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राजधानी बसों का परफारमेंस नहीं आ रहा बेहतर, सीएम योगी ने दिखाई थी हरी झंडी

राजधानी बसों का किराया साधारण बसों के किराए से ज्यादा है. ऐसे में तमाम परिक्षेत्रों का परफारमेंस बेहतर नहीं आ रहा है. यूपीएसआरटीसी के अधिकारियों की समीक्षा में यह बात सामने आई है.

उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम
उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम
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Published : Apr 16, 2023, 9:33 PM IST

लखनऊः उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम की राजधानी बस सेवा हरी झंडी दिखाई थी. इसके बाद परिवहन निगम की तरफ से प्रदेश भर में 81 राजधानी बसें संचालित की जा रही हैं. इन बसों की खासियत यही है की ये नॉन स्टॉप संचालित होती हैं. यानी यात्री अगर इन राजधानी बसों से यात्रा करते हैं तो इस बात की गारंटी है कि ये सही समय पर यात्रियों को उनकी मंजिल तक पहुंचाती हैं.

हालांकि इन साधारण राजधानी बसों का किराया साधारण बसों के किराए से ज्यादा है. ऐसे में तमाम परिक्षेत्रों का परफारमेंस बेहतर नहीं आ रहा है. राजधानी बस सेवाओं से जिस लोड फैक्टर की उम्मीद परिवहन निगम के अधिकारियों को है वह लोड फैक्टर यह बसें नहीं दे पा रही हैं. यूपीएसआरटीसी के अधिकारियों की समीक्षा में यह बात सामने आई है.

उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम के प्रवक्ता अजीत सिंह ने बताया कि परिवहन निगम की 81 राजधानी बस सेवाएं वर्तमान में संचालित कराई जा रही है. यह प्रदेश के विभिन्न जनपदों में संचालित हो रही हैं और यात्रियों को समयसारिणी के मुताबिक यात्रा करा रही हैं. उन्होंने बताया कि राजधानी बस सेवाओं की समीक्षा की गई है. उनमें कई डिपो बेहतर प्रदर्शन कर रहे हैं और कुछ डिपो अच्छा लोड फैक्टर नहीं दे पा रहे हैं.

प्रवक्ता अजीत सिंह सिंह का कहना है कि गाजियाबाद में 16, चित्रकूट में चार, वाराणसी में आठ, प्रयागराज में पांच, अलीगढ़ में छह, गोरखपुर में 11, झांसी में दो, सहारनपुर में चार, मुरादाबाद में चार, अयोध्या में तीन, देवीपाटन में दो, हरदोई में तीन, बरेली में तीन, आजमगढ़ में दो आगरा में छह और मेरठ में दो राजधानी बस सेवाएं संचालित होते हैं. इनमें से प्रयाग, देवरिया, गोरखपुर, कौशांबी, बहराइच और फोर्ट डिपो की राजधानी बसों की आय अन्य डिपो से अधिक आ रही है.

राजधानी बसों का संचालन वर्तमान में समयबद्ध रूप से किया जा रहा है. जिस क्षेत्र की राजधानी बसों का संचालन समयबद्ध नहीं पाया जाता है उस क्षेत्र के क्षेत्रीय प्रबंधक, सहायक क्षेत्रीय प्रबंधक के उत्तरदायित्व का निर्धारण किया जाता है. अभी तक यात्रियों की ओर से कोई विशेष शिकायत प्राप्त नहीं हो रही है.

उन्होंने बताया कि परिवहन निगम मुख्यालय स्तर पर सहायक प्रबंधक अविनाश चंद्र इन बसों के संचालन की समीक्षा के लिए टि्वटर हैंडल मैनेज करते हैं. यात्रियों की तरफ से राजधानी बसों के संबंध में शिकायत या सुझाव @UPSRTCHQ के माध्यम से प्राप्त होते हैं. उनकी समीक्षा मुख्यालय स्तर पर की जाती है.

पढ़ेंः अनुबंधित बस चालक ने बिना परिचालक के ही दौड़ा दी चारबाग से फतेहपुर की बस, अब कार्रवाई की तैयारी

लखनऊः उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम की राजधानी बस सेवा हरी झंडी दिखाई थी. इसके बाद परिवहन निगम की तरफ से प्रदेश भर में 81 राजधानी बसें संचालित की जा रही हैं. इन बसों की खासियत यही है की ये नॉन स्टॉप संचालित होती हैं. यानी यात्री अगर इन राजधानी बसों से यात्रा करते हैं तो इस बात की गारंटी है कि ये सही समय पर यात्रियों को उनकी मंजिल तक पहुंचाती हैं.

हालांकि इन साधारण राजधानी बसों का किराया साधारण बसों के किराए से ज्यादा है. ऐसे में तमाम परिक्षेत्रों का परफारमेंस बेहतर नहीं आ रहा है. राजधानी बस सेवाओं से जिस लोड फैक्टर की उम्मीद परिवहन निगम के अधिकारियों को है वह लोड फैक्टर यह बसें नहीं दे पा रही हैं. यूपीएसआरटीसी के अधिकारियों की समीक्षा में यह बात सामने आई है.

उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम के प्रवक्ता अजीत सिंह ने बताया कि परिवहन निगम की 81 राजधानी बस सेवाएं वर्तमान में संचालित कराई जा रही है. यह प्रदेश के विभिन्न जनपदों में संचालित हो रही हैं और यात्रियों को समयसारिणी के मुताबिक यात्रा करा रही हैं. उन्होंने बताया कि राजधानी बस सेवाओं की समीक्षा की गई है. उनमें कई डिपो बेहतर प्रदर्शन कर रहे हैं और कुछ डिपो अच्छा लोड फैक्टर नहीं दे पा रहे हैं.

प्रवक्ता अजीत सिंह सिंह का कहना है कि गाजियाबाद में 16, चित्रकूट में चार, वाराणसी में आठ, प्रयागराज में पांच, अलीगढ़ में छह, गोरखपुर में 11, झांसी में दो, सहारनपुर में चार, मुरादाबाद में चार, अयोध्या में तीन, देवीपाटन में दो, हरदोई में तीन, बरेली में तीन, आजमगढ़ में दो आगरा में छह और मेरठ में दो राजधानी बस सेवाएं संचालित होते हैं. इनमें से प्रयाग, देवरिया, गोरखपुर, कौशांबी, बहराइच और फोर्ट डिपो की राजधानी बसों की आय अन्य डिपो से अधिक आ रही है.

राजधानी बसों का संचालन वर्तमान में समयबद्ध रूप से किया जा रहा है. जिस क्षेत्र की राजधानी बसों का संचालन समयबद्ध नहीं पाया जाता है उस क्षेत्र के क्षेत्रीय प्रबंधक, सहायक क्षेत्रीय प्रबंधक के उत्तरदायित्व का निर्धारण किया जाता है. अभी तक यात्रियों की ओर से कोई विशेष शिकायत प्राप्त नहीं हो रही है.

उन्होंने बताया कि परिवहन निगम मुख्यालय स्तर पर सहायक प्रबंधक अविनाश चंद्र इन बसों के संचालन की समीक्षा के लिए टि्वटर हैंडल मैनेज करते हैं. यात्रियों की तरफ से राजधानी बसों के संबंध में शिकायत या सुझाव @UPSRTCHQ के माध्यम से प्राप्त होते हैं. उनकी समीक्षा मुख्यालय स्तर पर की जाती है.

पढ़ेंः अनुबंधित बस चालक ने बिना परिचालक के ही दौड़ा दी चारबाग से फतेहपुर की बस, अब कार्रवाई की तैयारी

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