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Talkatora Industrial Area में मूलभूत सुविधाएं भी नहीं, उद्यमियों की समस्याओं पर सिर्फ हो रहीं बैठकें - Basic Facility in Industrial Area

औद्योगिक क्षेत्रों के विकास के लिए सरकार काफी दावे कर रही है. बावजूद इसके इंडस्ट्रियल एरिया तालकटोरा (Talkatora Industrial Area) में मूलभूत सुविधाएं भी नहीं हैं. उद्यमियों का कहना है कि अधिकारी बैठकों में तमाम दावे करते हैं, लेकिन धरातल पर कोई काम समय पर नहीं हो रहा है.

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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Oct 6, 2023, 8:24 PM IST

तालकटोरी औद्योगिक क्षेत्र में मूलभूत सुविधाएं भी नहीं. देखें खबर

लखनऊ : राज्य सरकार निवेशकों को लुभाने को लेकर तमाम तरह की योजनाएं चल रही है. सुरक्षा और अन्य सुविधाएं देने के दावे किए जा रहे हैं, लेकिन राजधानी लखनऊ के तालकटोरा इंडस्ट्रियल एरिया के उद्यमियों के सामने मूलभूत सुविधाओं से जूझने की समस्याएं बरकरार हैं. करीब तीन महीने से यहां की करीब 40 फैक्ट्रियों के सामने पानी का संकट है. तीन महीने पहले सड़क निर्माण के दौरान खुदाई की वजह से यहां पानी की सप्लाई लाइन टूट गई थी, लेकिन इसे अभी तक नहीं कराया जा सका है. जिलाधिकारी के स्तर पर उद्योग बंधु की कई बैठकें भी हुईं, लेकिन समस्या का निस्तारण नहीं हो पाया है.

तालकटोरी औद्योगिक क्षेत्र में मूलभूत सुविधाएं भी नहीं.
तालकटोरी औद्योगिक क्षेत्र में मूलभूत सुविधाएं भी नहीं.
इंडस्ट्रियल एरिया तालकटोरा में मूलभूत सुविधाएं भी नहीं.
इंडस्ट्रियल एरिया तालकटोरा में मूलभूत सुविधाएं भी नहीं.


तालकटोरा इंडस्ट्रियल एसोसिएशन के अध्यक्ष यूनुस सिद्दीकी व अन्य प्रतिनिधियों की तरफ से जिला उद्योग बंधु की बैठक में पानी संकट का मामला भी उठाया गया था. बावजूद इसके अभी तक समाधान नहीं निकाला जा सका है. उत्तर प्रदेश स्मॉल इंडस्ट्रीज कॉरपोरेशन सड़क निर्माण व अन्य कामकाज के लिए कार्यदायी संस्था है और वही इन सब कामों की मॉनिटरिंग करती है. काॅरपोरेशन के अधिकारियों अभियंताओं व ठेकेदारों की लापरवाही की वजह से राजधानी लखनऊ के उद्यमियों के सामने तमाम तरह की समस्याएं बरकरार हैं.

तालकटोरी औद्योगिक क्षेत्र में मूलभूत सुविधाएं भी नहीं.
तालकटोरी औद्योगिक क्षेत्र में मूलभूत सुविधाएं भी नहीं.
इंडस्ट्रियल एरिया तालकटोरा में मूलभूत सुविधाएं भी नहीं.
इंडस्ट्रियल एरिया तालकटोरा में मूलभूत सुविधाएं भी नहीं.
तालकटोरी औद्योगिक क्षेत्र में मूलभूत सुविधाएं भी नहीं.
तालकटोरी औद्योगिक क्षेत्र में मूलभूत सुविधाएं भी नहीं.


यूपीएसआईसी के अभियंताओं की लापरवाही और ठेकेदार की मनमानी की वजह से यहां सड़क निर्माण भी गुणवत्तापूर्ण तरीके से नहीं किया गया है. काम सुस्त रफ्तार से चल रहे हैं. जिसकी वजह से स्थानीय उद्यमियों को रोजाना कई तरह की समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है. काॅरपोरेशन के अधिकारी स्थानीय उद्यमियों की समस्याओं के निस्तारण में फेल साबित हो रहे हैं. जबकि राज्य सरकार का पूरा फोकस उद्यमियों की समस्याओं का निस्तारण और अधिक से अधिक निवेश लाने पर है. ऐसी स्थिति में लखनऊ के ही जो स्थानीय उद्यमी हैं, स्थानीय फैक्ट्री हैं, उनके क्षेत्र की जो समस्याएं हैं उन्हें दूर करने में अधिकारी फेल साबित हो रहे हैं. यह हाल तब है जब जिला उद्योग बंधु की बैठक की अध्यक्षता करते हुए जिलाधिकारी सूर्यपाल गंगवार ने पानी की समस्या की आपूर्ति सुनिश्चित करने का कई बार उल्टीमेटम भी दिया.

यह भी पढ़ें : उत्तर प्रदेश को अब बनाना है सर्वोत्तम प्रदेश: नन्द गोपाल गुप्ता

UP में हुआ एक लाख 88 हजार करोड़ रुपए का औद्योगिक निवेश

तालकटोरी औद्योगिक क्षेत्र में मूलभूत सुविधाएं भी नहीं. देखें खबर

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तालकटोरी औद्योगिक क्षेत्र में मूलभूत सुविधाएं भी नहीं.
तालकटोरी औद्योगिक क्षेत्र में मूलभूत सुविधाएं भी नहीं.
इंडस्ट्रियल एरिया तालकटोरा में मूलभूत सुविधाएं भी नहीं.
इंडस्ट्रियल एरिया तालकटोरा में मूलभूत सुविधाएं भी नहीं.


तालकटोरा इंडस्ट्रियल एसोसिएशन के अध्यक्ष यूनुस सिद्दीकी व अन्य प्रतिनिधियों की तरफ से जिला उद्योग बंधु की बैठक में पानी संकट का मामला भी उठाया गया था. बावजूद इसके अभी तक समाधान नहीं निकाला जा सका है. उत्तर प्रदेश स्मॉल इंडस्ट्रीज कॉरपोरेशन सड़क निर्माण व अन्य कामकाज के लिए कार्यदायी संस्था है और वही इन सब कामों की मॉनिटरिंग करती है. काॅरपोरेशन के अधिकारियों अभियंताओं व ठेकेदारों की लापरवाही की वजह से राजधानी लखनऊ के उद्यमियों के सामने तमाम तरह की समस्याएं बरकरार हैं.

तालकटोरी औद्योगिक क्षेत्र में मूलभूत सुविधाएं भी नहीं.
तालकटोरी औद्योगिक क्षेत्र में मूलभूत सुविधाएं भी नहीं.
इंडस्ट्रियल एरिया तालकटोरा में मूलभूत सुविधाएं भी नहीं.
इंडस्ट्रियल एरिया तालकटोरा में मूलभूत सुविधाएं भी नहीं.
तालकटोरी औद्योगिक क्षेत्र में मूलभूत सुविधाएं भी नहीं.
तालकटोरी औद्योगिक क्षेत्र में मूलभूत सुविधाएं भी नहीं.


यूपीएसआईसी के अभियंताओं की लापरवाही और ठेकेदार की मनमानी की वजह से यहां सड़क निर्माण भी गुणवत्तापूर्ण तरीके से नहीं किया गया है. काम सुस्त रफ्तार से चल रहे हैं. जिसकी वजह से स्थानीय उद्यमियों को रोजाना कई तरह की समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है. काॅरपोरेशन के अधिकारी स्थानीय उद्यमियों की समस्याओं के निस्तारण में फेल साबित हो रहे हैं. जबकि राज्य सरकार का पूरा फोकस उद्यमियों की समस्याओं का निस्तारण और अधिक से अधिक निवेश लाने पर है. ऐसी स्थिति में लखनऊ के ही जो स्थानीय उद्यमी हैं, स्थानीय फैक्ट्री हैं, उनके क्षेत्र की जो समस्याएं हैं उन्हें दूर करने में अधिकारी फेल साबित हो रहे हैं. यह हाल तब है जब जिला उद्योग बंधु की बैठक की अध्यक्षता करते हुए जिलाधिकारी सूर्यपाल गंगवार ने पानी की समस्या की आपूर्ति सुनिश्चित करने का कई बार उल्टीमेटम भी दिया.

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