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UP में अब अपने नाम से खुलवा सकते हैं अस्पताल, करना होगा ये काम... - hospitals in uttar pradesh

उत्तर प्रदेश में अगर आपको अपने नाम से अस्पताल खुलवाना है तो ये खबर आपके लिए है. दरअसल, यूपी में साफ-सुथरी छवि के व्यक्ति के नाम अस्पताल खुल सकता है और इसके लिए उसे सरकार को अस्पताल के लिए आवश्यक जमीन दान करनी होगी.

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Published : May 5, 2022, 11:53 AM IST

लखनऊ: यूपी में साफ-सुथरी छवि के व्यक्ति के नाम से भी अस्पताल खुल सकता है. इसके लिए उसे सरकार को अस्पताल के लिए आवश्यक जमीन दान करनी होगी. वहीं, राज्य में कई अस्पताल मेडिकल कॉलेज में तब्दील कर दिए गए हैं. यह चिकित्सा शिक्षा विभाग के अस्पताल हो गए हैं. ऐसे में इन जिलों में तहसील स्तर पर स्वास्थ्य विभाग 100 बेड का हॉस्पिटल बनाएगा.

इन जिलों की तहसील में बनेंगे अस्पताल
दरअसल, इस साल प्रदेश में 9 सरकारी मेडिकल कॉलेज खोले गए हैं. इनमें नए एकेडमिक ब्लॉक, क्लास और लैब बनाई गईं. वहीं एनएमसी के मानकों को पूरा करने के लिए जिला अस्पतालों को मेडिकल कॉलेजों से सम्बद्ध कर दिया गया है. इससे एटा, हरदोई, सिद्धार्थनगर, देवरिया, गाजीपुर, प्रतापगढ़, फतेहपुर, जौनपुर व मिर्जापुर के जिला अस्पताल स्वास्थ्य विभाग से हटकर चिकित्सा शिक्षा विभाग में चले गए. डीजी हेल्थ डॉ. वेद व्रत सिंह के मुताबिक इन जिलों की एक तहसील में 100 बेड का अस्पताल बनाने का प्रस्ताव तैयार किया गया है. जिसे शीघ्र ही सरकार से मंजूरी मिलने वाली है.

सड़क निर्माण की तर्ज पर होगा भूमि अधिग्रहण
डीजी हेल्थ डॉ. वेद व्रत के मुताबिक अस्पताल निर्माण में समय पर भूमि मिलने में मुश्किलें आ रही हैं. ऐसे में सड़क निर्माण के लिए भूमि अधिग्रहण वाले नियमों को अपनाया जाएगा. जिसकी शासन से मंजूरी मिल जाएगी. इसके अलावा भूमि दान कर आम व्यक्ति भी अपने नाम पर अस्पताल का निर्माण करा सकता है. इसमें उसके नाम का पत्थर व बोर्ड लगाया जाएगा.

इसे भी पढे़ं- जिला अस्पताल में भर्ती गुड़िया के पिता की हालत खराब, शिकायत राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग तक पहुंची

लखनऊ: यूपी में साफ-सुथरी छवि के व्यक्ति के नाम से भी अस्पताल खुल सकता है. इसके लिए उसे सरकार को अस्पताल के लिए आवश्यक जमीन दान करनी होगी. वहीं, राज्य में कई अस्पताल मेडिकल कॉलेज में तब्दील कर दिए गए हैं. यह चिकित्सा शिक्षा विभाग के अस्पताल हो गए हैं. ऐसे में इन जिलों में तहसील स्तर पर स्वास्थ्य विभाग 100 बेड का हॉस्पिटल बनाएगा.

इन जिलों की तहसील में बनेंगे अस्पताल
दरअसल, इस साल प्रदेश में 9 सरकारी मेडिकल कॉलेज खोले गए हैं. इनमें नए एकेडमिक ब्लॉक, क्लास और लैब बनाई गईं. वहीं एनएमसी के मानकों को पूरा करने के लिए जिला अस्पतालों को मेडिकल कॉलेजों से सम्बद्ध कर दिया गया है. इससे एटा, हरदोई, सिद्धार्थनगर, देवरिया, गाजीपुर, प्रतापगढ़, फतेहपुर, जौनपुर व मिर्जापुर के जिला अस्पताल स्वास्थ्य विभाग से हटकर चिकित्सा शिक्षा विभाग में चले गए. डीजी हेल्थ डॉ. वेद व्रत सिंह के मुताबिक इन जिलों की एक तहसील में 100 बेड का अस्पताल बनाने का प्रस्ताव तैयार किया गया है. जिसे शीघ्र ही सरकार से मंजूरी मिलने वाली है.

सड़क निर्माण की तर्ज पर होगा भूमि अधिग्रहण
डीजी हेल्थ डॉ. वेद व्रत के मुताबिक अस्पताल निर्माण में समय पर भूमि मिलने में मुश्किलें आ रही हैं. ऐसे में सड़क निर्माण के लिए भूमि अधिग्रहण वाले नियमों को अपनाया जाएगा. जिसकी शासन से मंजूरी मिल जाएगी. इसके अलावा भूमि दान कर आम व्यक्ति भी अपने नाम पर अस्पताल का निर्माण करा सकता है. इसमें उसके नाम का पत्थर व बोर्ड लगाया जाएगा.

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