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महिलाओं के मुद्दे पर कांग्रेस का बीजेपी अध्यक्ष पर प्रहार, पूछे कई सवाल

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Published : Jan 4, 2022, 5:40 PM IST

सुप्रिया श्रीनेत ने कहा कि दुर्भाग्य से नड्डा और भाजपा को लगता है कि महिलाएं केवल एक बाथरूम और एक गैस सिलेंडर के लायक हैं. बार-बार शौचालय और गैस सिलेंडर का हवाला देकर आखिर भाजपा क्या सिद्ध करना चाहती है? शौचालय एक अधिकार है ,एक सुविधा है. किसी भी सरकार की जिम्मेदारी है यह महिलाओं के ऊपर कोई उपकार नहीं है. इसी मानसिकता को बदलने की प्रियंका गांधी ने ठानी है.

बीजेपी अध्यक्ष पर प्रहार
बीजेपी अध्यक्ष पर प्रहार

लखनऊ: कांग्रेस की राष्ट्रीय प्रवक्ता सुप्रिया श्रीनेत ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा के 'लड़की हूं लड़ सकती हूं' अभियान का उपहास उड़ाने को लेकर जोरदार हमला बोला. उन्होंने कहा कि यह भाजपा के पहले नेता नहीं है जिन्होंने ऐसा किया, पर आखिर भाजपा ऐसा क्यों कर रही है? उनको लड़कियों के सशक्तिकरण से क्या दिक्कत है? बात साफ है वह इस अभियान पर हमला कर रहे हैं क्योंकि वे नहीं चाहते कि महिलाएं स्वतंत्र हों. सशक्त नारी शक्ति से केवल नड्डा जी ही नहीं उनकी पूरी पार्टी डरती है. उन्होंने कहा कि नड्डा जी महिलाएं सिर्फ कुरीतियों के खिलाफ संकुचित मानसिकता के खिलाफ ही नहीं लड़ रहीं, सबसे बड़ी लड़ाई अपने हक की लड़ाई है, वह समानता की लड़ाई लड़ रही हैं. समान शिक्षा और अवसरों की लड़ाई लड़ रही हैं और अब वह रुकने वाली नहीं.


महिलाओं को चूल्हे, चौके तक ही समझती है भाजपा
सुप्रिया श्रीनेत ने कहा कि दुर्भाग्य से नड्डा और भाजपा को लगता है कि महिलाएं केवल एक बाथरूम और एक गैस सिलेंडर के लायक हैं. बार-बार शौचालय और गैस सिलेंडर का हवाला देकर आखिर भाजपा क्या सिद्ध करना चाहती है? शौचालय एक अधिकार है ,एक सुविधा है. किसी भी सरकार की जिम्मेदारी है यह महिलाओं के ऊपर कोई उपकार नहीं है. इसी मानसिकता को बदलने की प्रियंका गांधी ने ठानी है. वह लड़कियों के लिए एक सुरक्षित परिवेश की बात करती हैं. जहां वह उन्मुक्त हों, हौसले की ऊंची उड़ान भरें. उन्होंने लड़कियों के लिए नौकरी, शिक्षा, स्वावलंबन, सम्मान, सुरक्षा की क्रांति का आह्वान किया है. इसी बात से भाजपा परेशान है. भाजपा के नारी सशक्तिकरण की असलियत तो यह है कि बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ अभियान की 80 फीसद राशि तो मोदी जी अपने विज्ञापन में ही उड़ा देते हैं. सुप्रिया श्रीनेत ने राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा और भाजपा से कुछ सवाल भी पूछे हैं.


यह हैं कांग्रेस पार्टी के सवाल

उन्होंने पूछा कि चाहे रैलियां हो या शक्ति संवाद, महिलाओं का इतनी बड़ी संख्या में आना इस बात का प्रमाण है कि वह एक शौचालय नहीं अपने सारे हक पाने के लिए लड़ने को तैयार हैं. क्या आप उनका हक देने के लिए तैयार हैं?

सुप्रिया श्रीनेत ने कहा कि नड्डा जी आप शौचालय और एक मुफ्त गैस सिलेंडर मात्र से महिलाओं के वजूद को नकारना कब बंद करेंगे? कांग्रेस ने इस देश को पहली महिला मुख्यमंत्री, प्रधानमंत्री, राष्ट्रपति और लोकसभा की सभापति दी. आपने और आपकी पार्टी ने क्या किया?

पिछले साढ़े सात सालों में तो मोदी जी ने महिलाओं की कोई टोह नहीं ली. अब अचानक केवल महिलाओं की रैली क्यों कर रहे हैं? क्यों प्रशासन को बस में भरकर महिलाओं का एकत्रित करना पड़ रहा है. यह अचानक नकद हस्तांतरण की घोषणा क्यों कर रहे हैं?

सुप्रिया श्रीनेत ने कहा कि कांग्रेस ने तो प्रतिज्ञा ली है कि महिलाओं की राजनीतिक भागीदारी को सुनिश्चित करने के लिए हम 40 फीसद टिकट महिलाओं को देंगे. 20 लाख सरकारी नौकरियों में 40 फीसद मतलब आठ लाख नौकरियां महिलाओं के लिए होंगी. पुलिस बल में 25 पदों पर महिलाओं की नियुक्ति होगी. हम लड़कियों को न सिर्फ स्मार्टफोन और स्कूटी देंगे बल्कि हर जनपद में उनके लिए दक्षता विद्यालय खोलेंगे. हम आपकी तरह आंगनबाड़ी और आशा बहुओं का तिरस्कार न करके उनका मानदेय सुनिश्चित करेंगे. आपके राज में लड़कियों के खिलाफ रोंगटे खड़े करने वाले अपराध हुए. पीड़िता की सुनवाई तो दूर उन्हीं को डराया धमकाया गया. इसलिए कांग्रेस सुनिश्चित करेगी कि रेप जैसे अपराधों में तुरंत जांच ना होने पर संबंधित अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई का कानून बने. अगर आपके अंदर हिम्मत है तो हम आपको इस मंच से चुनौती देते हैं इनमें से कुछ भी करके दिखाइए, पर आप नहीं कर पाएंगे, क्योंकि आपकी महिला विरोधी मानसिकता जिसका परिचय हाथरस से लेकर उन्नाव और शाहजहांपुर तक है, वह यह होने नहीं देगा. क्या आप इनमें से कुछ भी कर सकते हैं?


सुप्रिया श्रीनेत ने कहा कि आज इस मंच से मैं आपसे पूछना चाहती हूं आपकी केंद्र में बहुमत की सरकार है फिर भी पिछले साढ़े सात सालों में सदन में महिला आरक्षण के बारे में प्रधानमंत्री मोदी या आपने एक शब्द तक क्यों नहीं बोला? अगर नीयत साफ है तो क्या आप कानून पारित करके आधी आबादी की राजनीतिक भूमिका और भागीदारी सुनिश्चित कर सकते हैं?


राष्ट्रीय प्रवक्ता सुप्रिया श्रीनेत ने कहा कि प्रियंका गांधी और कांग्रेस पार्टी ने देश की राजनीति में महिलाओं को अहम भूमिका को लेकर एक मुहिम शुरू कर दी है. अब नड्डा या कोई और महिलाओं को नजरअंदाज करने की हिम्मत नहीं कर सकता है. आपकी बातों से साफ है कि वास्तव में तो आप महिला विरोधी हैं पर अब टोकन देने का वक्त भी चुका है. आपकी मानसिकता जो औरतों को चूल्हे चौके तक सीमित रखना चाहती है अब बर्दाश्त नहीं. प्रियंका गांधी पर आप लोगों के हमलों का मूल कारण भी उनका महिला होना है, क्योंकि वह एक महिला हैं और महिलाओं को अपने लिए लड़ने के लिए कह रही हैं. वक्त बदल चुका है. नड्डा जी यह जरूरी है अपनी महिला विरोधी मानसिकता आप भी बदलिए.

इसे भी पढ़ें- भाषा की शालीनता, शब्दों के अनुशासन के साथ अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता का प्रयोग करें : उपराष्ट्रपति नायडू

लखनऊ: कांग्रेस की राष्ट्रीय प्रवक्ता सुप्रिया श्रीनेत ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा के 'लड़की हूं लड़ सकती हूं' अभियान का उपहास उड़ाने को लेकर जोरदार हमला बोला. उन्होंने कहा कि यह भाजपा के पहले नेता नहीं है जिन्होंने ऐसा किया, पर आखिर भाजपा ऐसा क्यों कर रही है? उनको लड़कियों के सशक्तिकरण से क्या दिक्कत है? बात साफ है वह इस अभियान पर हमला कर रहे हैं क्योंकि वे नहीं चाहते कि महिलाएं स्वतंत्र हों. सशक्त नारी शक्ति से केवल नड्डा जी ही नहीं उनकी पूरी पार्टी डरती है. उन्होंने कहा कि नड्डा जी महिलाएं सिर्फ कुरीतियों के खिलाफ संकुचित मानसिकता के खिलाफ ही नहीं लड़ रहीं, सबसे बड़ी लड़ाई अपने हक की लड़ाई है, वह समानता की लड़ाई लड़ रही हैं. समान शिक्षा और अवसरों की लड़ाई लड़ रही हैं और अब वह रुकने वाली नहीं.


महिलाओं को चूल्हे, चौके तक ही समझती है भाजपा
सुप्रिया श्रीनेत ने कहा कि दुर्भाग्य से नड्डा और भाजपा को लगता है कि महिलाएं केवल एक बाथरूम और एक गैस सिलेंडर के लायक हैं. बार-बार शौचालय और गैस सिलेंडर का हवाला देकर आखिर भाजपा क्या सिद्ध करना चाहती है? शौचालय एक अधिकार है ,एक सुविधा है. किसी भी सरकार की जिम्मेदारी है यह महिलाओं के ऊपर कोई उपकार नहीं है. इसी मानसिकता को बदलने की प्रियंका गांधी ने ठानी है. वह लड़कियों के लिए एक सुरक्षित परिवेश की बात करती हैं. जहां वह उन्मुक्त हों, हौसले की ऊंची उड़ान भरें. उन्होंने लड़कियों के लिए नौकरी, शिक्षा, स्वावलंबन, सम्मान, सुरक्षा की क्रांति का आह्वान किया है. इसी बात से भाजपा परेशान है. भाजपा के नारी सशक्तिकरण की असलियत तो यह है कि बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ अभियान की 80 फीसद राशि तो मोदी जी अपने विज्ञापन में ही उड़ा देते हैं. सुप्रिया श्रीनेत ने राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा और भाजपा से कुछ सवाल भी पूछे हैं.


यह हैं कांग्रेस पार्टी के सवाल

उन्होंने पूछा कि चाहे रैलियां हो या शक्ति संवाद, महिलाओं का इतनी बड़ी संख्या में आना इस बात का प्रमाण है कि वह एक शौचालय नहीं अपने सारे हक पाने के लिए लड़ने को तैयार हैं. क्या आप उनका हक देने के लिए तैयार हैं?

सुप्रिया श्रीनेत ने कहा कि नड्डा जी आप शौचालय और एक मुफ्त गैस सिलेंडर मात्र से महिलाओं के वजूद को नकारना कब बंद करेंगे? कांग्रेस ने इस देश को पहली महिला मुख्यमंत्री, प्रधानमंत्री, राष्ट्रपति और लोकसभा की सभापति दी. आपने और आपकी पार्टी ने क्या किया?

पिछले साढ़े सात सालों में तो मोदी जी ने महिलाओं की कोई टोह नहीं ली. अब अचानक केवल महिलाओं की रैली क्यों कर रहे हैं? क्यों प्रशासन को बस में भरकर महिलाओं का एकत्रित करना पड़ रहा है. यह अचानक नकद हस्तांतरण की घोषणा क्यों कर रहे हैं?

सुप्रिया श्रीनेत ने कहा कि कांग्रेस ने तो प्रतिज्ञा ली है कि महिलाओं की राजनीतिक भागीदारी को सुनिश्चित करने के लिए हम 40 फीसद टिकट महिलाओं को देंगे. 20 लाख सरकारी नौकरियों में 40 फीसद मतलब आठ लाख नौकरियां महिलाओं के लिए होंगी. पुलिस बल में 25 पदों पर महिलाओं की नियुक्ति होगी. हम लड़कियों को न सिर्फ स्मार्टफोन और स्कूटी देंगे बल्कि हर जनपद में उनके लिए दक्षता विद्यालय खोलेंगे. हम आपकी तरह आंगनबाड़ी और आशा बहुओं का तिरस्कार न करके उनका मानदेय सुनिश्चित करेंगे. आपके राज में लड़कियों के खिलाफ रोंगटे खड़े करने वाले अपराध हुए. पीड़िता की सुनवाई तो दूर उन्हीं को डराया धमकाया गया. इसलिए कांग्रेस सुनिश्चित करेगी कि रेप जैसे अपराधों में तुरंत जांच ना होने पर संबंधित अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई का कानून बने. अगर आपके अंदर हिम्मत है तो हम आपको इस मंच से चुनौती देते हैं इनमें से कुछ भी करके दिखाइए, पर आप नहीं कर पाएंगे, क्योंकि आपकी महिला विरोधी मानसिकता जिसका परिचय हाथरस से लेकर उन्नाव और शाहजहांपुर तक है, वह यह होने नहीं देगा. क्या आप इनमें से कुछ भी कर सकते हैं?


सुप्रिया श्रीनेत ने कहा कि आज इस मंच से मैं आपसे पूछना चाहती हूं आपकी केंद्र में बहुमत की सरकार है फिर भी पिछले साढ़े सात सालों में सदन में महिला आरक्षण के बारे में प्रधानमंत्री मोदी या आपने एक शब्द तक क्यों नहीं बोला? अगर नीयत साफ है तो क्या आप कानून पारित करके आधी आबादी की राजनीतिक भूमिका और भागीदारी सुनिश्चित कर सकते हैं?


राष्ट्रीय प्रवक्ता सुप्रिया श्रीनेत ने कहा कि प्रियंका गांधी और कांग्रेस पार्टी ने देश की राजनीति में महिलाओं को अहम भूमिका को लेकर एक मुहिम शुरू कर दी है. अब नड्डा या कोई और महिलाओं को नजरअंदाज करने की हिम्मत नहीं कर सकता है. आपकी बातों से साफ है कि वास्तव में तो आप महिला विरोधी हैं पर अब टोकन देने का वक्त भी चुका है. आपकी मानसिकता जो औरतों को चूल्हे चौके तक सीमित रखना चाहती है अब बर्दाश्त नहीं. प्रियंका गांधी पर आप लोगों के हमलों का मूल कारण भी उनका महिला होना है, क्योंकि वह एक महिला हैं और महिलाओं को अपने लिए लड़ने के लिए कह रही हैं. वक्त बदल चुका है. नड्डा जी यह जरूरी है अपनी महिला विरोधी मानसिकता आप भी बदलिए.

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