लखनऊ : मध्यांचल विद्युत वितरण निगम लिमिटेड ने उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ की बिजली आपूर्ति व्यवस्था दुरुस्त करने के लिए बिजनेस प्लान के तहत लेसा ट्रांसगोमती और लेसा सिस गोमती को 157 करोड़ रुपए का बजट आवंटित कर दिया है. इस बजट से नए उपकेंद्र बनेंगे. उपकेद्रों को बेहतर करने, नए उपकरण खरीदने, नई लाइन बिछाने का काम कराया जाएगा. 100 करोड़ से ज्यादा लेसा सिस गोमती को दिए गए हैं, क्योंकि यहां पर उपभोक्ताओं की संख्या तकरीबन आठ लाख है, वहीं लेसा ट्रांस गोमती को ₹57 लाख के करीब दिए गए हैं. यहां पर उपभोक्ताओं की संख्या चार लाख से कुछ ज्यादा है.
इस बार गर्मी में विद्युत उपभोक्ताओं को काफी समस्या का सामना करना पड़ा. बिजली संकट से लोगों को काफी समस्या हुई. अब लखनऊ की विद्युत आपूर्ति व्यवस्था आने वाले दिनों में पटरी पर रहे इसे लेकर ऊर्जा विभाग ने बिजली की सेहत सुधारने के लिए लखनऊ विद्युत संपूर्ति प्रशासन को 157 करोड़ रुपए से ज्यादा का बजट आवंटित कर दिया है. इस बजट से लखनऊ के विभिन्न उपकेंद्रों से पोषित लाइनों का मेंटेनेंस कराया जाएगा. नई लाइन बिछाई जाएंगी. नए उपकेंद्रों का निर्माण होगा. जिन उपकेंद्रों की क्षमता कम है उनकी क्षमता बढ़ाई जाएगी, जो ट्रांसफार्मर ओवरलोड चल रहे हैं उन्हें बदल जाएगा. कुल मिलाकर लखनऊ की लाखों की आबादी को आने वाले दिनों में बिजली संकट से निजात मिल सकती है. इसके लिए अब लेसा ट्रांस गोमती और लेसा सिस गोमती के मुख्य अभियंता प्रयास करने में जुट गए हैं.
ऊर्जा विभाग के अधिकारी बताते हैं कि 'मध्यांचल विद्युत वितरण निगम ने लेस (सिस गोमती) के लिए 100.21 करोड़ और लेसा (ट्रांस गोमती) के लिए 56.81 करोड रुपए बजट आवंटित कर दिया है. ऐसे तमाम उपकेंद्रों से जो लो वोल्टेज की समस्या आ रही है उसे दुरुस्त कराया जाएगा. जो अंडरग्राउंड केबल क्षतिग्रस्त हुई हैं उन्हें ठीक किया जाएगा.'
यह है सिस और ट्रांस गोमती की स्थिति : जहां तक लेसा ट्रांस गोमती की बात की जाए तो यहां पर कुल 56 बिजली घर हैं. लगभग 5 लाख के करीब उपभोक्ता हैं और यहां के लिए कुल बजट में से 56.81 करोड़ का दिया गया है. इसी तरह लेसा सिस गोमती में 93 विद्युत उपकेंद्र हैं. उपभोक्ताओं की संख्या पौने आठ लाख से ज्यादा है, इसलिए यहां पर 100.21 करोड़ रुपये का बजट दिया गया है.