लखनऊ : इटौंजा में बुधवार सुबह पटाखा फैक्ट्री में विस्फोट के साथ आग लग गई. धमाके के साथ आग देख हड़कंप मच गया. इस दौरान फैक्ट्री के मालिक समेत चार लोग झुलस गए. चीख पुकार सुन अफरा तफरी मच गई. मौके पर पहुंची पुलिस ने आसपास के लोगों की मदद से आग पर किसी तरह काबू पाकर सभी को इलाज के लिए अस्पताल भेजवाया. पीड़ित की पत्नी ने बताया कि इटौंजा के सरकारी अस्पताल केवल नाममात्र के लिए है. वहां किसी डॉक्टर व कर्मचारी ने मरीज को देखा ही नहीं. इटौंजा से मरीज को लखनऊ सिविल अस्पताल लाया गया. यहां मरीज को इलाज मिला.
इटौंजा महोना रोड पर आरिफ (54) की पटाखा की फैक्ट्री और दुकान है. बुधवार सुबह वह रहमत (53), आमिर (30) व इकरार (40) के साथ गोदाम पर पहुंचे थे. सभी लोग पटाखे बना रहे थे. इसी बीच सुबह करीब 11 बजे पटाखे में बारूद भरते समय अचानक विस्फोट हो गया. विस्फोट से आग लग गई. देखते ही देखते एक के बाद एक धमाके होने लगे. इस दौरान बारूद में आग लग गई. धमाका सुन आसपास लोगों की भीड़ जुट गई. मौके पर पहुंची पुलिस ने किसी तरह आग पर काबू में कर चारों घायलों को सीएचसी इटौंजा भेजवाया. जहां से आरिफ, आमिर और इकरार को सिविल अस्पताल रेफर कर दिया गया. जहां आरिफ की हालत गंभीर बनी हुई है.
क्वीन मैरी अस्पताल में शुरू हुई नई सुविधा : प्रसूति एवं स्त्री रोग विभाग में बुधवार को न्यू माइनर ओटी और वंशानुगत कैंसर क्लीनिक का उद्घाटन कुलपति केजीएमयू लेफ्टिनेंट जनरल डॉ. बिपिन पुरी ने किया. इस दौरान कुलसचिव रेखा चौहान और विभाग की एचओडी प्रो. एसपी जैसवार और प्रसूति एवं स्त्री रोग विभाग के सभी विभाग के सदस्यों के साथ किया. जेनिटल कैंसर कंट्रोल यूनिट में प्रोफेसर निशा सिंह द्वारा वंशानुगत कैंसर क्लीनिक एक नई सेवा के रूप में शुरू किया जा रहा है जो देश में अपनी तरह का पहला क्लीनिक है. स्तन डिम्बग्रंथि या एंडोमेट्रियल कैंसर वाले रोगियों या परिवार के इतिहास वाली किसी भी महिला को आनुवंशिक परीक्षण के लिए प्रशिक्षित नर्सों द्वारा परामर्श दिया जाएगा. सकारात्मक होने पर निवारक उपचार का लाभ दिया जाएगा. माइनर ओटी में की जाने वाली प्रक्रियाएं एंडोमेट्रियल, सर्वाइकल और वल्वाल बायोप्सी हैं. सर्वाइकल प्री कैंसर के निदान के लिए कोलपोस्कोपी और क्रायोथेरेपी और थर्मोब्लेशन द्वारा इसका इलाज भी माइनर ओटी में किया जाएगा. इन सेवाओं से वंशानुगत कैंसर रोगियों और उनके परिवारों को बहुत लाभ होगा.