लखनऊ : बारिश की वजह से सोमवार को अस्पतालों में सामान्य दिनों के मुकाबले मरीजों का दबाव कम रहा. राजधानी के विभिन्न बड़े अस्पतालों में करीब पांच हजार मरीज नहीं पहुंचे. सामान्य दिनों में केजीएमयू में सात हजार मरीज रोज आ रहे हैं. बलरामपुर अस्पताल में प्रतिदिन ओपीडी मरीजों का आंकड़ा पांच से छह हजार रहता है. सिविल अस्पताल में भी लगभग साढ़े पांच से छह हजार मरीज रोज ओपीडी में आते हैं. लोकबंधु में दो हजार से 2200 मरीज ओपीडी में पहुंचते हैं. पीजीआई और लोहिया संस्थान में प्रतिदिन तीन-तीन हजार मरीज ओपीडी में आ रहे हैं. बारिश में इन अस्पतालों में मरीजों की संख्या घट गई.
सुबह 10 बजे तक सन्नाटा : सरकारी अस्पतालों में सुबह आठ बजे से ओपीडी खुलती है, जबकि संस्थानों में नौ बजे से मरीज देखे जाते हैं. 10 बजे तक अस्पतालों की ओपीडी में सन्नाटा था. गिनेचुने मरीज ही पहुंचे थे. बारिश कम होने के बाद मरीजों के बढ़ने का सिलसिला शुरू हुआ. डॉक्टरों के मुताबिक, बहुत से मरीज किसी तरह चारबाग व कैसरबाग तक आ गए, लेकिन स्थानीय साधन की कमी व जलभराव से बहुत से मरीज अस्पताल तक नहीं पहुंच पाए. फोन पर संपर्क किया.
अस्पताल की ओपीडी में मरीजों की संख्या | |
बलरामपुर | 3033 |
केजीएमयू | 5932 |
लोकबंधु | 1496 |
सिविल | 5132 |
लोहिया | 2113 |
डॉक्टर-कर्मचारी भी देरी से पहुंचे : बारिश की वजह से बड़ी संख्या में डॉक्टर व कर्मचारी देरी से अस्पताल पहुंच पाए. सिविल अस्पताल के सीएमएस डाॅ. राजेश कुमार श्रीवास्तव के मुताबिक, 'बाकी दिनों की तुलना में आज ओपीडी हल्की रही. इस समय वायरल बुखार से पीड़ित मरीजों की संख्या ओपीडी में अधिक है, कुछ मरीज गंभीर स्थिति में इमरजेंसी में भर्ती किये जा रहे हैं. यह वह मरीज हैं जिनको चार से पांच दिन बाद भी बुखार नहीं उतरा है.'