लखनऊ: प्रधानमंत्री स्ट्रीट वेंडर्स आत्मनिर्भर निधि योजना के अंतर्गत 35,861 पथ विक्रेताओं को लोन दिला कर लखनऊ नगर निगम ने पहला स्थान प्राप्त किया है. अब तक यह खिताब इंदौर नगर निगम के पास था, लेकिन इस मामले में अब लखनऊ नगर निगम अव्वल हो गया है.
राजधानी लखनऊ के नगर आयुक्त अजय द्विवेदी ने बताया कि लखनऊ नगर निगम ने 70525 आवेदन पत्र प्राप्त कर विभिन्न बैंकों को भेजे थे, जिसके मुकाबले 39681 ऋण आवेदन स्वीकृत हुए थे, जिसमें से 35861 को ऋण वितरित भी किया गया.
ऋण वितरण में लखनऊ नगर निगम अव्वल
नगर आयुक्त अजय द्विवेदी ने बताया कि देश के अन्य राज्यों के उन शहरों जिनकी जनसंख्या 10,00,000 से अधिक एवं 40 लाख से कम है, उसमें से लखनऊ नगर निगम जिसकी जनसंख्या 35,00,000 लाख है. यहां 39,460 ऋण आवेदन स्वीकृत किए गए , जिसकी तुलना में 5861 लोगों को लोन वितरित कराने का कार्य किया गया. इस सफलता के चलते कई माह से पहले स्थान पर चल रहे इंदौर नगर निगम को पीछे कर सर्वाधिक ऋण वितरण करने वाला लखनऊ नगर निगम बन गया है.
40 लाख से अधिक जनसंख्या वाले शहरों में तेलंगाना राज्य के हैदराबाद नगर निगम की आबादी 68.1 लाख है. इसमें हैदराबाद नगर निगम द्वारा 67,369 प्रेषित ऋण आवेदन के सापेक्ष 35,243 की संख्या में ऋण वितरण किया गया है, लेकिन लखनऊ नगर निगम द्वारा प्रेषित 70,525 के सापेक्ष 35,861 लाभार्थियों के साथ सर्वाधिक ऋण वितरण किया गया. नगर आयुक्त का कहना है कि 10,000 का ऋण विभिन्न बैंकों के माध्यम से प्रदान किया जा रहा है, जिसमें कोविड महामारी के दौरान और लॉकडाउन के पश्चात पथ विक्रेता अपनी आजीविका को फिर शुरू कर अपना जीवन यापन कर सकें.