लखनऊ: राजधानी लखनऊ में गोमती नदी की सफाई के चलते सिंचाई विभाग ने शनिवार को दोपहर में बैराज बंद कर दिया. इससे गऊ घाट से पानी की आपूर्ति ठप हो गई. इस कारण ऐशबाग वाटर वर्क्स को पानी नहीं मिल सका. पुराने लखनऊ और राजाजीपुरम की करीब चार लाख से ज्यादा की आबादी को पेयजल संकट का सामना करना पड़ा. इसके चलते रविवार सुबह भी कई इलाकों में पेयजल का संकट रहा.
जल कल विभाग के महाप्रबंधक एसके वर्मा ने बताया कि सिंचाई विभाग ने बिना कोई जानकारी के बैराज बंद कर दिया था. इससे ऐशबाग वाटर वर्क्स में पानी स्टोर नहीं किया जा सका. आधे से ज्यादा शहर को यहीं से पेयजल की आपूर्ति होती है. गोमती नदी के सफाई कार्य के कारण कच्चा पानी नहीं मिल सका. गऊघाट पम्पिंग स्टेशन पर जलस्तर लगातार कम होने से जल संकट हो गया. हालांकि अधिकारियों ने शाम तक आपूर्ति सामान्य होने का दावा किया था लेकिन कच्चे पानी का पम्पिंग पूरी क्षमता से नहीं होने पर रविवार को सुबह तक कम दबाव पर पानी मिल सका. राजाजीपुरम निवासी मो. अकील ने बताया कि शनिवार की शाम और रविवार को सुबह पेयजल की समस्या का सामना करना पड़ा.
यहां रही पेय जल आपूर्ति की समस्या
चौक चौपटिया, नादान महल रोड, नक्खास, राजा बाजार, शास्त्री नगर, रकाबगंज, अमीनाबाद, हाथीखाना, मौलवीगंज, कैसरबाग, बांसमंडी, नाका, आर्य नगर, रानीगंज, राजेंद्र नगर में ऐशबाग, गणेशगंज, फतेहगंज, लाटूश रोड समेत कई इलाकों में पेयजल का संकट रहा.
10 लाख लोग गोमती के पानी पर है निर्भर
गोमती नदी से 405 मिलियन लीटर पानी लेकर उसे प्यूरिफाई कर शहर में पेयजल की आपूर्ति की जाती है. ऐशबाग और बालागंज से होने वाली आपूर्ति पुराने शहर के अलावा ऐशबाग से हजरतगंज, निशातगंज व डालीगंज तक होती है. करीब दस लाख लोग गोमती नदी के पानी पर निर्भर हैं. वहीं जलकल विभाग महाप्रबंधक एसके वर्मा ने बताया कि देर रात तक आपूर्ति सामान्य हो गई थी. कुछ इलाकों में कम दबाव से आपूर्ति होने पर कुछ समय के लिए पेयजल का संकट रहा हालांकि बाद में स्थिति सामान्य हो गई.