लखनऊ: कोरोना संक्रमण के चलते लखनऊ विश्वविद्यालय में खौफ का माहौल है. जिला प्रशासन ने अभी 15 अप्रैल तक शिक्षण संस्थान बंद करने के आदेश दिए हैं, लेकिन विश्वविद्यालय के शिक्षक आगे भी संस्थान को खोलने के पक्ष में नहीं हैं. लखनऊ विश्वविद्यालय शिक्षक संघ की ओर से मंगलवार को कुलपति को पत्र लिखकर 15 अप्रैल के बाद भी संस्थान शुरू न करने की मांग की है.
शिक्षक संघ के अध्यक्ष डॉ. विनीत वर्मा का कहना है कि लखनऊ विश्वविद्यालय में इस समय कोरोना का संक्रमण अत्यधिक फैला हुआ है. हाल ही में विश्वविद्यालय के कई शिक्षकों और कर्मचारियों की कोरोना संक्रमण के कारण असमय मृत्यु हो चुकी है. ऐसे में विश्वविद्यालय परिसर को खोलना और भी खतरनाक साबित हो सकता है.
शिक्षक संगठन की ओर से उठाई गई यह मांगें
- कोरोना महामारी के प्रकोप को देखते हुए विश्वविद्यालय को अभी खोलना उचित नहीं होगा. भारी संख्या में शिक्षक, छात्र, अधिकारी और कर्मचारी कोरोना से संक्रमित हैं. ऐसे में विश्वविद्यालय खुलने से संक्रमण और फैलेगा. अतः निवेदन है कि 15 अप्रैल के बाद भी विश्वविद्यालय को हालात नियंत्रित होने तक बंद ही रखा जाए.
- ऑनलाइन पठन -पाठन की व्यवस्था को यथावत आगे तब तक जारी रखा जाए जब तक हालात सामान्य न हो जाएं.
- परीक्षाओं को लेकर छात्रों और शिक्षकों में उहापोह की स्थिति है. छात्र परीक्षाओं के संबंध में शिक्षकों से सूचनाएं मांगते रहते हैं. अतः आगामी परीक्षा की तिथियों और परीक्षा प्रणाली के संबंध में स्पष्ट सूचना जारी करने का कष्ट करें, जिससे इन विषम परिस्थितियों में छात्र निश्चिंत होकर परीक्षा की तैयारियों पर ध्यान लगा सकें.