लखनऊ : लेखपाल, पुलिस और अन्य सरकारी नौकरी पाने के लिए अभ्यर्थी सॉल्वर गैंग का सहारा लेते हैं कई बार सुना होगा, लेकिन अब लोग कई पदों पर भर्ती के लिए भी परीक्षा में सॉल्वर बैठा रहे हैं. शिकायत पर पुलिस ने तीन लोगों को गिरफ्तार किया है, यह आरोपी सॉल्वर को बैठाकर परीक्षा दिला रहे थे.
पुलिस के मुताबिक, सेना चिकित्सा कोर केंद्र एवं कॉलेज द्वारा कई पदों के लिए भर्ती का आयोजन किया गया था, जिसमें धोबी, रसोइया और नाई के पद के लिए 12 से 15 मार्च के बीच लिखित परीक्षा परीक्षा कराई गई थी. इस दौरान धोबी पद के लिए आवेदन करने वाले आगरा निवासी रोहन ने लिखित परीक्षा पास की थी. पास होने पर जब रोहन को 28 अप्रैल को दस्तावेज सत्यापन के लिए बुलाया गया तो लिखित परीक्षा के दौरान जमा कराई गई तस्वीर का मिलान नहीं हो सकाय पूछताछ में रोहन ने बताया कि 'उसने लिखित परीक्षा में सॉल्वर बैठाया था.'
कैंट थाना प्रभारी राज कुमार के मुताबिक, इसी तरह मथुरा निवासी हेमंत ने रसोइया पद के लिए आवेदन किया था और लिखित परीक्षा में दीपू नाम के युवक को खुद की जगह परीक्षा देने के लिए भेजा और नाई पद के लिए आवेदन करने वाले गाजियाबाद निवासी भूरे ने भी सॉल्वर की मदद से परीक्षा पास की थी, जिन्हें दस्तावेज के सत्यापन के समय पकड़ा गया. कैंट थाना प्रभारी राज कुमार के मुताबिक, 'भारतीय सेना में लेफ्टिनेंट कर्नल प्रदीप कुमार की तहरीर पर मुकदमा दर्ज कर लिया गया है, वहीं तीनों अभ्यर्थियों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया है.'
बता दें बीते एक साल में यूपी एसटीएफ सॉल्वर गैंग के 102 अभ्यर्थियों को गिरफ्तार किया जा चुका है. इसमें अधिकतर सॉल्वर बिहार के रहने वाले हैं. ऐसे में अब सवाल उठ रहा है कि आखिर किस कमी के चलते सॉल्वर गैंग यूपी में हर परीक्षा में अपनी उपस्थिति दर्ज करा पा रहा है.
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