्तर पर मुलाकात की थी. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह, प्रदेश महामंत्री संगठन सुनील बंसल एवं पदाधिकारियों के साथ कई बैठकें हुईं थी. राष्ट्रीय महामंत्री संगठन ने इन बैठकों के अलावा सरकार के करीब दो दर्जन मंत्रियों से अलग-अलग मुलाकात की. मंत्रियों ने नौकरशाही पर तो सवाल खड़ा किया लेकिन सीएम योगी को लेकर कोई नकारात्मक बात नहीं की.

बीएल संतोष का रूटीन दौरा था
आम लोगों के मन में सवाल उठता है कि जब बदलाव नहीं होना था तो फिर बीएल संतोष का दौरा ही क्यों? दरअसल बीजेपी के राष्ट्रीय महामंत्री संगठन बीएल संतोष का यह रूटीन दौरा था. अगले साल जिन राज्यों में विधानसभा चुनाव होने हैं, उन राज्यों का दौरा किया है. यह बात अलग है कि उनके लखनऊ पहुंचने से पहले ही सियासी बदलाव की अटकलें तेज हो गयीं थी. बीएल संतोष के दौरे से इन अटकलों को और भी बल मिला. हालांकि उन्होंने प्रदेश संगठन और सरकार के मंत्रियों से जो फीडबैक लिया उसके आधार पर निर्णय लिए जा रहे हैं.

जनता के बीच योगी लोकप्रिय
पार्टी के सूत्रों का कहना है कि चुनाव निकट है. इसलिए इतना बड़ा बदलाव संभव नहीं दिख रहा है. दूसरी बात यह कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से विधायकों और पार्टी के नेताओं की नाराजगी दिखी है. विधायकों ने मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर सरकारी तंत्र पर सवाल खड़ा किये हैं. लेकिन जनता के बीच योगी के प्रति भरोसा कायम है. उनकी ईमानदार क्षवि, गोरक्ष पीठ के महंत, कट्टर हिंदुत्व की क्षवि भाजपा के एजेंडे को आगे बढ़ाने वाला है. इसके साथ ही उनके मुख्यमंत्रित्व काल में अपराधियों पर हुई कड़ी कार्रवाई से अलग पहचान बनी है. यही वजह है कि भाजपा नेतृत्व योगी को हटाने की जहमत नहीं उठा पा रहा है. पार्टी के पास योगी जैसा चेहरा नहीं होना भी एक बड़ी वजह है.

बैठक में हिस्सा लेने दिल्ली पहुंचे पहुंचे प्रदेश महामंत्री और प्रभारी
राष्ट्रीय महामंत्री संगठन बीएल संतोष के दौरे के बाद अब सभी चुनावी राज्यों को लेकर दिल्ली में एक महत्वपूर्ण बैठक होने जा रही है. मिली जानकारी के मुताबिक 5 और 6 जून को दिल्ली में चुनावी राज्यों की बैठक होगी. इस बैठक में शामिल होने के लिए सभी चुनावी राज्यों के प्रदेश महामंत्री संगठन और प्रदेश प्रभारियों को बुलाया गया है. उत्तर प्रदेश से प्रदेश महामंत्री संगठन सुनील बंसल और यूपी भाजपा प्रभारी राधामोहन सिंह भी दिल्ली पहुंच गए हैं. इस बैठक में विधानसभा चुनाव की दृष्टि से कुछ महत्वपूर्ण निर्णय के संकेत मिल रहे हैं.

Last Updated : Jun 4, 2021, 7:26 PM IST
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